अजमेर में मुस्लिम समाज ने हर्षोल्लास से मनाई बकरीद, तड़के खुला दरगाह में जन्नती दरवाजा; भाईचारे का दिया संदेश
अजमेर में मुस्लिम समुदाय ने ईद उल जुहा का त्योहार धूमधाम से मनाया। लोगों ने मस्जिदों में नमाज अदा की और एक-दूसरे को ईद मुबारकबाद दी। कई परिवारों ने बकरा ईद के मौके पर कुर्बानी दी और सामूहिक दावतों का आयोजन किया। ख्वाजा मोईनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह में नमाजियों के लिए जन्नती दरवाजा खोला गया। शहर काजी तौसीफ अहमद सिद्दीकी ने नमाज अदा कराई।
जेएनएन, अजमेर। मुस्लिम समुदाय की ओर से ईद उल जुहा पर्व शनिवार को हर्षोल्लास से मनाया गया। मुस्लिम समाज के लोगों ने प्रात: विभिन्न मस्जिदों में ईद की नमाज अदा की और फिर एक दूसरे से गले मिले सभी ने आपस में ईद मुबारकबाद पेश की व शुभकामनाएं प्रेषित की। बहुत से परिवारों ने बकरा ईद के मौके पर कुर्बानी दी। सामूहिक दावतों के लिए एकत्र हुए।
अजमेर में ख्वाजा मोईनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह में जन्नती दरवाजा नमाजियों के जियारत के लिए तड़के 4 बजे खोल दिया गया। जन्नती दरवाजे से होकर ख्वाजा गरीब नवाज की मजार शरीफ पर सिर झुकाने नमाजियों की भीड़ उमड़ पड़ी।
मुस्लिम समाज के लोगों ने सुबह 7 बजे दरगाह स्थित शाहजहानी मस्जिद में नमाज अदा की। शहर काजी तौसीफ अहमद सिद्दीकी नमाज अदा कराई। चौरसियावास ईदगाह में सुबह साढ़े सात बजे नमाज अदा की गई। संदल खाना मस्जिद और कलंदरी जामा मस्जिद आदर्श नगर, कलेक्ट्रेट स्थित मस्जिद मुए मुबारक में सुबह पौने आठ बजे नमाज पढ़ी गई।
केसरगंज स्थित ईदगाह में और सूफी मस्जिद सोमलपुर में सुबह आठ बजे, क्लॉक टावर स्थित मस्जिद में सुबह साढ़े आठ बजे तथा सूफी मस्जिद द्वितीय सोमलपुर में सुबह साढ़े आठ बजे नमाज अदा की गई। नमाज अदा करने के लिए मुस्लिम समाज के लोग पहले से ही कतार में लगने लगे।
ईदगाह और मस्जिद नमाजियों से पूरी तरह भर गई। इस दौरान नमाजियों की सहूलियत के लिए दरगाह कमेटी और अंजुमन प्रबंधन ने विशेष इंतजाम किए। जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन भी पूरी तरह सतर्क रहा। भीड़ और यातायात व्यवस्था को दुरुस्त बनाए रखा गया।
ईद के मौके पर अजमेर दरगाह शरीफ के बाहर बाजारों में व ईदगाह केसरगंज पर खास रौनक रही। विभिन्न राजनीतिक और सामाजिक संगठनों के लोगों ने नमाजियों के छाया और आसन का इंतजाम किया। नमाजियों को शीतल पेयजल उपलब्ध कराया गया। उन्हें गले मिलकर ईद की मुबारकबाद पेश की गई। देश में अमन—चैन भाईचारे की दुआ मांगी गई।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।