लुधियाना सेंट्रल जेल में हो रही थी नशा तस्करी, सहायक सुपरिटेंडेंट गिरफ्तार; LED में छिपाए गए थे नशीले पदार्थ
लुधियाना सेंट्रल जेल में सहायक सुपरिटेंडेंट और दो कैदियों के खिलाफ नशीले पदार्थ और मोबाइल तस्करी का मामला दर्ज किया गया है। चेकिंग के दौरान एक एलईडी टीवी स्क्रीन से ड्रग्स और 10 मोबाइल बरामद हुए। जांच में पता चला कि सहायक सुपरिटेंडेंट ने कैदियों के कहने पर एलईडी अंदर लाने की अनुमति दी थी। पुलिस ने सहायक सुपरिटेंडेंट को गिरफ्तार कर लिया है और मामले की जांच कर रही है।

एलईडी (टीवी) स्क्रीन में छिपाए गए थे नशीले पदार्थ
जागरण संवाददाता, लुधियाना। ताजपुर रोड स्थित सेंट्रल जेल के अधिकारियों ने अपने सहायक सुपरिटेंडेंट सुखविंदर सिंह और दो कैदियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है। उक्त कार्रवाई जेल परिसर के ड्योढ़ी में चेकिंग के दौरान ड्रग्स से भरी एक एलईडी (टीवी) स्क्रीन बरामद होने के बाद यह एफआईआर दर्ज की गई।
एफआईआर के बाद पुलिस ने सहायक सुपरिटेंडेंट को भी गिरफ्तार कर लिया है। लुधियाना सेंट्रल जेल के डीएसपी (सुरक्षा) जगजीत सिंह की शिकायत पर सहायक सुपरिटेंडेंट सुखविंदर सिंह और दो विचाराधीन कैदियों फिरोजुद्दीन और दीपक के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। एनडीपीएस अधिनियम की धारा 20/22/29-61-85 और जेल अधिनियम की धारा 52 ए (1) के तहत मामला दर्ज किया गया है।
डीएसपी जगजीत सिंह ने कहा, वह ड्यूटी पर मौजूद थे जब उन्होंने देखा कि जेल परिसर के ड्योढ़ी इलाके में तैनात सीआरपीएफ के जवान एक एलईडी टीवी स्क्रीन की जांच कर रहे थे। जांच के दौरान उन्हें एलईडी से 84 ग्राम, 121 ग्राम वजन के दो अलग-अलग नशीले पदार्थ मिले, इसके साथ ही 10 मोबाइल भी मिले, जिन्हें टेप से चिपकाया गया था।
जांच में पता चला कि सहायक सुपरिटेंडेंट सुखविंदर सिंह ने जेल कर्मचारियों को एलईडी अंदर लाने का निर्देश दिया था। पूछताछ के दौरान सहायक सुपरिटेंडेंट ने खुलासा किया कि जेल के कैदी फिरोजुद्दीन और दीपक ने उनसे एलईडी अंदर लाने के लिए कहा था और कहा था कि उन्होंने जेल सुपरिटेंडेंट से पहले ही परमीशन ले ली है। सहायक सुपरिटेंडेंट सुखविंदर सिंह ने हवालातियों की बात को वेरीफाई किए बिना जेल के अंदर एलईडी मंगवा ली। लेकिन उसकी ड्योढ़ी में चैकिंग के दौरान खुलासा हो गया।
इसके बाद आरोपित फिरोजुद्दीन और दीपक से पूछताछ की गई। उनकी चैकिंग के दौरान उनके पास से एक सिम कार्ड वाला मोबाइल फोन भी बरामद हो गया। डिवीजन नंबर 7 थाने के जांच अधिकारी एएसआई दिनेश कुमार ने बताया कि पुलिस ने अधीक्षक को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस जेल के कैदियों को भी पूछताछ के लिए लाएगी।
जिस एलईडी को पुलिस ने चैकिंग के लिए रोका तो वो साइड से हल्की से खुली हुई थी। सीआरपीएफ की टीम ने अंदर झांककर देखा तो कुछ गड़बड़ी लगी। फिर एलईडी को खोला गया, तो उसके अंदर डबल टेप से नशा और एक लाइन से 10 मोबाइल को चिपकाया हुआ था। जिसके बाद जेल अधिकारियों को सूचित किया गया। इस मामले में अभी तक सहायक सुपरिटेंडेंट का रोल पुलिस को ये समझ आया है कि उसने बिना सुपरिटेंडेंट की परमीशन के एलईडी को अंदर आने दिया। अब दोनों कैदियों से पूछताछ की जाएगी कि वाकये में सहायक सुपरिटेंडेंट को इस बात का पता था कि उस एलईडी में नशा और मोबाइल हैं या नहीं? इसकी जांच पुलिस कर रही है।
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