पंजाब में संयुक्त किसान मोर्चा ने की लैंड पुलिंग पॉलिसी को रद करने की मांग, 10 पार्टियों ने किया समर्थन
SKM ने सर्वदलीय बैठक में पंजाब सरकार से लैंड पूलिंग पॉलिसी (Land Pooling Policy in Punjab) रद्द करने की मांग की है। ऐसा न होने पर दिल्ली जैसे धरने की चेतावनी दी गई है। बैठक में आप को छोड़कर भाजपा कांग्रेस समेत 10 दलों ने समर्थन दिया। किसान नेता बलबीर सिंह राजेवाल ने आप के शामिल न होने पर निराशा जताई।

राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। Punjab Land Pulling Policy: संयुक्त किसान मोर्चा ने शुक्रवार को सर्वदलीय बैठक कर घोषणा की है कि पंजाब सरकार लैंड पूलिंग पॉलिसी को रद करे नहीं तो तीन कृषि कानूनों को लेकर जैसा धरना दिल्ली में दिया गया था वैसा ही धरना पंजाब सरकार के खिलाफ लगाया जाएगा।
एसकेएम के सदस्यों ने दो टूक कहा कि सरकार को पॉलिसी वापस लेने पर मजबूर कर दिया जाएगा। किसान भवन में हुई इस बैठक में आम आदमी पार्टी के किसी भी प्रतिनिधि ने हिस्सा नहीं लिया, जबकि भाजपा, कांग्रेस समेत राज्य की 10 राजनीतिक दलों ने संयुक्त किसान मोर्चा को अपना समर्थन दिया।
किसान नेता बलबीर सिंह राजेवाल ने कहा कि बैठक में आने का निमंत्रण कैबिनेट मंत्री व पार्टी के प्रदेश प्रधान अमन अरोड़ा को दिया गया था। उन्होंने भरोसा दिया था कि वह बैठक में शामिल होंगे। इसके बावजूद सरकार का कोई भी प्रतिनिधि बैठक में नहीं आया।
किसानों ने बीजेपी पर साधा निशाना
अहम बात यह रही कि तीन कृषि कानून के खिलाफ 2020 में किसानों ने भाजपा को निशाने पर रखा था। शुक्रवार को हुई बैठक में भाजपा के प्रतिनिधि डॉ. सुभाष शर्मा और केवल ढिल्लों भी शामिल हुए, जबकि कांग्रेस से पूर्व मंत्री रणदीप नाभा और हैप्पी खेड़ा देर से बैठक में पहुंचे। सुभाष शर्मा ने कहा कि भाजपा लैंड पूलिंग नीति के खिलाफ है। पार्टी द्वारा किसानों से संपर्क अभियान चलाया जा रहा है।
वहीं, केवल ढिल्लों ने भी कहा कि भाजपा किसानों के साथ चट्टान की तरह खड़ी है। किसान नेता डॉ. दर्शन पाल ने घोषणा की कि पंजाब सरकार जहां-जहां पर जमीन का अधिग्रहण कर रही है, संयुक्त किसान मोर्चा वहां 30 जुलाई को ट्रैक्टर मार्च निकालेगी।
यह प्रस्ताव हुए पारित
- पंजाब सरकार लैंड पूलिंग पॉलिसी को तुरंत वापस लें l
- पंजाब सरकार विधानसभा में पानी समझौते को रद करके केंद्र सरकार को भेजे। पंजाब सरकार जल समझौते की धारा 78,79 और 80 को खत्म करें।
- पंजाब सरकार राज्य में कृषि नीति को तुरंत लागू करें।
- कृषि और कृषि से जुड़े सहायक धंधों को लेकर अमेरिका से फ्री ट्रेड समझौता न किया जाए।
पानी समझौते को लेकर भाजपा और बसपा में हुई बहस
पानी समझौते को लेकर भाजपा के प्रतिनिधि और बसपा के प्रधान अवतार सिंह करीमपुरी के बीच बहस हुई। करीमपुरी ने कहा कि केंद्र सरकार पानी समझौते की धारा 78,79 और 80 को रद्द करे।
भाजपा के सुभाष शर्मा ने कहा, पंजाब विधानसभा इसे पास करके केंद्र सरकार के पास भेजे। बैठक का संचालन बूटा सिंह बुर्जगिल, बलबीर सिंह राजेवाल, हरिंदर लक्खोवाल, रमिंदर सिंह और डा. दर्शन पाल ने किया। इस मौके पर अन्य किसान नेता भी थे।
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