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कांग्रेस के नए अध्यक्ष बने मल्लिकार्जुन खड़गे ने ठोकी ताल, नहीं बनने देंगे देश को विपक्ष मुक्त

कांग्रेस को चुनौतियों से उबारने के लिए पार्टीजनों से सहयोग की अपील करते हुए कहा कि हिमाचल प्रदेश और गुजरात के साथ तमाम राज्यों के आगामी चुनावों में भाजपा को हराने के लिए कार्यकर्ताओं को अपना सब कुछ देना होगा।

By Arun Kumar SinghEdited By: Published: Wed, 26 Oct 2022 07:49 PM (IST)Updated: Wed, 26 Oct 2022 07:49 PM (IST)
कांग्रेस के नए अध्यक्ष बने मल्लिकार्जुन खड़गे ने ठोकी ताल, नहीं बनने देंगे देश को विपक्ष मुक्त
मल्लिकार्जुन खड़गे ने पार्टी मुख्यालय में सोनिया गांधी की जगह कांग्रेस अध्यक्ष की बागडोर संभाली।

 संजय मिश्र, नई दिल्ली। कांग्रेस के नए अध्यक्ष की कमान बुधवार को संभालने के साथ ही मल्लिकार्जुन खड़गे ने भाजपा और संघ के खिलाफ पार्टी की वैचारिक राजनीतिक लड़ाई के तेवर नरम नहीं पड़ने देने का पार्टीजनों को सियासी मंत्र दे दिया। राहुल गांधी के 'डरो मत' नारे को लड़ाई के लिए मूल मंत्र बनाने का ऐलान करते हुए खड़गे ने कहा कि लोकतंत्र को कमजोर करने के लिए झूठ, फरेब और नफरत के तंत्र को हम न केवल तोड़ कर रहेंगे बल्कि देश को विपक्ष मुक्त करने के भाजपा-आरएसएस के मंसूबों को कामयाब नहीं होने देंगे। इसके साथ ही खड़गे ने कांग्रेस की संगठनात्मक कमजोरियों को स्वीकार करते हुए सुधार के लिए उदयपुर संकल्प के ब्लू प्रिंट को लागू करने की घोषणा की।

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गांधी परिवार के 24 साल से अधिक रहे कांग्रेस के नेतृत्व के सफर पर लगा विराम

कांग्रेस को चुनौतियों से उबारने के लिए पार्टीजनों से सहयोग की अपील करते हुए कहा कि हिमाचल प्रदेश और गुजरात के साथ तमाम राज्यों के आगामी चुनावों में भाजपा को हराने के लिए कार्यकर्ताओं को अपना सब कुछ देना होगा। मल्लिकार्जुन खड़गे ने पार्टी मुख्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान सोनिया गांधी की जगह कांग्रेस अध्यक्ष की बागडोर संभाली। खड़गे के अध्यक्ष बनने के साथ ही कांग्रेस में गांधी परिवार के नेतृत्व का 24 साल से अधिक का लंबे सफर पर विराम लग गया है। कांग्रेस अध्यक्ष के चुनाव में शशि थरूर को हराकर विजेता बने खड़गे को कांग्रेस चुनाव प्राधिकरण के प्रमुख मधुसूदन मिस्त्री ने अध्यक्ष के निर्वाचन का प्रमाणपत्र सौंपा और इसके साथ ही उन्होंने पार्टी की कमान थाम ली।

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भाजपा-संघ से राजनीतिक लड़ाई के लिए दिखाए अपने तेवर

कांग्रेस अध्यक्ष के रुप में अपने पहले संबोधन में राजनीतिक तेवर दिखाते हुए 80 वर्षीय मल्लिकार्जुन खड़गे ने भाजपा-संघ पर हमला बोलते हुए कहा कि किसी ने ऐसा नहीं सोचा होगा कि देश में कभी ऐसी राजनीति का दौर भी आएगा, जिसमें झूठ का बोलबाला होगा और सत्ता में बैठे हुक्मरान ही लोकतंत्र को कमजोर करने में जुटे होंगे। उन्होंने कहा कि न्यू इंडिया के नाम पर झूठ को सच और सच को झूठ बनाने का प्रयास किया जा रहा और हम झूठ, फरेब और नफरत के इस तंत्र को तोड़ कर रहेंगे। खड़गे ने सवाल उठाया कि यह कैसा न्यू इंडिया है, जहां युवाओं को रोजगार नहीं मिल रहा, किसानों को जीप के नीचे कुचला जाता, महिलाओं पर अत्याचार बढ़ रहे, जनता महंगाई से त्राहि-त्राहि कर रही, बेशकीमती सरकारी संपत्तियां और बैंक बेचे जा रहे तो रुपया निरंतर लुढ़कता जा रहा है।

