ये आम दिखने वाली कुर्सी है बेहद खास, कीमत जान आप कहेंगे OMG, चंडीगढ़ से इटली पहुंची तो लाखों में बिकी
चंडीगढ़ में जिस फर्नीचर की बेकद्री होती है उसकी कोई सुध नहीं लेता वह विदेशी नीलाम घरों तक पहुंचने के बाद लाखों में नीलाम हो जाता है। वह भी बिना किसी रोक टोक के ऐसा होता है ।
बलवान करिवाल, चंडीगढ़। जिस कुर्सी को आप तस्वीर में देख रहे हैं यह कोई आम कुर्सी नहीं है, बल्कि बेहद खास है। यह कुर्सी सिटी ब्यूटीफुल चंडीगढ़ में बनाई गई थी और काफी पुरानी भी है। इस कुर्सी को हेरिटेज का दर्जा मिला हुआ है। यह कुर्सी चंडीगढ़ के क्रिएटर ली कार्बूजिए के कजिन पियरे जेनरे डिजाइन की थी, लेकिन चंडीगढ़ में इस कुर्सी की बेकद्री हो रही थी और अब यह डेस्क चेयर इटली में हजारों में नहीं बल्कि लाखों रुपये में नीलाम हुई है।
चंडीगढ़ में जिस फर्नीचर की बेकद्री होती है उसकी कोई सुध नहीं लेता वह विदेशी नीलाम घरों तक पहुंचने के बाद लाखों में नीलाम हो जाता है। वह भी बिना किसी रोक टोक के ऐसा होता है। दुर्भाग्य की बात तो यह है कि पहले से सूचना होने के बाद भी इस नीलामी को कभी रोका नहीं जा सका।
इस बार इटली के कैंबी आक्शन हाउस में चंडीगढ़ की धरोहर को बेचा गया है। डेस्क चेयर को जिनोवा के इस आक्शन हाउस में 2.37 लाख रुपये में बेचा गया है। चंडीगढ़ के क्रिएटर ली कार्बूजिए के कजिन पियरे जेनरे ने इस डेस्क चेयर को डिजाइन किया था। 20 सितंबर को इटली में यह आक्शन हुई है।
इस आक्शन की शिकायत व्हीसल ब्लोअर एडवोकेट अजय जग्गा ने सात सितंबर को सेक्रेटरी जनरल राज्यसभा को चिट्ठी लिखकर की थी। उसके बाद भी आक्शन नहीं रोकी जा सकी। अब जग्गा ने फिर से आक्शन होने के बाद राज्यसभा जनरल सेक्रेटरी से शिकायत की है। अपनी शिकायत में जग्गा ने कहा कि चंडीगढ़ की हेरिटेज आर्टिकल्स नेशनल हेरिटेज है। संविधान के आर्टिकल 49 के तहत मान्यूमेंट्स और प्लेसेज का संरक्षण राष्ट्रीय महत्व का विषय है। यह राज्य या यूटी की जिम्मेदारी है कि वह इन आइटम की सुरक्षा सुनिश्चित करे।
हाल ही में जारी हुई कैग की रिपोर्ट में भी हेरिटेज कंजर्वेशन को जरूरी बताया गया है। लगातार पहले से सूचना के बाद भी चंडीगढ़ का हेरिटेज नीलाम होता रहा है। कोई भी इसे रोक नहीं पा रहा। चंडीगढ़ के विभिन्न भवनों के लिए ली कार्बूजिए और उनके कजिन ने ऐसा फर्नीचर डिजाइन किया था। अब यह इन भवनों में कोनों में पड़ा है। इसकी तस्करी खूब हो रही है।