शिवालिक पहाड़ियों की तलहटी में डीलिस्टेड जमीन पर फार्म हाउस नीति पर एनजीटी की 4 फरवरी तक रोक
शिवालिक पहाड़ियों की तलहटी से सटी डीलिस्टेड जमीन पर फार्म हाउस बनाने की नीति पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्युनल ने अंतरिम रोक लगा दी है। याचिका पर सुनवाई करते ...और पढ़ें

प्रतीकात्मक तस्वीर।
इन्द्रप्रीत सिंह, चंडीगढ़। शिवालिक की पहाड़ियों की तलहटी के साथ लगती डीलिस्टेड जमीन पर फार्म हाउस बनाने की नीति पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्युनल ने अंतरिम रोक लगा दी है। यह कदम एनजीटी ने उस समय उठाया जब एक याचिका पर सुनवाई करते हुए पंजाब सरकार ने कहा कि अगली सुनवाई तक फार्म पालिसी पर कुछ नहीं किया जाएगा। यह रोक 4 फरवरी तक जारी रहेगी।
काबिले गौर है कि पिछले दिनों ही कैबिनेट ने इस जमीन पर फार्म हाउस बनाने की अनुमति दी थी जिसे याचिकाकर्ता कपिल अरोड़ा ने चुनौती दी। याचिकाकर्ता का कहना था कि यह जमीन पंजाब लैंड प्रिजर्वेशन एक्ट (PLPA) के दायरे से बाहर की गई जमीन को लेकर सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों का स्पष्ट उल्लंघन है।
उन्होंने एनजीटी में सरकार की पालिसी को चुनौती देते हुए कहा कि सुप्रीम कोर्ट के निर्देश हैं कि डीलिस्टेड जमीन का इस्तेमाल सिर्फ खेती के कामों के लिए किया जा सकता है। इस जमीन पर परमानेंट स्ट्रक्चर की इजाजत नहीं है। याद रहे कि कैबिनेट ने जो पालिसी पास की थी उसमें कहा था कि 15 प्रतिशत जमीन पर परमानेंट स्ट्रक्चर बनाया जा सकता है।
सरकार ने इसके लिए न तो केंद्र सरकार से कोई अनुमति ली और न ही एनवायरनमेंट असेसमेंट करवाई। याचिकाकर्ता ने कहा कि सरकार के इस फैसले से इस इलाके बड़े बड़े भूमाफिया जिनकी नजर इस जमीन पर लगी हुई है इस पर अपने परमांनेंट स्ट्रक्चर बना लेंगे जिससे पर्यावरण को नुकसान होगा।
पंजाब सरकार ने पंजाब लैंड प्रिजर्वेशन एक्ट के तहत डीलिस्टेड फॉरेस्ट लैंड पर, मोहाली से पठानकोट तक कंडी एरिया में एक एकड़ फार्म हाउस पर 10 परसेंट एरिया को कम करने की इजाजत दी थी। हालांकि जब यह पालिसी पारित की गई थी, तब वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा ने कहा था कि इस जमीन पर फार्म हाउस बनाने की इजाजत देंगे जो इको सेंसिटिव जोन में नहीं आती है।
उन्होंने कहा कि इस जमीन को 2011 में सेंटर ने डीलिस्ट किया था और सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के नियमों और निर्देशों का सख्ती से पालन करते हुए एक पॉलिसी बनाई थी। हम नियमों का सख्ती से पालन करेंगे ताकि पॉलिसी किसी भी नियम का उल्लंघन न करे।
यह जमीन एक दशक से भी पहले डीलिस्ट कर दी गई थी और अब हम इस पर फार्म हाउस बनाने की इजाजत दे रहे हैं। उन्होंने कहा था कि हर एकड़ पर 400 वर्ग गज के दो मंजिला घर बनाने की इजाजत होगी। सरकार पठानकोट में फार्म हाउस बनाने पर 300 रुपये प्रति स्क्वायर यार्ड और मोहाली में 1200 रुपये प्रति स्क्वायर यार्ड तक की फीस भी लेगी।

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