स्कूल आफ एमिनेंस: विद्यार्थियों के सपनों को मिल रही उड़ान, जेईई-नीट के लिए हो रहे हैं तैयार
मुख्यमंत्री भगवंत मान कहते हैं ‘यह प्रयोग नहीं बल्कि इस बात का सूचक बनेगी कि सरकारी स्कूल में पढ़ने वाले बच्चे भी जेईई व नीट की परीक्षाओं को क्रैक कर सकते हैं।’ यह ही नहीं पंजाब सरकार शिक्षा क्षेत्र में ओवर-आल परिवर्तन की पक्षधर है। यही कारण हैं कि सरकारी स्कूलों के अध्यापकों स्कूल के प्रमुखों को बेहतर ट्रेनिंग देने के उद्देश्य से विभिन्न ट्रेनिंग प्रोग्राम शुरू किया गया।

डिजिटल टीम, चंडीगढ़। पंजाब में 118 स्कूल आफ एमिनेंस खोल कर सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों के सपनों में रंग भरने वाली मुख्यमंत्री भगवंत मान की अगुवाई वाली पंजाब सरकार ने जेईई-नीट की तैयारी के लिए सरकारी स्तर कैंप लगाकर शिक्षा क्षेत्र में अपनी क्रांतिकारी सोच का परिचय दिया है। पूरे देश में ऐसा प्रयोग शायद ही किसी राज्य सरकार ने किया होगा जो पंजाब सरकार ने किया है।
सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे जोकि इंजीनियरिंग व डाक्टर बनना चाहते हैं उनके लिए मोहाली और जालंधर में कैंप लगाया गया है। जहां पर विद्यार्थियों के जेईई और नीट परीक्षा को पास करने के लिए पढ़ाया जा रहा है। जिस तैयारी के लिए विद्यार्थियों को लाखों रुपये खर्च करने पड़ते हैं मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान की सरकार वह तैयारी मुफ्त में करवा रही है।
मुख्यमंत्री भगवंत मान कहते हैं ‘यह प्रयोग नहीं बल्कि इस बात का सूचक बनेगी कि सरकारी स्कूल में पढ़ने वाले बच्चे भी जेईई व नीट की परीक्षाओं को क्रैक कर सकते हैं।’ यह ही नहीं पंजाब सरकार शिक्षा क्षेत्र में ओवर-आल परिवर्तन की पक्षधर है। यही कारण हैं कि सरकारी स्कूलों के अध्यापकों, स्कूल के प्रमुखों को बेहतर ट्रेनिंग देने के उद्देश्य से विभिन्न ट्रेनिंग प्रोग्राम शुरू किया गया। इनमें सबसे पहले सिंगापुर स्थित प्रिंसिपल अकादमी और इंस्टीट्यूट ऑफ सिंगापुर इंटरनेशनल में 200 से अधिक प्रिंसिपलों और शिक्षा प्रशासकों को ट्रेनिंग दी गई। इसी तरह 150 हेड मास्टरों को आईआईएम, अहमदाबाद में लीडरशिप, स्कूल प्रबंधन, शिक्षा विभाग में एआई आदि विषयों पर प्रशिक्षण दिया गया। प्रशिक्षण की दिशा में एक कदम और बढ़ाते हुए प्राइमरी शिक्षा को मजबूत करने के लिए बीपीईओ, सीएचटी, एचटी और ईटीटी के कुल 72 अध्यापकों को यूनिवर्सिटी ऑफ तुर्कू (फिनलैंड) में विशेष प्रशिक्षण करवाया गया।
सरकारी स्कूलों की देखभाल, सुरक्षा और साफ-सफाई को सुनिश्चित करने के लिए लगभग 82 करोड़ रुपये जारी किए गए। जिसके जरिए 1689 कैम्पस मैनेजरों, 689 हाई और सीनियर सेकेंडरी स्कूलों में 1265 सुरक्षा गार्ड (652 सीनियर सेकेंडरी स्कूल और 37 हाई स्कूल, प्रति स्कूल-2) को भी पैसको के जरिए भर्ती किया गया। इसके अलावा 8286 स्कूलों में सफाई कर्मचारियों का प्रबंधन किया गया है और सरकारी सीनियर सेकेंडरी स्कूलों में 1734 चौकीदारों की भर्ती की गई।
118 स्कूल ऑफ एमिनेंस में हाई स्पीड फाइबर वाईफाई इंटरनेट कनेक्शन से जोड़ा गया। जिस पर करीब 29.3 करोड़ रुपये खर्च किए गए। स्कूलों में शौचालय, अतिरिक्त क्लास रूम, प्रयोगशालाएं, पुस्तकालय और अन्य कामों के निर्माण के लिए 120.43 करोड़ मुहैया कराए गए हैं। राज्य सरकार द्वारा कक्षाओं और प्रयोगशालाओं के लिए भी 93.48 करोड़ रुपये मुहैया कराए गए हैं।
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