आठ साल की बेटी को फंदे से लटका कर मार डाला फिर खुद कर ली आत्महया
जगराओं के मोहल्ला अगवाड लधाई में शुक्रवार सुबह दिल दहलाने वाली घटना सामने आई है। मोहल्ले में रहने वाले 32 वर्षीय प्रदीप कुमार ने पहले अपनी आठ वर्षीय बेटी जपजीत कौर को फंदे से लटका कर मार डाला और फिर खुद पगड़ी का फंदा बनाकर पंखे से लटककर आत्महत्या कर ली। पिता और बेटी के शव कमरे में एक ही पंखे से लटक रहे थे।

संवाद सहयोगी, जगराओं : जगराओं के मोहल्ला अगवाड लधाई में शुक्रवार सुबह दिल दहलाने वाली घटना सामने आई है। मोहल्ले में रहने वाले 32 वर्षीय प्रदीप कुमार ने पहले अपनी आठ वर्षीय बेटी जपजीत कौर को फंदे से लटका कर मार डाला और फिर खुद पगड़ी का फंदा बनाकर पंखे से लटककर आत्महत्या कर ली। पिता और बेटी के शव कमरे में एक ही पंखे से लटक रहे थे। इससे ठीक एक साल पहले 26 अगस्त की रात को प्रदीप की पत्नी राजवंत कौर ने भी इसी पंखे से फंदा लगाकर खुदकुशी कर ली थी। थाना सिटी जगराओं की पुलिस ने पोस्टमार्टम के बाद दोनों शव परिवार को सौंप दिए हैं।
परिवार में प्रदीप और उसकी बेटी ही रहते थे। पत्नी की मौत से कुछ साल पहले उसके माता-पिता और भाई की भी मौत हो गई थी। इन दिनों वह मानसिक रूप से काफी परेशान था। कई बार डिप्रेशन दूर करने के लिए प्रतिबंधित गोलियां भी खाया करता था। बताया जा रहा है कि मानसिक परेशानी के कारण ही उसने यह खौफनाक कदम उठाया है। मौके से पुलिस को मरने से पहले लिखा गया सुसाइड नोट भी मिला है। पुलिस ने प्रदीप का मोबाइल भी कब्जे में ले लिया है। शाम साढ़े छह बजे रायकोट रोड पर स्थित श्मशानघाट में दोनों का अंतिम संस्कार कर दिया गया।
प्रदीप के घर के पीछे पार्किंग थी। कुछ लोग वहां अपनी गाड़ियां पार्क करते थे। घर के सामने लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज से पता चला है कि उसने घर का मुख्य गेट शुक्रवार सुबह पांच बजे खोल दिया था ताकि अगर कोई गाड़ी निकालने के लिए आए तो वह घर के अंदर न आए बल्कि पार्किंग से गाड़ी लेकर सीधा निकल जाए। सुबह पांच बजे के बाद कमरे में जाकर उसने इस घटना को अंजाम दिया। उसके पास करीब तीन एकड़ जमीन थी जिस पर खेतीबाड़ी करता था। एक साल पहले उसकी पत्नी भी बुटीक चलाती थी। जपजीत को अपने साथ ले जाने आई थी प्रदीप की मौसी :
प्रदीप सिंह की मौसी पास के गांव चकर में रहती है। उन्होंने बेटी जपजीत को अपने पास रख कर उसे पढ़ाने का फैसला किया था। मौसी शुक्रवार सुबह जपजीत को लेने के लिए अपने बेटे के साथ जगराओं आई थी। घर पहुंचकर जब उन्होंने दरवाजा खोला तो देखा कि पिता और बेटी के शव एक ही पंखे से लटक रहे थे।
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बेटी को किसी पर निर्भर न रहना पड़े इसलिए साथ लेकर जा रहा हूं..
आत्महत्या करने से पहले प्रदीप ने सुसाइड नोट लिखा था। इसमें लिखा कि वह अपनी मर्जी से खुदकुशी कर रहा है। उसके बाद बेटी को किसी पर निर्भर न रहना पड़े इसलिए वह उसे भी अपने साथ लेकर जा रहा है। मकान और जायदाद उसके मामा को सौंप दिए जाएं। इसे वह अपनी मर्जी से प्रयोग कर सकते हैं।
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नशा करने की बात अभी सामने नहीं आई : डीएसपी
डीएसपी दलजीत सिंह का कहना है कि सुसाइड नोट में प्रदीप ने किसी को भी खुदकुशी के लिए जिम्मेदार नहीं ठहराया है। उसके मामा शमशेर सिंह के बयान पर फिलहाल 174 की कार्रवाई की है। अभी उसके नशा करने वाली बात सामने नहीं आई है।
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दोस्त का आरोप, प्रदीप ने नशे में उठाया यह कदम, सीएम पर दर्ज हो केस :
वहीं, प्रदीप के दोस्त सुख सिंह ने कहा कि इसकी मौत के जिम्मेदार मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिदर सिंह हैं। उन्होंने सूबे से नशा खत्म करने की कसम खाई थी। उनके खिलाफ इसकी हत्या का केस दर्ज किया जाना चाहिए। सुख ने बताया कि आठ साल पहले माता-पिता, तीन साल पहले भाई और एक साल पहले पत्नी की मौत के बाद प्रदीप टूट चुका था। अकेला होने पर वह नशा करने लगा था। इसी कारण उसने यह कदम उठाया है।
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पूरा परिवार हो गया खत्म :
अगर प्रदीप के नशे में यह खौफनाक कदम उठाने की बात सही हुई तो इससे एक पूरा परिवार खत्म हो गया है। यह भी बताया जा रहा है कि तीन साल पहले प्रदीप के छोटे भाई की नशे के कारण अचानक मौत हो गई थी। कुछ साल पहले हंसते खेलते परिवार में अब कोई नहीं बचा है।
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