अब बीयर चाहिए तो करनी पड़ेगी मशक्कत, केवल 59 जगहों पर होगा विकल्प
अप्रैल से सितंबर तक शहर में बीयर की खूब बिक्री होती है। शराब व बीयर की खपत के लिहाज से सालाना हर शहरवासी के हिस्से में 140 बोतलें आती हैं।
चंडीगढ़, [संजीव सलारिया]। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के चलते बीयर से गर्मी मिटाने वालों पर भी संकट मंडरा गया है। शराब व बीयर की खपत के लिहाज से सालाना हर शहरवासी के हिस्से में 140 बोतलें आती हैं। चंडीगढ़ एक्साइज एंड टैक्सेशन विभाग की रिपोर्ट के अनुसार शहर में हर साल 1 करोड़ 34 हजार 666 बोतलों की बिक्री होती है। इसमें व्हिस्की की भागीदारी 70 फीसद तक है।
अप्रैल से सितंबर तक शहर में बीयर की खूब बिक्री होती है। किंग फिशर और थंडर बोल्ट समेत 7 प्रमुख ब्रांड शहर में बिकते हैं। इनकी प्रति बोतल कीमत इन दिनों से 100 से 120 के बीच है। बीयर के लिए न सिर्फ युवा वर्ग बल्कि कपल्स भी रेस्टोरेंट और लाइसेंस शुदा पब व इटिंग हाउस में जाना पसंद करते हैं। नई एक्साइज पॉलिसी में किए प्रावधान के चलते अब इसमें 60 प्रतिशत की कटौती हो गई है। एक्साइज विभाग ने 150 में से 91 रेस्टोरेंट, पबों के लाइसेंस कैंसल कर दिए हैं और इन्हें अब दोबारा लाइसेंस नहीं दिया जाएगा। एक्साइज एंड टैक्सेशन कमिश्नर रविंदर कौशिक के अनुसार सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद 500 मीटर के दायरे में आने वाले बार, पबों, रेस्टोरेंटों को भी लाइसेंस से बाहर कर दिया गया है। ऐसे में अब केवल 59 जगहों पर बीयर का विकल्प बचा है।
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