पंचायत चुनाव नामांकन दाखिल करने के लिए उमड़ी भीड़, सरपंच के लिए 362 और पंच के लिए 927 नॉमिनेशन
पंचायत चुनाव के लिए नामांकन दाखिल करने की प्रक्रिया जारी है। मंगलवार को 1289 उम्मीदवारों ने नामांकन पत्र दाखिल किए। इनमें से 362 उम्मीदवार सरपंच और 927 उम्मीदवार पंच पद के लिए चुनाव लड़ेंगे। नामांकन प्रक्रिया 27 सितंबर को शुरू हुई थी लेकिन पहले दिन किसी भी उम्मीदवार ने नामांकन दाखिल नहीं किया था। नामांकन के लिए अब केवल चार अक्टूबर तक का समय बचा है।
जागरण संवाददाता, जालंधर। अगले दो दिन सरकारी अवकाश होने की वजह से मंगलवार को पंचायत चुनाव के लिए नामांकन दाखिल करने वाले उम्मीदवारों की बाढ़ ही आ गई। मंगलवार को कुल 1289 उम्मीदवारों ने संबंधित रिटर्निंग अधिकारियों के पास नामांकन पत्र दाखिल किए।
इनमें से 362 उम्मीदवार सरपंच एवं 927 उम्मीदवार पंच के चुनाव के लिए नामांकन दाखिल करने पहुंचे। 27 सितंबर को नामांकन प्रक्रिया शुरू हुई थी, लेकिन उस दिन किसी भी उम्मीदवार ने नामांकन दाखिल नहीं किया था।
शनिवार एवं रविवार को साप्ताहिक अवकाश होने के बाद सोमवार को सरपंच के लिए 45 एवं पंच के लिए 80 उम्मीदवारों ने नामांकन दाखिल किए थे। इसी तरह अब तक जिले में कुल 1414 नामांकन दाखिल किए जा चुके हैं जिनमें सरपंच के लिए 407 एवं पंच के लिए 1007 उम्मीदवार शामिल हैं।
दो अक्टूबर को है गांधी जयंती
दो अक्टूबर को गांधी जयंती तथा तीन अक्टूबर को महाराजा अग्रसेन जयंती की सरकारी छुट्टी होने की वजह से नामांकन नहीं लिए जाएंगे। नामांकन के लिए उम्मीदवारों के पास अब मात्र चार अक्टूबर ही बाकी है, जो की नामांकन के लिए आखिरी तारीख है। चार अक्टूबर को रिटर्निंग अधिकारियों के पास नामांकन के लिए भीड़ जुटने की संभावना व्यक्त की जा रही है।
एनओसी के लिए लोगों को किया जा रहा परेशान कोटली
आदमपुर के कांग्रेस विधायक सुखविंदर सिंह कोटली ने बीडीपीओ कार्यालय में एनओसी लेने के लिए विपक्षी पार्टियों के उम्मीदवारों को परेशान किए जाने का आरोप लगाया है। कोटली ने कहा कि लोग सुबह से ही एनओसी लेने के लिए बीडीपीओ कार्यालय में कतारो में खड़े हैं, लेकिन अधिकारी आराम से काम कर रहे हैं।
विपक्षी पार्टियों के साथ संबंध रखने वाले उम्मीदवारों को जानबूझकर नजरअंदाज किया जा रहा है। विधायक कोटली ने दोष लगाया कि सत्ताधारी पार्टी की शह पर पंजाब में कई स्थानों पर कांग्रेसियों के साथ सरेआम धक्केशाही की घटनाएं सामने आ रही हैं।
गुरदासपुर जिले में हिंसा
गुरदासपुर जिले में कांग्रेस सांसद एवं कांग्रेसी विधायकों को अपनी बात रखने के लिए डीसी ने अंदर आने की अनुमति नहीं दी। जबकि जीरा में पूर्व विधायक विधायक कुलबीर सिंह जीरा के साथियों पर सरेआम गोलियां चलाई गई।
विधायक कोटली ने कहा कि पंजाब सरकार निष्पक्ष चुनाव कराने का दावा कर रही थी लेकिन असलियत यह है कि विपक्षी पार्टी कांग्रेस से संबंधित उम्मीदवारों को चुनाव से दूर करने के लिए जानबूझकर परेशान किया जा रहा है।
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