शुक्र है.. आखिर सीईटीपी तैयार हो गया, दो साल के प्रोजेक्ट को पूरा होने में लग गए पांच साल
लंबे समय बाद बुड्ढा दरिया के अच्छे दिन आने वाले हैं। फोकल प्वाइंट की डाइंगों के केमिकल युक्त पानी को ट्रीट करने के लिए 40 एमएलडी की क्षमता का सीईटीपी ...और पढ़ें

राजेश भट्ट, लुधियाना : लंबे समय बाद बुड्ढा दरिया के अच्छे दिन आने वाले हैं। फोकल प्वाइंट की डाइंगों के केमिकल युक्त पानी को ट्रीट करने के लिए 40 एमएलडी की क्षमता का सीईटीपी पांच साल बाद आखिर तैयार हो गया है। सीईटीपी में बैक्टीरिया बनाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई। 10 से 15 दिन में इसमें बैक्टीरिया बनाने की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी। इसके बाद फोकल प्वाइंट की डाइंगों का केमिकल युक्त पानी सीईटीपी में आना हो जाएगा। ट्रीट होने के बाद ही पानी को बुड्ढा दरिया में छोड़ा जाएगा। गौरतलब है कि फोकल प्वाइंट डाइंग एसोसिएशन के सीईटीपी का निर्माण पांच साल पहले शुरू किया गया था। इस पर 78 करोड़ रुपये खर्च किए जाने थे। इसमें सात करोड़ रुपये राज्य सरकार और 14 करोड़ रुपये केंद्र सरकार की ओर से सब्सिडी मिलनी थी। एसोसिएशन को केंद्र सरकार की सब्सिडी तो मिल गई लेकिन राज्य सरकार से सब्सिडी मिलने में काफी समय लगा। इस कारण दो साल में तैयार होने वाले प्रोजेक्ट को पांच साल लग गए। राज्य सरकार से सात करोड़ की सब्सिडी के चक्कर में प्रोजेक्ट की लागत करीब 14 करोड़ रुपये बढ़ गई। प्रोजेक्ट पर कुल 92 करोड़ रुपये खर्च हुए। इसमें से 71 करोड़ रुपये उद्यमियों ने खर्च किए हैं।
फोकल प्वाइंट डाइंग एसोसिएशन ने फोकल प्वाइंट से सेंट्रल जेल के पास बने सीईटीपी प्लांट तक डाइंगों का पानी पहुंचाने के लिए सीवरेज लाइन बिछाई है। डाइंग उद्यमियों के मुताबिक सीईटीपी में पहले 20 फीसद फैक्ट्रियों का पानी पहुंचाया जाएगा और धीरे धीरे इसमें पानी की मात्रा बढ़ाई जाएगी। एक माह के भीतर सभी डाइंगों का पानी शिफ्ट कर दिया जाएगा। इसके बाद बुड्ढा दरिया के सीओडी लेवल में भी कमी आ जाएगी। सीवरेज जाम की समस्या से भी मिलेगी निजात :
फोकल प्वाइंट की डाइंगें अभी फैक्ट्रियों में प्लांट लगाकर पानी को ट्रीट करने के बाद सीवरेज में गिराते हैं। कुछ फैक्ट्रियां केमिकल युक्त पानी को सही से ट्रीट नहीं करती हैं। डाइंगों का पानी सीवरेज में गिरने से फोकल प्वाइंट व आसपास के क्षेत्रों में सीवरेज जाम की समस्या भी पैदा हो जाती है। सीईटीपी शुरू होने से सीवरेज जाम की समस्या से भी निजात मिलेगी। फोकल प्वाइंट में कुल 68 डाइंग फैक्ट्रियां हैं। इन डाइंगों के लिए सीईटीपी सेंट्रल जेल के पास बनाया गया है। डाइंगों का पानी वहां तक पहुंचाने के लिए एसोसिएशन ने 22 किलोमीटर लंबी सीवरेज लाइन बिछाई हैं। पानी ट्रीट होने के बाद ही दरिया में बहाया जाएगा।
- राहुल वर्मा, डायरेक्टर फोकल प्वाइंट डाइंग एसोसिएशन ताजपुर डाइंग कलस्टर का सीईटीपी भी तैयार
पंजाब डायर्स एसोसिएशन के प्रधान एवं ताजपुर डाइंग कलस्टर के डायरेक्टर अशोक मक्कड़ का कहना है कि उनका सीईटीपी भी इंस्टाल हो गया है। 30 सितंबर तक उसका काम पूरा हो जाएगा। अक्टूबर में डाइंगों का पानी सीईटीपी में शिफ्ट कर दिया जाएगा। ताजपुर की डाइंगों के लिए 50 एमएलडी का सीईटीपी लगाया गया है। डाइंगों से पानी सीईटीपी तक पहुंचाने के लिए सीवरेज लाइन भी बिछाई गई है।

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