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    'वित्त मंत्रालय ने ही झूठ ब्रिगेड को उजागर कर दिया', USAID फंडिंग मामले पर जयराम रमेश ने मोदी सरकार को घेरा

    USAID Funding Row भारत के चुनाव को प्रभावित करने के लिए अमेरिकी अंतरराष्ट्रीय विकास एजेंसी (USAID) की कथित भूमिका को लेकर कांग्रेस और भाजपा आमने-सामने आ चुकी है। कुछ दिनों पहले भाजपा नेताओं ने सवाल खड़े किए थे कि UPA शासन के दौरान दी गई फंडिंग का इस्तेमाल किसने किया। वहीं कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने भाजपा पर पलटवार किया है।

    By Jagran News Edited By: Piyush Kumar Updated: Mon, 24 Feb 2025 12:58 PM (IST)
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    USAID फंडिंग मामले को लेकर वित्त मंत्रालय की रिपोर्ट पर कांग्रेस नेता ने मोदी सरकार पर निशाना साधा।(फोटो सोर्स: पीटीआई)

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारतीय चुनावों को प्रभावित करने के लिए अमेरिकी अंतरराष्ट्रीय विकास एजेंसी (USAID)  की कथित भूमिका को लेकर देश में सियासी हंगामा मचा हुआ है। इसी बीच वित्त मंत्रालय की रिपोर्ट में खुलासा किया गया है कि USAID ने 2023-24 में 750 मिलियन अमेरिकी डॉलर (करीब 65 अरब रुपये) के 7 प्रोजेक्ट्स की फंडिंग की थी।

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    रिपोर्ट के मुताबिक USAID की फंडिंग कृषि और खाद्य सुरक्षा, जल, स्वच्छता और साफ-सफाई; नवीकरणीय ऊर्जा; आपदा प्रबंधन एवं स्वास्थ्य से संबंधित परियोजनाओं के लिए थी।

    वित्त मंत्रालय ने अपनी रिपोर्ट में जानकारी दी कि भारत को अमेरिका से 1951 में मदद मिलनी शुरू हुई थी। यूएसएआईडी की ओर से अब तक भारत को 555 परियोजनाओं के लिए 1700 करोड़ रुपये की आर्थिक मदद मिल चुकी है।

    रिपोर्ट के जरिए जयराम रमेश ने भाजपा पर साधा निशाना

    इस रिपोर्ट का हवाला देते हुए कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने मोदी सरकार पर निशाना साधा है।  उन्होंने एक्स पर पोस्ट शेयर करते हुए लिखा, जिन सात प्रोजेक्ट्स की फंडिंग दी गई है उसका 'वोटर्स टर्नआइट' बढ़ाने से कोई संबंध नहीं है।  

    कांग्रेस नेता ने आगे लिखा,"केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने ही प्रधानमंत्री और उनकी झूठ ब्रिगेड के झूठ को पूरी तरह से उजागर किया है, जिसमें उनके चतुर विदेश मंत्री भी शामिल हैं। जैसा कि वित्त मंत्रालय की 2023-24 की वार्षिक रिपोर्ट में कहा गया है, यूएसएआईडी वर्तमान में भारत सरकार के सहयोग से सात परियोजनाओं को लागू कर रहा है, जिनका संयुक्त बजट लगभग 750 मिलियन डॉलर हैं। इनमें से एक भी परियोजना का मतदाता मतदान से कोई लेना-देना नहीं है।

    फंडिंग को लेकर क्या बोले विदेश मंत्री?

    यूएसएआईडी पर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि ट्रंप प्रशासन के लोगों द्वारा कुछ जानकारी सामने रखी गई है और जाहिर है, यह चिंताजनक है। मुझे लगता है कि सरकार के तौर पर हम इसकी जांच कर रहे हैं।

    उन्होंने कहा कि मेरा मानना है कि तथ्य सामने आएंगे। यूएसएआईडी को सद्भावना के साथ, सद्भावनापूर्ण गतिविधियां करने की अनुमति दी गई थी; अब अमेरिका से सुझाव दिए जा रहे हैं कि ऐसी गतिविधियां हैं जो दुर्भावनापूर्ण हैं। यह चिंताजनक है, और अगर इसमें कुछ है, तो देश को पता होना चाहिए कि इसमें कौन लोग शामिल हैं।

    क्या है USAID?

    अमेरिकी अंतरराष्ट्रीय विकास एजेंसी, अमेरिकी सरकार की विदेशी सहायता एजेंसी है। इसके माध्यम से अमेरिका दुनियाभर में विभिन्न कार्यक्रमों को आर्थिक मदद पहुंचाता है। दुनियाभर के 60 से अधिक देशों में यूएसएड के कार्यालय हैं। कांग्रेसनल रिसर्च सर्विस के मुताबिक इस एजेंसी में लगभग 10 हजार लोग काम करते थे। इनमें से दो तिहाई कर्मचारियों की तैनाती विदेशों में है। 

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