लोकतंत्र को बचाने की अपील

लोकतंत्र को कमजोर करने की बात उठाते हुए खड़गे ने कहा कि ईडी, सीबीआई, इनकम टैक्स जैसी एजेंसियों का दुरूपयोग किया जा रहा। महात्मा गांधी को देशद्रोही तो गोड़से को देशभक्त बताते हुए बाबा साहब के बनाए संविधान को बदलकर संघ के संविधान को लाने की कोशिश हो रही है। खड़गे ने कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं के साथ देश के उन सभी नागरिकों से इन चुनौतियों का मुकाबला करने में सहयोग की अपील की जो लोकतंत्र और संविधान को राष्ट्र की सोच का मूल तत्व मानते हैं।

किया स्वीकार रूठे मतदाताओं को मनाना चुनौतीपूर्ण

खड़गे ने अध्यक्ष के रुप में उनका चुनाव करने के लिए पार्टीजनों का आभार जताते हुए पार्टी की चुनौतियों को स्वीकार करने से गुरेज नहीं किया और कहा कि कांग्रेस 137 वर्षों से लोगों के जीवन का हिस्सा है, मगर हमारे अच्छे काम के बावजूद मतदाता हमसे कुछ रूठ गए हैं। इस हकीकत को समझते जनता से सीधे संवाद के लिए राहुल गांधी कन्याकुमारी से कश्मीर की भारत जोड़ो यात्रा पर निकल पड़े हैं और रोज लाखों लोग जुड़ रहे हैं। यात्रा से देश में एक ऊर्जा पैदा हो रही है जिसे हम व्यर्थ नहीं जाने देंगे।

उदयपुर ब्लू प्रिंट के सुधारों को लागू करने का किया ऐलान

खड़गे ने युवाओं से साथ आने की अपील करते हुए कहा कि कांग्रेस जो लड़ाई लड़ रही वह केवल पार्टी की नहीं बल्कि उनके भविष्य की है लड़ाई भी और इसमें जीत के लिए उनका साथ चाहिए। कांग्रेस की संगठनात्मक कमजोरियों को दूर करने के लिए उदयपुर नव संकल्प शिविर की घोषणाओं को लागू करने का ऐलान करते हुए खड़गे ने संगठन में 50 फीसद पद 50 साल से कम उम्र के युवाओं को देने, शीर्ष से लेकर ब्लॉक स्तर के सभी खाली पदों को भरने, चुनाव प्रबंधन विभाग, इनसाइट विभाग से लेकर राज्यों में राजनीतिक मामलों की समिति का जल्द गठन किया जाएगा।

लंबे अर्से बाद कांग्रेस पार्टी में दिखी एकजुटता की झलक

कांग्रेस कार्यकर्ताओं को पार्टी की ताकत बताते हुए खड़गे ने कहा कि गांधी, नेहरू, बोस, पटेल जैसे दिग्गजों ने जिस पार्टी का नेतृत्व किया हो उस तक पहुंचना उनके लिए गौरव के साथ भावुक क्षण है क्योंकि एक मजदूर का बेटा और सामान्य कार्यकर्ता इस मुकाम तक पहुंचा है। खड़गे के कमान संभालने के मौके पर कांग्रेस में एकजुटता की तस्वीर नजर आयी और पार्टी के तमाम दिग्गजों के साथ असंतुष्ट खेमे के नेता भी इसमें शामिल होने पहुंचे। खड़गे के खिलाफ चुनाव लड़ने वाले शशि थरूर, भारत जोड़ो यात्रा से पहले ब्रेक में लौटे पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा भी इस दौरान मौजूद रहे।

इस कार्यक्रम के बाद सोनिया व राहुल गांधी, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, छत्तीसगढ के सीएम भूपेश बघेल समेत अन्य वरिष्ठ नेता खड़गे को कांग्रेस अध्यक्ष के कार्यालय कक्ष में उनकी कुर्सी तक ले गए। इसके बाद गहलोत और रणदीप सुरजेवाला समेत कई नेताओं ने सोनिया गांधी को उनके आवास तक पहुंचाकर पार्टी मुख्यालय से विदाई दी।

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