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    पंजाब में एशिया का सबसे बड़ा बायो गैस प्लांट शुरू, प्रतिदिन होगी 300 टन पराली की खपत

    By Jagran NewsEdited By: Pankaj Dwivedi
    Updated: Tue, 18 Oct 2022 09:23 PM (IST)

    पराली लाएगी खुशहालीः केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप पुरी व मुख्यमंत्री भगवंत मान ने किया औपचारिक उद्घाटन। मान बोले प्रोजेक्ट के सफल होने पर दस और प्लांट बायो गैस प्लांट लगेंगे। पंजाब में पराली प्रबंधन में बड़े स्तर पर सहयोग करेगा यह प्लांट।

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    भुटाल कलां में वर्बियो के प्लांट का उद्घाटन करते हुए केद्रीय मंत्री हरदीप पुरी, मुख्यमंत्री भगवंत मान। (सौ. जागरण)

    जासं, संगरूर : जिले के लहरागागा हलके के गांव भुटाल कलां में स्थापित कंप्रेस्ड बायो गैस (सीबीजी) उत्पादन प्लांट मंगलवार को औपचारिक तौर पर शुरू हो गया। तीन यूनिट वाले इस प्लांट की पहली यूनिट का औपचारिक उद्घाटन केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप पुरी व मुख्यमंत्री भगवंत मान ने किया।

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    यह यूनिट अप्रैल माह से ही ट्रायल बेस पर चलाई जा रही थी। अब बुधवार से इसे पूरी क्षमता के साथ चलाया जाएगा। 230 करोड़ रुपये की लागत से जर्मनी की वर्बियो कंपनी की तरफ से स्थापित इस प्लांट की पहली यूनिट की क्षमता 33 टन सीबीजी प्रतिदिन तैयार की है। इसमें रोजाना 300 टन और वार्षिक 1.30 लाख टन पराली की खपत होगी।

    मुख्यमंत्री भगवंत ने दावा किया कि प्लांट के 14.25 टन सीबीजी प्रतिदिन क्षमता वाले दो अन्य यूनिटें भी वर्ष 2022-23 तक मुकम्मल हो जाएंगे। उन्होंने बताया कि 20 एकड़ क्षेत्र में फैले इस प्लांट की 550 टन सीबीजी प्रति वर्ष उत्पादन की क्षमता है। उन्होंने कहा कि तीनों यूनिटें सही तरीके से काम करने लगेंगी तो पंजाब में ऐसे 10 और बायो गैस प्लांट लगाए जाएंगे।

    मान ने कहा कि यह प्लांट पराली प्रबंधन में सहायक साबित होगा। इस प्लांट में तीनों यूनिटें शुरू होने पर प्रतिवर्ष 16.50 लाख टन पराली की खपत होगी। इससे जहां पराली की समस्या से निजात मिलेगी वहीं रोजगार के साधन भी उपलब्ध होंगे। इस प्लांट में एक हजार युवाओं को रोजगार मिलेगा।

    मुख्यमंत्री ने किसानों से किया पराली न जलाने का आग्रह

    मान ने कहा कि किसान लंबे समय से पराली नहीं, बल्कि नोटों को जला रहे थे, क्योंकि पराली से ही बायो गैस ही नहीं बनती बल्कि खाद भी तैयार की जा रही है। लहरागागा यूनिट में भी पराली से खाद भी बनेगी। उन्होंने कहा कि राज्य में इस वर्ष में कुल 75 लाख एकड़ में धान की बिजाई हुर्इ है। इसमें से 37 लाख एकड़ की पराली नहीं जलार्इ जाती। 50 फीसद किसान पराली जलाते हैं। इन किसानों से आग्रह है कि वे पराली न जलाकर पर्यावरण के संरक्षण में योगदान डालें।

    • प्लांट की क्षमता

    • 550 टन प्रति वर्ष सीबीजी की क्षमता का है प्लांट
    • 33 टन सीबीजी का प्रतिदिन उत्पादन करेगी पहली यूनिट
    • 1.30 लाख टन प्रति वर्ष होगी इस यूनिट में पराली की खपत