पंजाब में भी डराने लगा कोरोना, 4 मरीजों के रिपोर्ट पॉजिटिव; अलर्ट मोड में प्रशासन
पंजाब में कोविड-19 के नए मामले सामने आए हैं लेकिन स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि वायरस का असर हल्का है। सरकार सतर्क है और अस्पतालों में कोविड टेस्ट शुरू कर दिए गए हैं। नया वैरिएंट घातक नहीं है और मरीज़ जल्दी रिकवर हो रहे हैं। लोगों को सतर्क रहने और लक्षण दिखने पर तुरंत जांच कराने की सलाह दी गई है।

राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। राज्य में कोविड-19 के नए मरीज सामने आ रहे हैं। पंजाब में इस वर्ष चार मामले सामने आए हैं। जिसमें से तीन जनवरी माह में तो एक मई माह में सामने आया है।
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना हैं कि जो कोविड वायरस सामने आया हैं, वह बेहद हलका यानी उसका मानव शरीर पर बुरा असर सामने नहीं आ रहा है। अभी तक देश में मात्र 257 केस आए हैं। स्वास्थ्य विभाग लगातार इस पर नजर बनाए हुए हैं।
सेहत मंत्री डा बलबीर सिंह ने आश्वस्त किया है कि सरकार पूरी तरह से सतर्क है। इससे निपटने के लिए सरकार ने व्यापक रणनीति तैयार की है। सभी जिलों के सरकारी व निजी अस्पतालों में कोविड टेस्ट की की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। सेहत मंत्री ने कहा कि नया वैरिएंट पहले की तरह घातक नहीं है। जो मरीज कोविड पाजिटिव हो रहे है वह जल्दी रिकवर कर रहे है।
जेएन 1 वैरिएंट एक माइल्ड वायरस है और 98 फीसदी मरीजों ने इससे रिकवर कर चुके है। सेहत विभाग ने राज्य के सभी जिलों के सिविल सर्जन को दिशा-निर्देश जारी किए हैं। इसके तहत उन्हें अस्पतालों में विशेष वार्ड बनाने, आक्सीजन सिलेंडर की उपलब्धता के अलावा अन्य सभी व्यवस्थाओं को पूरा करने के लिए कहा है। लोगों को भी इसके प्रति जागरूक करने और अगर कहीं कोई ऐसा केस आता है तो तुरंत सूचित करने के भी निर्देश दिए गए हैं।
इसके साथ-साथ केंद्र की ओर से राज्य को कहा गया है कि वह डे टू डे रिपोर्ट भेजें। JN.1 वेरिएंट, जो ओमिक्रॉन BA.2.86 से उत्पन्न हुआ है, तेजी से फैलने की क्षमता रखता है और इसमें लगभग 30 म्यूटेशन पाए गए हैं। अस्पतालों को विशेष तैयारियों के निर्देश दिए हैं, जिसमें मेडिकल संसाधनों की उपलब्धता, उपकरणों की कार्यशीलता, स्टाफ की तत्परता और दैनिक रिपोर्टिंग शामिल हैं।
इसके अलावा, स्वास्थ्य देखभाल सेटिंग्स में मास्क पहनना अनिवार्य किया गया है। लोगों को कहा गया है की भीड़भाड़ वाले स्थानों पर मास्क पहने।हाथों की स्वच्छता बनाए रखें और नियमित रूप से हाथ धोएं। सूखी खांसी, बुखार, गले में खराश, सिरदर्द, थकान, भूख में कमी या डायरिया जैसे लक्षण दिखने पर तुरंत जांच कराएं। उच्च जोखिम वाले व्यक्तियों (जैसे बुजुर्ग या कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली वाले) को विशेष सतर्कता बरतनी चाहिए।
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