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रामजस कॉलेज की घटना के बाद पीयू में भी तनाव, छात्राएं भी भिड़ी

दिल्ली में रामजस कॉलेज की घटना को लेकर पंजाब यूनिवर्सिटी कैंपस में भी छात्र संगठन आमने-सामने हो गए। दोनों पक्षों के आठ लोग गिरफ्तार किया गया।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Tue, 28 Feb 2017 10:31 AM (IST)Updated: Tue, 28 Feb 2017 10:48 AM (IST)
रामजस कॉलेज की घटना के बाद पीयू में भी तनाव, छात्राएं भी भिड़ी
रामजस कॉलेज की घटना के बाद पीयू में भी तनाव, छात्राएं भी भिड़ी

जेएनएन, चंडीगढ़। दिल्ली के रामजस कॉलेज में हुई घटना को लेकर पंजाब यूनिवर्सिटी में सोमवार को अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद व स्टूडेंट फॉर सोसायटी के कार्यकर्ता आमने-सामने हो गए। इस दौरान दोनों में गुटों में झड़प व धक्का-मुक्की भी हुई। इस दौरान छात्राएं भी भिड़ गई। बड़ी मुश्किल से उन्हें अलग किया गया।

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दिल्ली में घटना के बाद से ही भाजपा के छात्र संगठन एबीवीपी और लेफ्ट विंग से जुड़े संगठन एसएफएस के बीच तनाव बना हुआ है। शनिवार को एसएफएस ने मार्च निकाला था और सोमवार को एबीवीपी ने इसके खिलाफ स्टूडेंट सेंटर पर प्रदर्शन करने का एलान किया था।

गत दिवस दोपहर 1.30 बजे जैसे ही एबीवीपी के कार्यकर्ता स्टूडेंटस सेंटर पर एसएफएस के विरोध में एकत्रित हुए तो वहां एसएफएस के कार्यकर्ता भी पहुंच गए, जिनमें झड़प हो गई। मौके पर मौजूद पुलिस ने मोर्चा संभाला और शांतिभंग होने की आशंका को देखते हुए एबीवीपी के हरमनजोत सिंह, सौरभ कपूर, कुशल कौंडल, अक्षय और एसएफएस के रमन, पवन के अलावा दो अन्य कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने दोनों पक्षों पर 7/51 की धारा के तहत क्रॉस केस दर्ज किया है। दोनों पक्षों के आठ लोगों को देर शाम ही मजिस्ट्रेट के सामने पेश किया गया, जहां से उन्हें जमानत मिल गई। जिस तरह दोनों स्टूडेंट संगठन एक-दूसरे के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं, यह कभी भी ङ्क्षहसक झड़प में बदल सकता है।

एबीवीपी ने नई दिल्ली के रामजस कॉलेज में हुई घटना को लेकर वामपंथी संगठनों पर राष्ट्रदोही होने का आरोप लगाया। उधर, एसएफएस ने इसके विरोध में अगले दिन प्रदर्शन किया और आरोप लगाया कि एबीवीपी जान-बूझकर पीयू का शांतिपूर्ण माहौल बिगाडऩा चाह रही है।

पीयू दे रही एसएफएस को शह : एबीवीपी

एबीवीपी की सेंट्रल वर्किंग कमेटी के मेंबर हरमनजोत सिंह के अनुसार एबीवीपी के कार्यकर्ताओं पर एसएफएस के कार्यकर्ताओं ने हमला किया। इनके खिलाफ पंजाब यूनिवर्सिटी प्रशासन कोई सख्त कदम नहीं उठा रहा है। इससे यही जाहिर हो रहा है कि पीयू प्रशासन इनके साथ मिला हुआ है। एसएफएस के कार्यकर्ता अपने प्रदर्शन के दौरान स्पष्ट तौर पर सुरक्षाकर्मियों व आर्मी को बलात्कारी बता रहे हैं, जिसे सहन नहीं किया जाएगा।

हमारे प्रदर्शन में घुसाई थी एक स्टूडेंट : एसएफएस

वहीं, एसएफएस के अमृतपाल सिंह व अन्य कार्यकर्ताओं का कहना है कि एसएफएस कार्यकर्ताओं पर हमला एबीवीपी के कार्यकर्ताओं ने किया। शनिवार को भी जब एसएफएस कार्यकर्ता शांतिपूर्वक प्रदर्शन कर रहे थे, तो एबीवीपी ने प्रायोजित तरीके से एक छात्रा, जो एबीवीपी की ही कार्यकर्ता थी, को बीच में घुसा दिया, जिसके बाद तनाव का माहौल बना।

इधर शांति के लिए निकला कैंडल मार्च

देर शाम एनएसयूआइ के कार्यकर्ताओं ने एबीवीपी और एसएफएस के बीच चल रही इस रस्साकशी व झड़प को लेकर स्टूडेंट सेंटर से शांतिपूर्ण कैंडल मार्च निकाला। एनएसयूआइ के मनोज लुबाणा ने कहा कि पीयू के शांतिपूर्ण माहौल को खराब नहीं किया जाना चाहिए।

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