पंजाब PCS प्रीलिम्स में पंजाबी के सिर्फ 8 सवाल, यूथ विंग ने लगाया जानबूझकर अन्याय का आरोप
पंजाब पीसीएस प्रीलिम्स एग्जाम में पंजाबी से संबंधित प्रश्नों की कमी पर सवाल उठे हैं। मिसल सतलुज यूथ विंग ने परीक्षा में पंजाबी कंटेंट की कमी को लेकर प ...और पढ़ें

पीसीएस प्रीलिम्स एग्जाम में पंजाब के मुद्दों की अनदेखी पर उठे सवाल (फोटो: जागरण)
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। पंजाब पीसीएस प्रीलिम्स एग्जाम में पंजाबी और पंजाब से संबंधित प्रश्नों की संख्या में कमी पर गंभीर सवाल उठाए गए हैं।
मिसल सतलुज के यूथ विंग ने सात दिसंबर को आयोजित इस परीक्षा में पंजाबी से संबंधित कंटेंट की कमी को लेकर पंजाब पब्लिक सर्विस कमीशन (पीपीएससी) के चेयरमैन से बैठक की मांग की है।
मिसल सतलुज के नेता यादविंदर सिंह यादू ने बताया कि 10 दिसंबर को पटियाला में चेयरमैन को एक मेमोरेंडम सौंपा गया।
उन्होंने कहा कि प्रीलिम्स एग्जाम में जानबूझकर पंजाबी को कम किया गया है, जो पंजाब के ग्रामीण छात्रों के साथ अन्याय है।
यादू ने बताया कि इस बार सीएसएटी एग्जाम में पंजाबी के केवल आठ सवाल थे, जबकि पहले यह संख्या 15 से 23 तक होती थी।
जनरल स्टडीज (जीएस) पेपर में पंजाब पर आधारित केवल तीन सवाल थे। पहले पेपर में पंजाबी इतिहास, भूगोल, अर्थव्यवस्था और सिख गुरुओं को नजरअंदाज किया गया।
मिसल सतलुज के अध्यक्ष अजयपाल सिंह बराड़ ने कहा कि यह परीक्षा पंजाब के लिए अधिकारियों का चयन करने के लिए है, जिसमें पंजाबी भाषा और संस्कृति पर ध्यान केंद्रित होना चाहिए था।
यादवू ने प्रतियोगी परीक्षाओं के उद्देश्य पर जोर देते हुए कहा कि छात्रों का आत्मविश्वास बढ़ाना चाहिए, न कि उन्हें हतोत्साहित करना।

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