जेल ब्रेक कांड : एक भाई कारगिल में शहीद, दूसरा बन गया गैंगस्टर
हाई सिक्योरिटी नाभा जेल से फरार होने वालों में अमन ढोटियां उर्फ बूरा भी शामिल है। बूरा का एक भाई कारगिल युद्ध में शहीद हुआ था, जबकि बूरा गैंगस्टर बन गया।
तरनतारन (धर्मवीर सिंह मल्हार)। उम्र- 25 वर्ष। नाम : अमन ढोटियां उर्फ बूरा। हाई सिक्योरिटी नाभा जेल से खूंखार आतंकी हरमिंदर सिंह मिंटू के साथ फरार होने वाले गैंगस्टरों में यह नाम भी शामिल है। जेल से अमन के फरार होने की खबर जब तरनतारन पुलिस को लगी तो उसके घर छापामारी की गई। इससे सारा गांव सन्न रह गया। अमन के खिलाफ थाना सिविल लाइन अमृतसर में कई केस दर्ज हैं।
अमन का एक भाई सतनाम सिंह काली सेना में था, जो कि कारगिल युद्ध में शहीद हो गया। अमन के दो भाई और दो बहनें गांव में ही रहती हैं। अमन के पिता बख्शीश सिंह पंजाब रोडवेज से सेवानिवृत्त हैं। अमन के खिलाफ अमृतसर के थाना इस्लामाबाद में 19 मई 2008 को फौजदारी का मुकदमा दर्ज किया गया। इसके बाद वह अपराध जगत में प्रवेश करता गया।
पुलिस रिकार्ड के अनुसार 14 जनवरी 2009 को थाना सिविल लाइन अमृतसर में मामला दर्ज हुआ। 23 जनवरी 2009, 16 मार्च 2009, 25 मार्च 2009, 27 मार्च 2009 और दो अप्रैल 2009 को भी इसी थाने में मामला दर्ज किया गया। इसके बाद 17 मार्च 2009 को अमृतसर के थाना ब्यास व एक मार्च 2009 को होशियारपुर में केस दर्ज किया गया। फिर जालंधर जिले के थाना डिवीजन-6 में 25 मार्च 2009 को मुकदमा दर्ज किया गया।
21 मार्च 2009 को जालंधर के ही थाना डिवीजन-7 में केस दर्ज किया गया। इसी तरह पटियाला के थाना सिविल लाइन में भी अमन ढोटियां के खिलाफ तीन मई 2009 को मामला दर्ज किया गया। अमृतसर के थाना मकबूलपुरा में 28 अक्टूबर 2014 को अमन के खिलाफ डाका डालने का मुकदमा दर्ज हुआ। पुलिस रिकार्ड के मुताबिक अमन कुख्यात गैंगस्टरों की सूची में शामिल है। उसने एक गिरोह भी बनाया हुआ था। इसी गिरोह से विभिन्न जिलों से जुड़े गैंगस्टर काम करते थे। कुख्यात गैंगस्टर हरजिंदर सिंह विक्की गौंडर, नीटा दयोल, अमन सेखों के साथ नाभा जेल में ही अमन ढोटियां के संबंध बने।
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