'कैसे दें, एक बूंद भी नहीं...', सीएम मान की बीजेपी को दो टूक, पंजाब-हरियाणा के बीच फिर छिड़ा पानी पर विवाद
पंजाब और हरियाणा के बीच पानी को लेकर विवाद गहरा गया है। हरियाणा द्वारा अतिरिक्त पानी की मांग पर सीएम भगवंत मान ने दो टूक कहा कि पंजाब के पास देने के लिए एक बूंद भी अतिरिक्त पानी नहीं है। उन्होंने भाजपा पर बीबीएमबी के जरिए दबाव बनाने का आरोप लगाया और कहा कि बादल सरकार के समय पानी का कोई हिसाब नहीं रखा जाता था।

इन्द्रप्रीत सिंह, चंडीगढ़। बीती सर्दी के सीजन के दौरान पहाड़ों पर हुई बर्फबारी का असर दिखने लगा है जब पानी को लेकर पंजाब और हरियाणा में एक बार फिर से विवाद छिड़ गया है। बीती 24 अप्रैल को हुई भाखड़ा ब्यास मैनेजमेंट बोर्ड की तकनीकी कमेटी में हरियाणा ने 8500 क्यूसिक पानी और मांग लिया है जबकि वह अपने कोटे का पूरा पानी उपयोग कर चुका है।
मुख्यमंत्री भगवंत मान और सांसद मालविंदर सिंह कंग ने आरोप लगाया है कि भारतीय जनता पार्टी बीबीएमबी के जरिए हम पर अतिरिक्त पानी देने का दबाव बना रही है। हमारे पास किसी को देने के लिए एक बूंद भी अतिरिक्त पानी नहीं है। बीबीएमबी की बैठक में भी हरियाणा ने अतिरिक्त पानी का दबाव बनाया।
आम आदमी पार्टी ने शेयर किया वीडियो
मुख्यमंत्री भगवंत मान और सांसद मालविंदर सिंह कंग ने भी एक वीडियो जारी करके कहा कि बांधों में पानी के हिसाब से तीनों राज्यों पर आधारित कमेटी 21 मई से लेकर अगले साल की 21 मई तक अपनी मांग के अनुसार कोटा फिक्स करती है। हरियाणा ने अपने हिस्से का कोटा मार्च महीने में ही खत्म कर लिया है।
बीजेपी दबाव बना रही- आप
अब वह 8500 क्यूसिक पानी अतिरिक्त तौर पर मांग रहा है और बीबीएमबी के जरिए हम पर दबाव बना रहा है। उन्होंने कहा कि बादल सरकार या कैप्टन सरकार के समय पानी का कोई हिसाब नहीं रखा जाता था लेकिन हम एक एक बूंद का हिसाब रखते हैं। हमने अपना नहरी सिस्टम ठीक करके अंतिम छोर तक पानी पहुंचाया है। हर रोज नई जमींदोज पाइपें पड़ रही हैं ताकि कोई खेत पानी के बिना न रहे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा ने अपने हिस्से का पानी उपयोग करने में कोई संयम नहीं बरता। अब हमसे अतिरिक्त पानी की उम्मीद कर रहे हैं जबकि अगले महीने हमें धान की फसल लगाने के लिए अतिरिक्त पानी की आवश्यकता है। इसके बावजूद हम 4000 क्यूसिक अतिरिक्त पानी पीने के लिए दे रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा, पंजाब के मुख्यमंत्री के तौर पर यह स्पष्ट करना चाहता हूं कि हमारे पास पानी की एक भी बूंद नहीं है और हम अपने ही पानी का इस्तेमाल अपने लिए कर रहे हैं। हमने आपको आपके हिस्से का पानी पहले ही दे दिया है। आपने इसे दो महीने पहले इस्तेमाल किया है. अभी भी मानवता के आधार पर हम 4000 क्यूसिक पानी दे रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने कटाक्ष करते हुए कहा कि भाजपा कहती है कि उन्होंने इंडस जल समझौता रद करके पाकिस्तान को जाने वाला पानी रोक दिया है, यह पानी हमें दे दीजिए। हमारे बांध भर दीजिए और हम इसे हरियाणा को दे देंगे। चिनाब, झेहलम का पानी तो पंजाब से गुजरकर भेजना होगा। हमारे ऊपर से तो कोई रास्ता नहीं है।
ये भी पढ़ें: 'एक बूंद भी नहीं देंगे...' पंजाब-हरियाणा में नहर को लेकर लड़ाई, जानिए क्या है दशकों पुराना अनसुलझा SYL विवाद
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि तीनों डैम में पानी पिछले साल की अपेक्षा काफी कम है। भाखड़ा डैम में पिछले साल पानी 1567 फुट था जो इस साल 1555 फुट है। पौंग बांध में पिछले साल पानी 1325 फुट था जो इस साल कम होकर 1293 फुट रह गया और रंजीत सागर डैम में पानी पिछले साल 506 मीटर था जो इस साल 501 मीटर रह गया है, यानी 16 फुट कम।
काबिले गौर है कि इस साल सर्दियों में पहाड़ों पर बर्फबारी पिछले सालों की अपेक्षा काफी कम हुई है जिससे बीबीएमबी को अनुमान है कि पानी उतना नहीं मिल पाएगा। हालांकि इस बार अभी तक मौसम विभाग ने सामान्य मानसून की भविष्यवाणी की है लेकिन गर्मियों में पानी का संकट गहराना तय है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।