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    पंजाब की भगवंत मान सरकार की औद्योगिक नीति को मिली सफलता, बरनाला में IOL केमिकल्स ने किया 1133 करोड़ का मेगा-निवेश

    Updated: Fri, 10 Oct 2025 02:38 PM (IST)

    भगवंत मान सरकार के नेतृत्व में पंजाब अब अन्नदाता से जीवन रक्षक दवाएं बनाने वाले राज्य में बदल रहा है। बरनाला में IOL केमिकल्स एंड फार्मास्यूटिकल्स लिमिटेड ₹1220.83 करोड़ का बड़ा विस्तार कर रहा है। यह निवेश उत्पादन क्षमता बढ़ाएगा, देश को दवाइयों के कच्चे माल में आत्मनिर्भर बनाएगा और हजारों युवाओं को रोजगार देगा। मान सरकार की ईमानदार औद्योगिक नीति और दूरदर्शी सोच 'रंगला पंजाब' के सपने को साकार कर रही है, जिससे राज्य में औद्योगिक विकास और स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार हो रहा है।

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    पंजाब बना देश का नया 'फार्मा सुपरपावर'

    डिजिटल डेस्क, चंडीगढ़। जिस पंजाब को अन्नदाता कहा जाता है, अब वह देश और दुनिया को जीवन रक्षक दवाएं देने की तैयारी में है। जब से भगवंत मान जी के नेतृत्व में सरकार आई है, उनका एक ही नारा रहा है - 'रंगला पंजाब' बनाना। लेकिन यह रंग केवल हरे-पीले नहीं हैं; यह स्वास्थ्य सेवाओं की लालिमा और औद्योगिक विकास की सुनहरी चमक है। पहले बड़े उद्योगपतियों को सरकार से बात करने में कई साल लग जाते थे । लेकिन मान सरकार ने ईमानदार नीयत और तेज़-तर्रार नीति से यह दूरी मिटा दी है ,बरनाला में स्थित IOL केमिकल्स एंड फार्मास्यूटिकल्स लिमिटेड का विशाल विस्तार, जो क़रीब 1133 करोड़ (वास्तविक निवेश $1220.83 करोड़) का है, एक ऐसा कदम है जिसने पूरे राज्य को गर्व से भर दिया है। यह महज़ एक फैक्ट्री का विस्तार नहीं है, यह मान सरकार की दूरदर्शी सोच और 'रंगला पंजाब' के सपने को ज़मीन पर उतारने का सबसे बड़ा सबूत है। आईओएल केमिकल्स एंड फार्मास्युटिकल्स लिमिटेड (आईओएलसीपी) पंजाब के बरनाला के मानसा रोड स्थित फतेहगढ़ चन्ना गांव में स्थित अपनी रसायन और एपीआई उत्पादन इकाई में एक महत्वपूर्ण विस्तार परियोजना शुरू कर रही है। 1220.83 करोड़ के निवेश से होने वाले इस विस्तार का उद्देश्य उत्पादन क्षमता को बढ़ाना और आत्मनिर्भरता बढ़ाना है, जिसमें नए उत्पाद शामिल किए जाएंगे और मौजूदा उत्पादों की क्षमता में वृद्धि की जाएगी।

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    आईओएल केमिकल्स एंड फार्मास्यूटिकल्स कंपनी, जो पहले से ही विश्व स्तर पर मशहूर दर्द निवारक दवा आइबुप्रोफेन (Ibuprofen) की सबसे बड़ी निर्माता है, अब मान सरकार के प्रयत्नों से अपनी इस बरनाला यूनिट में एक बहुत बड़ा निवेश करने जा रही है। यह परियोजना 1,220.83 करोड़ (करीब 1133 करोड़) के भारी-भरकम निवेश से आकार लेगी। यह रकम केवल दीवारों और मशीनों पर खर्च नहीं होगी, बल्कि यह पंजाब की धरती पर एक मजबूत भविष्य बनाने के लिए लगाई जा रही है। इस विस्तार से कंपनी की उत्पादन क्षमता कई गुना बढ़ जाएगी। हमारे देश को कई ज़रूरी दवाइयों के कच्चे माल (APIs) के लिए अब बाहर नहीं देखना पड़ेगा। यह कदम हमें 'आत्मनिर्भर भारत' की दिशा में और मज़बूती देगा। आईओएल केमिकल्स एंड फार्मास्युटिकल्स ने खसरा संख्या 124, 125, 126, 131, 132, 165, 166, 171, 172 और 208 पर एक रसायन और एपीआई निर्माण इकाई स्थापित करने का प्रस्ताव रखा है। यह इकाई एनएच-7, बठिंडा-चंडीगढ़ राजमार्ग, गांव बडबर, तहसील और जिला बरनाला, पंजाब में स्थित है। इस संयंत्र की कुल क्षमता में 860 टन प्रतिदिन रसायन और एपीआई उत्पादन, 33 मेगावाट का सह-उत्पादन विद्युत संयंत्र, 483.79 टन प्रतिदिन उप-उत्पाद और 2250 लाख यूनिट प्रतिदिन फॉर्मूलेशन उत्पाद शामिल हैं।


