Rajasthan Panchayat Election Result 2021: राजस्थान जिला परिषद व पंचायत समिति सदस्यों के चुनाव में भाजपा से आगे रही कांग्रेस
Rajasthan Panchayat Election Result 2021 मुख्यमंत्री अशोक गहलोत समर्थकों का मानना है कि चुनाव परिणाम से उन्हें राजनीतिक लाभ मिलेगा। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा इस जीत को गहलोत सरकार के कामकाज पर जनता की मुहर बता रहे हैं।
जागरण संवाददाता, जयपुर। राजस्थान की छह जिलों पंचायत समिति और जिला परिषद सदस्यों के लिए हुए चुनाव में सत्तारूढ़ पार्टी कांग्रेस बढ़त बनाने में कामयाब रही है। अपने प्रत्याशियों की जीत और निर्दलीयों के भरोसे कांग्रेस 78 पंचायत समितियों के चुनाव में 60 फीसद से ज्यादा में अपने प्रधान बना सकती है। जिला प्रमुख में भी भाजपा के मुकाबले कांग्रेस आगे रह सकती है। जिला प्रमुख और पंचायत समिति प्रधान के चुनाव छह सितंबर को होंगे। जिला प्रमुख के लिए जिला परिषद सदस्य और प्रधान के लिए पंचायत समिति सदस्य मतदान करेंगे। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत समर्थकों का मानना है कि चुनाव परिणाम से उन्हें राजनीतिक लाभ मिलेगा। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा इस जीत को गहलोत सरकार के कामकाज पर जनता की मुहर बता रहे हैं। उन्होंने कहा कि 77 लाख से ज्यादा ग्रामीण मतदाताओं ने अपना रुख साफ कर दिया कि वह कांग्रेस के साथ है। हालांकि राज्य में यह परंपरा (ट्रेंड) रही है कि जिस पार्टी की सरकार होती है, उसे पंचायत चुनाव में सफलता मिलती है। पंचायत समिति के 1564 वार्डों में कांग्रेस को 670,भाजपा को 551,राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी को 40 बसपा वार्डों में जीत मिली है। 290 वार्डों में निर्दलीय, 11 में बसपा व दो में एनसीपी की जीत हुई है।
जगत सिंह की जीत हुई
पूर्व केंद्रीय मंत्री नटवर सिंह के पुत्र जगत सिंह भरतपुर में जिला परिषद सदस्य का चुनाव जीतने में कामयाब रहे। वह भाजपा की तरफ से जिला प्रमुख बनने के दावेदार हैं। जगत सिंह ने कुछ समय पहले ही भाजपा में शामिल हुए थे। भरतपुर की 11 पंचायत समितियों में से कांग्रेस और भाजपा को एक में भी बहुमत नहीं मिला। हालांकि सदस्य कांग्रेस के ज्यादा जीते हैं। बहुमत के लिए दोनों को निर्दलियों के भरोसे रहना होगा। सिरोही जिले में आबूरोड़ के अतिरिक्त सभी पंचायत समितियों में कांग्रेस की हार हुई है। सवाईमाधोपुर, दौसा, करौली, जयपुर जिलों में भाजपा को आंतरिक झगड़े के कारण नुकसान उठाना पड़ा है। उल्लेखनीय है कि तीन चरणों में मतदान हुआ था। पहले चरण का मतदान 26 अगस्त, दूसरे चरण का 29 अगस्त व तीसरे चरण का एक सितंबर को हुआ था। नागौर व जोधपुर जिलों में राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ने अपनी ताकत दिखाई है।