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    Punjab: 'पानी का विवाद सिर्फ सिखों का नहीं, पूरे पंजाब का', ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने SYL पर राजनीतिक पार्टियों को दिया संदेश

    By Nitin DhimanEdited By: Mohammad Sameer
    Updated: Tue, 17 Oct 2023 06:45 AM (IST)

    ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने कहा कि केंद्र सरकार ने बड़ी चालाकी से इसे सिखों का मसला बनाकर पेश किया है। पानी के कारण ही पंजाब के हालात बिगड़े थे। इस मसले के ...और पढ़ें

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    पानी का विवाद सिर्फ सिखों का नहीं, पूरे पंजाब का: ज्ञानी हरप्रीत सिंह (file photo)

    जागरण संवाददाता, अमृतसर। तख्त श्री दमदमा साहिब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने एसवाईएल नहर मामले में समस्त राजनीतिक पार्टियों को पंजाब के हक में आवाज बुलंद करने का संदेश दिया है।

    सोमवार को श्री अकाल तख्त साहिब पर हुई तख्तों के सिंह साहिबान की बैठक के बाद ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने कहा कि पानी के विवाद का मामला अकेले सिखों का मसला नहीं है, बल्कि यह पूरे पंजाब तथा पंजाबियों का मामला है, हर पंजाबी को मामले की गंभीरता को समझना चाहिए। इस मसले पर सभी पार्टियों द्वारा राजनीति की जा रही है।

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    उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने बड़ी चालाकी से इसे सिखों का मसला बनाकर पेश किया है। पानी के कारण ही पंजाब के हालात बिगड़े थे। इस मसले के हल के लिए पंजाबियों, सिखों, हिंदू, मुस्लिम तथा ईसाई भाईचारे के साथ-साथ व्यापारियों व किसानों को आगे आना चाहिए।

    मुख्यमंत्री भगवंत मान को चाहिए कि वे इस मामले पर सख्त एक्शन लेते हुए पंजाब के पानी को बचाने के लिए आगे आएं। एसजीपीसी के चुनाव बारे में जत्थेदार ने कहा कि यह केंद्र सरकार के अधिकार के क्षेत्र में है, यह केंद्र सरकार पर निर्भर है कि सरकार कमेटी के चुनाव को लेकर नोटिफिकेशन कब जारी करती है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार को जल्द नोटिफिकेशन जारी करना चाहिए।

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    उन्होंने कहा कि हरियाणा कमेटी की वोट डेरा प्रेमी बना रहे हैं, जबकि इस संबंधी छापे गए फार्म पर अंकित होना चाहिए कि वोट बनाने तथा वोट डालने का अधिकार सिर्फ श्री गुरु ग्रंथ साहिब को मानने वाले को ही होना चाहिए। जत्थेदार ने कहा कि नशे की रोकथाम के लिए कोई भी सरकार गंभीर नहीं है।

    गांवों-शहरों में इसकी रोकथाम के लिए कमेटी या बनी है, इसका सिंह साहिबान समर्थन करते हैं। सरकारें नशे पर अंकुश लगाने में पूरी तरह विफल रही हैं।