Punjab Roadways Strike: मंगलवार को खुद सीएम करेंगे बैठक, कांट्रेक्ट मुलाजिमों ने दी हाईवे जाम करने की चेतावनी
सीएम पंजाब के साथ बैठक का आश्वासन मिलने के बाद पंजाब रोडवेज पनबस और पीआरटीसी कांट्रेक्ट मुलाजिमों ने चंडीगढ़ में दिया धरना समाप्त कर दिया है। हालांकि कहा है कि प्रदेश भर में सरकारी बसों का चक्का जाम बदस्तूर जारी रहेगा।
जागरण संवाददाता, जालंधर। मुख्यमंत्री आवास का घेराव करने सिसवां गए पंजाब रोडवेज एवं पीआरटीसी कांट्रेक्ट मुलाजिमों को अब आश्वासन मिला है कि कैप्टन अमरिंदर सिंह उनसे बैठक करेंगे। मंगलवार को होने वाली इस बैठक में उनकी मांगों पर गंभीरता से विचार किया जाएगा। इस आश्वासन के बाद कांट्रेक्ट मुलाजिमों ने चंडीगढ़ में दिया धरना समाप्त कर दिया है। हालांकि कहा है कि प्रदेश भर में सरकारी बसों का चक्का जाम बदस्तूर जारी रहेगा। पंजाब रोडवेज, पनबस पीआरटीसी कॉन्ट्रैक्ट मुलाजिम यूनियन ने प्रदेश सरकार को चेतावनी भी दे डाली है कि अगर मंगलवार को उनकी मांगों को स्वीकार नहीं किया गया तो वह नेशनल हाईवे को जाम कर देंगे।
यूनियन के जालंधर-एक के अध्यक्ष गुरप्रीत सिंह ने कहा है कि सरकार की तरफ से दिए गए आश्वासन के बाद चंडीगढ़ में धरना समाप्त कर दिया है। अब मुलाजिम संबंधित डिपो में वापस लौट रहे हैं जहां वे प्रदेश भर में बीते 5 दिन से जारी चक्का जाम को आगे बढ़ाएंगे। उन्होंने कहा कि यह तय है कि जब तक सरकार कांट्रेक्ट मुलाजिमों को पक्का करने के लिए नोटिफिकेशन जारी नहीं करती है, तब तक प्रदेश भर में सरकारी बसों का चक्का जाम ही रखा जाएगा।
बता दें कि कांट्रेक्ट मुलाजिम पिछले सोमवार से प्रदेश भर में बसों का चक्का जाम रखे हुए हैं। वीरवार को भी उन्होंने प्रदेश भर के बस स्टैंड 4 घंटे के लिए बंद कर दिए थे। उनकी हड़ताल की वजह से जहां यात्रियों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है, पंजाब रोडवेज एवं पीआरटीसी को लगभग 7.5 करोड़ रुपे का नुकसान भी हो चुका है।
पंजाब में पांच दिन से हड़ताल पर हैं कांट्रेक्ट कर्मी
बता दें कि पंजाब रोडवेज, पनबस और पीआरटीसी के कांट्रेक्ट कर्मी पिछले 6 सितंबर से हड़ताल पर हैं। इसकी वजह से करीब 2000 सरकारी बसों का संचालन प्रभावित हुआ है। विशेष कर लंबे रूट की बसें नहीं चल पा रही हैं। इस कारण दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश के लिए सीधी सरकारी बसों की सेवा लगभग बंद हो गई है।