लुधियाना में 800 रुपये की दिहाड़ीवालों के नाम पर 866 करोड़ की बोगस बिलिंग, शातिरों ने ऐसी रचा पूरा खेल
पंजाब में जीएसटी लागू होने के बाद बोगस बिलिंग के मामले बढ़ रहे हैं। वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा ने 866 करोड़ की बोगस बिलिंग का मामला उजागर किया जिसमें मजदूरों के नाम पर फर्जी फर्म बनाकर आइटीसी क्लेम किया गया। इस फर्जीवाड़े में सीए व विभागीय अधिकारियों की जांच हो रही है। मजदूरों के आधार कार्ड से जीएसटी नंबर लिए गए।
जागरण संवाददाता, लुधियाना। जीएसटी लागू होने के बाद पंजाब में बोगस बिलिंग के मामले बढ़ते जा रहे हैं। इसको लेकर विभाग की ओर से सतर्कता के बावजूद बड़े किंगपिन इस धंधे को बड़े आराम से अंजाम दे रहे हैं और यह केवल विभाग को चूना नहीं लगा रहे, बल्कि कम पढ़े-लिखे मजदूरों को इस बोगस बिलिंग के लिए इस्तेमाल कर रहे हैं।
इसका राजफाश गत दिवस वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा की ओर से चंडीगढ़ में किया गया जिसमें 800 रुपये की दिहाड़ी देकर 20 फर्जी फर्म बनाकर 866 करोड़ की बोगस बिलिंग कर आइटीसी क्लेम मांगने का मामला सामने आया है। इसमें किंगपिन के साथ ही एक सीए व कुछ विभागीय अधिकारियों के शामिल होने की भी जांच की जा रही है। इस फर्जीवाड़ा के लिए खुद के नाम पर कोई कंपनी नहीं खोली गई और न ही बैंक खाते खोले गए।
इसके लिए मजदूरों को फंसाया गया और उनके नाम पर उनके आधार कार्ड के माध्यम से जीएसटी नंबर लिए गए, बैंक खाते खोले गए और इसी के माध्यम से ट्रांजेक्शन कर 866 करोड़ की बोगस बिलिंग कर 157.22 आइटीसी क्लेम किया गया।
इस मामले में जीएसटी विभाग को 40 लाख रुपये, फर्जी बिल बुक और बिना साइन की चेक बुक मिली है। मामले का मुख्य आरोपित सर्वजीत सिंह फरार है और उसे पकड़ने के लिए पुलिस छापेमारी कर रही है। उधर, ट्रांसपोर्टर मां दुर्गा रोड लाइंस नामक कंपनी ने भी 168 रुपये के जाली ई-वे बिल बनाकर धोखाधड़ी की है। यह ई-वे बिल लुधियाना आधारित फर्मों के प्रमाणपत्रों का प्रयोग करके की गई थी।
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