चंडीगढ़ में सिफ्ट सिटी पर संशय, प्रशासन तैयारियों में जुटा, सांसद बोले-केंद्र की मर्जी तो जान लाे
चंडीगढ़ प्रशासन शहर में गुजरात की तर्ज पर इंटरनेशनल फाइनेंस-टेक सिटी (सिफ्ट सिटी) विकसित करना चाहता है लेकिन केंद्र सरकार इसके लिए तैयार नहीं दिख रही। सांसद मनीष तिवारी ने इस फैसले पर सवाल उठाए हैं। प्रशासन ने केंद्र सरकार को प्रस्ताव भेज दिया है और कंसल्टेंट भी नियुक्त कर दिया है। केंद्र सरकार ने एक से अधिक फाइनेंशियल सेंटर स्थापित करने पर विचार करने से इन्कार किया है।
जागरण संवाददाता, चंडीगढ़। गुजरात की तर्ज पर चंडीगढ़ में इंटरनेशनल फाइनेंस-टेक सिटी (सिफ्ट सिटी) विकसित करने के लिए प्रशासन ने केंद्र को प्रस्ताव भेजा है। प्रशासन के इस निर्णय पर सांसद मनीष तिवारी ने सवाल उठाया है। उनका मानना है कि केंद्र सरकार इसके लिए तैयार नहीं है और प्रशासक को बात भी करनी चाहिए।
प्रशासक गुलाबचंद कटारिया ने भी हाल में ही कहा था कि चंडीगढ़ को आगे ले जाने के लिए गुजरात माडल को अपनाया जाएगा। यूटी प्रशासन ने केंद्र सरकार को इस संबंध में औपचारिक प्रस्ताव भेज दिया है और नवंबर तक विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार करने का लक्ष्य तय किया गया है। ताकि आगामी बजट में इसकी घोषणा की जा सके। प्रशासन ने एक कंसल्टेंट भी नियुक्त कर दिया है।
इस पर सांसद तिवारी ने एक्स पर पोस्ट करते हुए कहा है कि प्रशासन के प्रयासों पर संशय गहराता दिखाई दे रहा है। उन्होंने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को पत्र लिखकर इस विषय को उठाया था। वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने सीतारमण की ओर से जवाब देते हुए स्पष्ट किया कि सरकार देश में एक से अधिक आफशोर फाइनेंशियल सेंटर स्थापित करने पर विचार नहीं कर रही है।
इस पत्र की प्रति सांसद ने साथ में पोस्ट की है। सांसद ने कहा कि ऐसे में सलाहकार (कंसल्टेंट) नियुक्त करने और अन्य खर्च करने से पहले पंजाब के राज्यपाल एवं चंडीगढ़ प्रशासक गुलाब कटारिया को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से चर्चा करनी चाहिए, ताकि यह स्पष्ट हो सके कि केंद्र सरकार की कोई नई गिफ्ट सिटी जैसी परियोजना लाने की इच्छा है भी या नहीं।
महत्वाकांक्षी परियोजना के लिए भूमि की जा चुकी चिह्नित
इंडस्ट्रियल एरिया फेज-2 और फेज-3 में खाली पड़ी 153 एकड़ भूमि को इस महत्वाकांक्षी परियोजना के लिए चिह्नित किया गया है। इस प्रोजेक्ट के पूरा होने के बाद देश-विदेश की आईटी और फाइनेंशियल कंपनियों को निवेश के लिए आमंत्रित किया जाएगा।
सिफ्ट सिटी को निवेशकों के लिए और अधिक आकर्षक बनाने के लिए प्रशासन कई रियायतें देने की योजना बना रहा है। जैसे रेगुलेटरी छूट, बिल्डिंग अप्रूवल में आसानी, एफएआर (फ्लोर एरिया रेशियो) में लचीलापन, लेबर लाज में राहत, सिंगल विंडो सिस्टम और टैक्स इंसेंटिव। अधिकारियों का मानना है कि इन सुविधाओं के चलते देश-विदेश की आईटी और फाइनेंशियल कंपनियां बड़े पैमाने पर निवेश करेंगी।
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