    इस विस्तार की सबसे भावनात्मक बात यह है कि मान सरकार और कंपनी ने सिर्फ मुनाफा नहीं देखा है, बल्कि पर्यावरण की परवाह भी की है। कंपनी ने पर्यावरण सुरक्षा के लिए भी एक बड़ा बजट ($13.90 करोड़) रखा है, ताकि विकास की दौड़ में हमारी हवा और पानी स्वच्छ बने रहें। इसके अलावा, बिजली उत्पादन के लिए 17 मेगावॉट से बढ़ाकर 29.75 मेगावॉट तक की सह-उत्पादन क्षमता (cogeneration) का विस्तार किया जा रहा है। यह मान सरकार की पर्यावरण के प्रति उनकी गहरी ज़िम्मेदारी को दर्शाता है। IOL केमिकल्स एंड फार्मास्यूटिकल्स का बरनाला विस्तार पंजाब की प्रगति का एक जीवंत उदाहरण है। यह परियोजना केवल आर्थिक उन्नति नहीं लाएगी, बल्कि हर पंजाबी को यह विश्वास देगी कि एक स्वस्थ और समृद्ध भविष्य अब दूर नहीं है। यह मान सरकार की दूरदर्शी सोच को समर्पित है, जो पंजाब को फिर से देश का सिरमौर बनाने के लिए दिन-रात एक कर रहे हैं। यह निवेश केवल फार्मा सेक्टर का नहीं, बल्कि पंजाब के एक उज्जवल और स्वस्थ भविष्य का आधार है। हमें उम्मीद है कि यह विस्तार लाखों लोगों के जीवन में ख़ुशहाली और बेहतर स्वास्थ्य लेकर आएगा।


    मुख्यमंत्री भगवंत मान की सरकार ने 'ईमानदार और सरल' औद्योगिक नीति बनाई है। इसी नीति का परिणाम है कि बड़ी कंपनियां तेज़ी से पंजाब की ओर आकर्षित हो रही हैं। लाल फ़ीताशाही (Red-tapism) को हटाकर हरी बत्ती (Green Signal) देना, यह दिखाता है कि पंजाब निवेश के लिए पूरी तरह तैयार है। जब इतना बड़ा काम शुरू होता है, तो सबसे पहले रोज़गार के दरवाज़े खुलते हैं। इस विस्तार से पंजाब के हज़ारों युवाओं को सीधे रूप से रोज़गार मिलेगा। हर नए युवा को मिलता काम उसके परिवार के लिए एक नया सवेरा लेकर आएगा। मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व वाली सरकार ने इस परियोजना को ज़मीन पर उतारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उनकी औद्योगिक नीति और निवेश-अनुकूल माहौल के कारण ही इतने बड़े प्रोजेक्ट पंजाब की ओर आकर्षित हो रहे हैं। यह दिखाता है कि सरकार केवल बातें नहीं कर रही, बल्कि ज़मीनी स्तर पर काम कर रही है। एक तरफ जहां मान सरकार स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर बनाने का कार्य कर रही है , वहीं दूसरी तरफमान सरकार पंजाब को देश का एक प्रमुख फार्मा हब बना रही है।


    IOL केमिकल्स का बरनाला विस्तार, स्वास्थ्य और समृद्धि के बीच एक मजबूत पुल है। यह सिर्फ़ एक आर्थिक ख़बर नहीं, यह उस पंजाब की आत्मा की आवाज़ है जो फिर से देश का नेतृत्व करने को तैयार है। मान सरकार की दूरदर्शिता और IOLCP के परिश्रम से, पंजाब अब फिर से 'रंगला पंजाब' बनने की ओर तेज़ी से बढ़ रहा है, मान सरकार ने न केवल निवेश के दरवाज़े खोले हैं, बल्कि लाखों युवाओं के सपनों को भी एक नई दिशा दी है। उनकी स्पष्ट नीतियों और ईमानदार इरादों के कारण ही आज बरनाला की मिट्टी में औद्योगिक विकास की यह सुनहरी फसल लहलहा उठी है। यह परियोजना साबित करती है कि जब सरकार की नीयत साफ़ होती है, तो प्रगति की रफ़्तार तेज़ हो जाती है। IOLCP का यह कदम केवल फार्मा क्षेत्र की नहीं, बल्कि पूरे पंजाब की जीत है। मान सरकार ने यह साबित कर दिया है कि बड़े निवेश को आकर्षित करने के लिए केवल वादे नहीं, बल्कि ईमानदार नीयत और तेज़ कार्रवाई की ज़रूरत होती है।