पराली जलाने से रोकने के लिए कपूरथला प्रशासन सख्त, प्रोटेक्शन फोर्स का गठन; SDM और DSP करेंगे निगरानी
कपूरथला जिला प्रशासन ने पराली जलाने से रोकने के लिए पराली प्रोटेक्शन फोर्स (पीपीएफ) का गठन किया है। एसडीएम और डीएसपी संयुक्त रूप से इसकी निगरानी करेंगे। जिले में दो लाख मीट्रिक टन पराली एकत्र करने का लक्ष्य है जिसे बॉयलरों में इस्तेमाल किया जाएगा। पिछले सीजन में पराली जलाने के मामले 1000 से घटकर 300 रह गए और इस सीजन में इसे और कम करने का लक्ष्य है।

जागरण संवाददाता, कपूरथला। पराली को जलने से रोकने के लिए जिला प्रशासन ने अभी से तैयारी शुरू कर दी है। इसके लिए प्रशासन की ओर से पराली प्रोटेक्शन फोर्स (पीपीएफ) का गठन कर दिया है।
एसडीएम और डीएसपी करेंगे निगरानी
इसकी मुकम्मल निगरानी संबंधित सब-डिवीजन के एसडीएम और डीएसपी संयुक्त रूप से करेंगे, जबकि तहसीलदार, कृषि विकास अधिकारी, एसएचओ, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के प्रतिनिधि, बीडीपीओ और सहकारी सभा के प्रतिनिधि इसके सदस्य होंगे।
यहां जिला प्रशासनिक कांप्लेक्स में पराली जलाने से रोकने के लिए किए जाने वाले प्रबंधों के बारे में मीटिंग के दौरान डीसी अमित कुमार पंचाल ने बताया कि जिला कपूरथला में दो लाख मीट्रिक टन पराली एकत्र करने का लक्ष्य है, जिसे बाद में आवश्यकता के अनुसार बॉयलरों में उपयोग किया जा सकेगा। पराली को स्टोर करने के लिए ग्रामीण विकास और पंचायत विभाग की ओर से सार्वजनिक स्थानों की पहले ही पहचान की जा चुकी है।
उन्होंने बताया कि पिछले सीजन के दौरान जिले में पराली जलाने के मामले लगभग 1 हजार से घटकर 300 रह गए थे और आगामी सीजन में इन्हें और कम करने का लक्ष्य है। उन्होंने एसडीएम और डीएसपी को आदेश दिए कि वे उन 27 गांवों में जाकर लोगों को पराली जलाने के दुष्प्रभावों के बारे में जागरूक करें, जहां पिछले सीजन में आग लगने की तीन या इससे अधिक घटनाएं हुई थीं।
44 क्लस्टर और 200 नोडल अधिकारी नामित
डीसी ने यह भी कहा कि एक्शन प्लान को और प्रभावी ढंग से जमीनी स्तर पर लागू करने के लिए क्लस्टर और नोडल अधिकारियों की संख्या में वृद्धि की जाए। वर्तमान में 44 क्लस्टर और 200 नोडल अधिकारी नामित किए गए हैं। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि प्रत्येक सब-डिवीजन स्तर पर कृषि और सहकारिता विभाग के अधिकारी नोडल अधिकारी होंगे।
इसके अलावा एसडीएम को निर्देश दिया गया कि वे सरपंचों, नंबरदारों और अन्य सम्मानित व्यक्तियों का एकत्रीकरण करके उन्हें पराली न जलाने की मुहिम में भागीदार बनाएं।
एसएसपी कपूरथला गौरव तूरा ने बताया कि पुलिस की ओर से धान की कटाई के सीजन के दौरान गश्त के लिए विशेष टीमें तैनात की जाएंगी। मीटिंग के दौरान शिक्षा विभाग को दसवीं से बारहवीं कक्षा के विद्यार्थियों को पराली जलाने से होने वाले नुकसानों के बारे में जागरूक करने के निर्देश भी दिए गए। इस मौके पर एडीसी (ज) नवनीत कौर बल, एडीसी (व) वरिंदरपाल सिंह बाजवा, सभी एसडीएम, डीएसपी, कृषि, सहकारिता, शिक्षा विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।

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