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    पंजाब में अवैध खनन पर लगेगी लगाम... रेत-बजरी वाहनों पर GPS लगाना जरूरी, CM मान का फैसला

    Updated: Fri, 28 Nov 2025 04:12 PM (IST)

    पंजाब सरकार ने रेत और बजरी ढोने वाले वाहनों में जीपीएस अनिवार्य कर दिया है ताकि अवैध खनन पर निगरानी रखी जा सके। सरकारी अस्पतालों में विशेषज्ञ डॉक्टर अब ऑन कॉल उपलब्ध होंगे, और सीमावर्ती क्षेत्रों में डॉक्टरों व शिक्षकों को प्रोत्साहन दिया जाएगा। सोसाइटी रजिस्ट्रेशन एक्ट में संशोधन किया गया है, और खनन विभाग में अपीलीय अथॉरिटी का काम अब सुपरिटेंडेंट इंजीनियर देखेंगे।

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    पंजाब सरकार ने रेत, बजरी ढोने वालों पर जीपीएस को अनिवार्य किया।

    राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। अवैध माइनिंग को रोकने के लिए पंजाब सरकार ने रेत बजरी ढोने वाले सभी वाहनों पर जीपीएस सिस्टम को लगाना अनिवार्य कर दिया है। यह फैसला आज यहां कैबिनेट की बैठक में लिया गया, जो मुख्यमंत्री भगवंत मान की अगुवाई में हुई थी। बैठक में वित्त मंत्री हरपाल चीमा ने लिए गए फैसलों के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि वाहनों में जीपीएस सिस्टम को अनिवार्य इसलिए किया गया है क्योंकि इससे सरकार रियल टाइम ट्रैकिंग पर नजर रख सकेगी।

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    अगर कोई अवैध माइनिंग करता है तो उन पर शिकंजा कसा जा सकेगा। हालांकि, जब उनसे पूछा गया कि सरकार हर वाहन पर जीपीएस सिस्टम को अनिवार्य करवाए जाने को कैसे यकीनी बनाएगी और जो टिप्पर अवैध ही चल रहे हैं वे पकड़े कैसे जाएंगे? क्या सरकार ऐसा नहीं कर सकती कि रेत बजरी ढोने वाले वाहनों का रंग एक ही कर दे, इस पर मंत्री ने कहा कि यह एक अच्छा सुझाव है। हम इस पर विचार करेंगे।

    स्पेशलिस्ट डॉक्टर को आन कॉल बुलाएगी सरकार

    एक अन्य फैसले के बारे में जानकारी देते हुए वित्त मंत्री हरपाल चीमा ने कहा कि सरकारी अस्पतालों में विशेषज्ञ डॉक्टरों की कमी को देखते हुए सरकार ने यह फैसला लिया है कि इन डॉक्टर को आन कॉल बुलाया जा सकेगा। इसके लिए उन्हें ओपीडी में हर मरीज देखने पर 100 रुपये और इनडोर में देखने पर भी 100 रुपये दिए जाएंगे। ओपीडी में एक डॉक्टर एक दिन में 50 से 150 मरीज और इनडोर में दो से 20 मरीजों को चेक कर सकेगा। सरकार ने ऐसे 300 डॉक्टर की इम्पैनलमेंट करने को मंजूरी दे दी है।

    कैबिनेट ने मेडिसिन, पीडियाट्रिक्स, साइकेट्री, डर्मेटोलॉजी, चेस्ट और टीबी, सर्जरी, गायनेकोलॉजी, ऑर्थोपेडिक्स, ऑप्थैल्मोलॉजी, ईएनटी और एनेस्थिसियोलॉजी समेत 12 खास कैटेगरी में 300 स्पेशलिस्ट को शामिल करने का भी फैसला किया। एक अन्य फैसले में सीमावर्ती जिलों में डॉक्टर और शिक्षकों की तैनाती के लिए उन्हें इंसेंटिव दिए जाएंगे।

    वित्त मंत्री ने बताया कि बॉर्डर के साथ लगते इलाकों में सिफारिश के जरिए अध्यापक और डॉक्टर अपने तबादले करवा लेते हैं। उन्हें वहीं पर नौकरी करने के लिए इंसेंटिव देने संबंधी विभागीय अधिकारियों को प्रोजेक्ट तैयार करने को कहा गया है। चीमा ने बताया कि तरनतारन में हुए उपचुनाव के दौरान इस तरह की समस्या सामने आने के बाद यह कदम उठाया गया है। उन्होंने बताया कि प्रचार के दौरान लोगों ने अपने इलाकों के शिक्षकों और डॉक्टरों की कमी के बारे में मुख्यमंत्री को बताया था।

    सोसाइटी रजिस्ट्रेशन एक्ट 1860 में संशोधित करते हुए पंजाब सरकार ने उन सोसाइटियों पर शिकंजा करने का फैसला दिया है, जो लोगों के साथ धोखाधड़ी करते हैं। वित्त मंत्री ने बताया कि लोगों को मेंबर बनाकर उनके साथ धोखाधड़ी की जाती है और सरकार ने अब फैसला किया है कि हर समिति का ऑडिट करवाया जाएगा और प्रबंधक नियुक्त करने का अधिकार भी रजिस्टर को दे दिया गया है। वित्त मंत्री ने कहा कि जब से यह एक्ट अस्तित्व में आया है तब से यह पहली बार संशोधन किया जा रहा है।

    माइनिंग विभाग में एपिलेट अथॉरिटी का काम अब सुपरिटेंडेंट इंजीनियर देखेंगे। इस पर कैबिनेट ने मुहर लगा दी है। वित्त मंत्री ने बताया कि अवैध वाहन पकड़े जाने पर या किसी भी अन्य कामों के लिए अगर अपील करती होती थी तो मुश्किल आती थी। पता चला है कि जब माइनिंग विभाग उद्योग विभाग के अधीन आता था, तब स्टेट ज्योलाजिस्ट के पास था, लेकिन सिंचाई विभाग में इस प्रकार के पद का कोई प्रावधान नहीं है। इसलिए कैबिनेट ने अब विभाग के सुपरिटेंडेंट इंजीनियर को यह काम सौंप दिया है।