Video: अदाणी और सोरोस पर ये क्या बोल गईं डिंपल यादव; संसद ठप होने पर कांग्रेस-भाजपा दोनों को दी नसीहत
सपा सांसद डिंपल यादव ने लगातार हंगामे की भेंट चढ़ रहे संसद को चलाने के लिए भाजपा और कांग्रेस दोनों को नसीहत दे दी दै। डिंपल यादव ने कहा कि समाजवादी पार्टी चाहती है कि संसद चलें। हम न तो अदाणी के मु्द्दे के साथ हैं और न ही सोरोस के मु्द्दे के साथ। लेकिन सदन चलना चाहिए। संसद के शीतकालीन सत्र का समापन 20 दिसंबर को हो रहा है।

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। संसद का शीतकालीन सत्र एक बार फिर हंगामे की भेंट चढ़ने वाला है। 25 नवंबर से शुरू हुए शीतकालीन सत्र में नाम मात्र भी काम नहीं हो पाया। जहां विपक्ष अदाणी के मुद्दे पर बहस करना चाहता है, तो वहीं सत्ता पक्ष जॉर्ज सोरोस का मु्द्दा उठा रहा है।
आलम ये है कि न तो संसद चल पा रही है और न ही किसी मुद्दे पर सहमति बन पा रही है। अब मैनपुरी से समाजवादी पार्टी की सांसद डिंपल यादव ने कांग्रेस और भाजपा दोनों को ही नसीहत दे दी है।
अदाणी-सोरोस पर बोलीं डिपंल
डिंपल यादव ने मीडियाकर्मियों से बात करते हुए कहा, 'हमें पूरी उम्मीद है कि सदन चलेगा। न हम सोरोस के मु्द्दे के साथ हैं, न हम अदाणी के मुद्दे के साथ हैं। सदन को चलना चाहिए।'
#WATCH | Delhi: SP MP Dimple Yadav says, "The House is running. It was functional today and we are hopeful that it keep running... We are neither with the Soros issue nor with the Adani issue. We believe that the House should run. We hope that the people of both sides will show… pic.twitter.com/ws6iw19bGa
— ANI (@ANI) December 11, 2024
डिंपल ने कहा कि 'हमें पूरी उम्मीद है कि दोनों पक्ष के लोग सदन को चलाने पर एकजुटता दिखाएंगे। संविधान पर शुक्रवार से चर्चा होनी है। समाजवादी पार्टी चाहती है कि सदन चले।'
ओम बिरला से मिले राहुल गांधी
वहीं आज लोकसभा के नेता विपक्ष राहुल गांधी ने स्पीकर ओम बिरला से मुलाकात की। उन्होंने ओम बिरला से सामने अपनी मांगे भी रखी हैं। राहुल ने मीडिया से बात करते हुए कहा, 'मैंने स्पीकर से मुलाकात की है। मैंने उनसे कहा कि मेरे खिलाफ अपमानजनक टिप्पणियों को हटाया जाना चाहिए। स्पीकर ने इस पर गौर करने को कहा है।'
सत्र खत्म होने में 10 दिन शेष
आपको बता दें कि संसद का शीतकालीन सत्र 20 दिसंबर को समाप्त हो रहा है। लगातार हो रहे हंगामे के कारण इस सत्र में अब तक कोई विशेष कामकाज नहीं हो पाया है। सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच सदन चलाने पर सहमति भी बनी थी, लेकिन हंगामा फिर भी नहीं थमा।
उधर विपक्ष ने राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस दिया है। इस नोटिस पर 60 सांसदों के हस्ताक्षर है। अविश्वास प्रस्ताव के लिए कांग्रेस को टीएमसी, सपा, जेएमएम समेत कई पार्टियों का साथ मिला है। हालांकि बीजू जनता दल ने इससे किनारा कर लिया है।
सभापति के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव
संविधान के अनुच्छेद 67B में उपराष्ट्रपति के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का जिक्र है। अगर यह प्रस्ताव राज्यसभा से पारित हो जाता है, तो इसे लोकसभा में चर्चा के लिए भेजा जाएगा। हालांकि विपक्ष के कमजोर संख्या बल के कारण प्रस्ताव के पारित होने की उम्मीद नहीं है।
विपक्ष ने जगदीप धनखड़ पर पक्षपातपूर्ण रवैया अपनाए जाने का आरोप लगाया है। आपको बता दें कि भारतीय संसद के इतिहास में ऐसा पहली बार होने जा रहा है कि राज्यसभा के सभापति के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाया गया हो।
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