'योगी सबसे बड़े भोगी', इमामों की सभा में बोलीं ममता बनर्जी; पसंद नहीं आया यूपी CM का ये बयान
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बुधवार को मुर्शिदाबाद में हुई सांप्रदायिक हिंसा को पूर्व नियोजित बताया। उन्होंने कहा कि पड़ोसी बांग्लादेश में अस्थिर माहौल है। इसके बावजूद केंद्र सरकार ने वक्फ (संशोधन) अधिनियम को जल्दबाजी में पारित किया। घुसपैठियों को सीमा पार करके अंदर आने का मौका दिया गया। उन्होंने यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ के बयान पर भी आपत्ति जताई।
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ ने मुर्शिदाबाद हिंसा पर बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधा। ठीक एक दिन बाद ममता बनर्जी ने योगी आदित्यनाथ के बयान पर पलटवार किया। उन्होंने महाकुंभ में हुई भगदड़ में मौत का मुद्दा उठाया। बुधवार को कोलकाता में ममता बनर्जी ने इमामों की एक जनसभा को संबोधित किया।
एनडीटीवी की खबर के मुताबिक इमामों की एक सभा में ममता बनर्जी ने कहा कि योगी बड़ी-बड़ी बातें कर रहे हैं। वह सबसे बड़े भोगी (भौतिकवादी) हैं। महाकुंभ में कई लोगों की जान चली गई। यूपी में मुठभेड़ में कई लोग मारे गए। योगी लोगों को रैलियां तक नहीं निकालने देते हैं। मगर पश्चिम बंगाल में बहुत आजादी है।
'ममता ने दंगाइयों को पाला-पोसा'
उत्तर प्रदेश भाजपा के प्रवक्ता राकेश त्रिपाठी का कहना है, "योगी जी ने दंगाइयों के बारे में बयान दिया था। मगर ममता बनर्जी को यह पसंद नहीं आया, क्योंकि उन्होंने इन दंगाइयों को पाला-पोसा है। योगी आदित्यनाथ ने यूपी को दंगा मुक्त बनाया है। ममता बनर्जी की टिप्पणी निराधार है। वे यूपी मॉडल से सीख ले सकती हैं।
दंगाइयों को शांतिदूत बताती हैं ममता: योगी
यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को कहा था कि बंगाल जल रहा है। मगर सीएम ममता बनर्जी चुप हैं। वे दंगाइयों को शांति दूत बताती हैं। उन्होंने आगे यह भी कहा कि लातों के भूत बातों से नहीं मानते हैं। दंगाइयों का एक ही इलाज डंडा है। योगी ने आगे यह भी कहा कि मुर्शिदाबाद हिंसा पर सपा, कांग्रेस और टीएमसी चुप है।
हिंसा में बाहरी तत्व शामिल: ममता
ममता बनर्जी ने दावा किया कि मुर्शिदाबाद हिंसा में सीमा पार के तत्व शामिल है। उन्होंने पूछा कि सीमा की रक्षा करना क्या बीएसएफ की जिम्मेदारी नहीं है? प्रदेश सरकार अंतरराष्ट्रीय सीमा की रक्षा नहीं करती है। केंद्र सरकार इस जिम्मेदारी से बच नहीं सकती है। ममता बनर्जी ने हिंसा में जान गंवाने वाले लोगों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये मुआवजा देने का एलान किया। उन्होंने प्रदेश के मुख्य सचिव को बीएसएफ की भूमिका की जांच करने का निर्देश भी दिया।
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