राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। हरियाणा के सभी शहरों और स्थानीय निकायों की सीमा में शामिल गांवों में अब अनधिकृत जल और सीवर कनेक्शन को नियमित कराया जा सकेगा।
इतना ही नहीं, नए नल और सीवर कनेक्शन के लिए सड़क की खोदाई करने पर लिया जाने वाला रोड कट शुल्क भी नहीं लिया जाएगा।
प्रदेश सरकार ने रोड कट शुल्क को पांच साल के लिए वापस ले लिया है। हालांकि, यदि उपभोक्ता अपने जल कनेक्शन पर घरेलू जल मीटर नहीं लगवाता है, तो उसे रोड कट शुल्क वहन करना होगा।
शहरी स्थानीय निकाय विभाग के आयुक्त एवं सचिव विकास गुप्ता ने इस संबंध में अधिसूचना जारी कर दी है। नए नियम पहली अक्टूबर से लागू होंगे।
नया जल और सीवर कनेक्शन लेने, घरेलू जल मीटर जारी करने या मीटर कनेक्शन वाले किसी भी अनधिकृत जल/सीवर कनेक्शन को नियमित करने के लिए लोगों को दो विकल्प मिलेंगे।
पहले विकल्प में जल कनेक्शन के लिए एक हजार रुपये और सीवर कनेक्शन शुल्क के रूप में 500 रुपये देने होंगे। साथ में प्रचलित टैरिफ-दरों के अनुसार जल शुल्क और अपशिष्ट जल निपटान शुल्क (इस मामले में जल/सीवर कनेक्शन और जल मीटर के लिए सामग्री और श्रम की लागत उपभोक्ता द्वारा वहन की जाएगी) देना होगा।
दू सरे विकल्प में उपभोक्ता को प्रचलित टैरिफ-दरों के अनुसार जल शुल्क/अपशिष्ट जल निपटान शुल्क का भुगतान करने की सहमति देनी होगी। 15 वर्ष की अवधि के लिए जल/सीवर कनेक्शन शुल्क के बदले बिल में 10 रुपये प्रतिमाह अतिरिक्त लिए जाएंगे।
यदि जल मीटर विभाग द्वारा प्रदान किया जाता है तो छह वर्ष की अवधि के लिए जल मीटर की लागत के बदले 25 रुपये प्रतिमाह (यदि उपभोक्ता के पास पहले से ही चालू जल मीटर मौजूद है तो ये शुल्क नहीं लगेंगे) लिए जाएंगे।
इस स्थिति में उपभोक्ता से कोई जल/सीवर कनेक्शन शुल्क नहीं लिया जाएगा। जल/सीवर कनेक्शन और जल मीटर के लिए सामग्री/श्रम की लागत सेवा प्रदाता प्राधिकरण द्वारा वहन की जाएगी। यदि जल मीटर सेवा प्रदाता प्राधिकरण द्वारा प्रदान किया जाता है तो कोई मीटर परीक्षण शुल्क नहीं लिया जाएगा।
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