Olympics 2024: भारतीय एथलीट्स की ओलंपिक ड्रेस पर पूर्व स्टार ने जताई नाराजगी, कहा- डिजाइनर ने नहीं किया कॉमन सेंस का इस्तेमाल
Olympics 2024 भारतीय पूर्व बैडमिंटन स्टार ज्वाला गुट्टा (Jwala Gutta) भारतीय दल के कपड़ों को लेकर काफी निराश हैं। उन्होंने सोशल मीडिया पर अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि उन्हें उम्मीद थी कि डिजाइन अच्छे कपड़े डिजाइन करेगा लेकिन ऐसा नहीं हुआ। उनका कहना था कि इस बार ओलंपिक के लिए बनाए गए कपड़ों को देखकर वह काफी निराशाजनक हुई

स्पोर्ट्स डेस्क, नई दिल्ली। पेरिस ओलिंपिक 2024 की शुरुआत हो चुकी है। रविवार को शूटर मनु भाकर ने भारत को पहला मेडल जिताया। मनु भाकर (Manu Bhaker) ने शूटिंग 10 मीटर एयर पिस्टल में कांस्य पदक जीता और वह शूटिंग में भारत को मेडल जिताने वाली पहली महिला बनीं, लेकिन इस बीच, भारतीय एथलीट्स को एक और समस्या का सामना करना पड़ रहा है और वह है उनकी ओलिंपिक पोशाक की गुणवत्ता।
पेरिस ओलंपिक 2024 की ओपनिंग सेरेमनी के दौरान भारतीय एथलीट की ड्रेस को लेकर फैंस काफी नाराजगी जाहिर कर रहे थे। सोशल मीडिया पर भारतीय दलों के कपड़ों को लेकर कई अलग-अलग प्रतिक्रिया सामने आ रही थी।
इस कड़ी में पूर्व दिग्गज बैडमिंटन खिलाड़ी ज्वाला गुट्टा (Jwala Gutta) ने सोशल मीडिया पर भारतीय दल के कपड़ों की आलोचना करते हुए अपनी निराशा जाहिर की है। उन्होंने कपड़ों को डिजाइन करने वालों की आलोचना करते हुए कहा कि उनकी गुणवत्ता बहुत ही खराब है, जो भारतीय खिलाड़ियों के लिए एक शर्म की बात है।
Jwala Gutta ने भारतीय दल के कपड़ों को लेकर जताई नाराजगी
दरअसल, भारतीय पूर्व बैडमिंटन स्टार ज्वाला गुट्टा (Jwala Gutta) भारतीय दल के कपड़ों को लेकर काफी निराश हैं। उन्होंने सोशल मीडिया पर अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि उन्हें उम्मीद थी कि डिजाइन अच्छे कपड़े डिजाइन करेगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ।
उनका कहना था कि इस बार ओलंपिक के लिए बनाए गए कपड़े बहुत ही निराशाजनक थे। खासकर, उन्होंने देखा कि सभी लड़कियां साड़ी पहनना नहीं जानतीं, और डिजाइनर ने प्री-ड्रेप्ड साड़ी क्यों नहीं बनाई, जो आजकल ट्रेंड में है।
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ज्वाला ने एक्स पर गुस्सा जाहिर करते हुए लिखा कि बिना सोचे समझे... इस बार ओलंपिक में भाग लेने वाले भारतीय दल के लिए जो कपड़े बनाए गए थे, वह बहुत निराशाजनर रहे। सबसे पहले, सभी लड़कियों को साड़ी पहनना नहीं आता.. डिजाइन ने इस कॉमन सेंस का इस्तेमाल क्यों नहीं किया और प्री ड्रेप्ड साड़ी क्यों नहीं बनाई? लड़कियां असहज लग रही थीं और ब्लाउज खराब फिट का था।
उन्होंने आगे लिखा कि दूसरा रंग और प्रिंट सुंदर भारतीय के बिल्कुल अलग था। डिजाइन के लिए कढ़ाई या हाथ से पेंट के जरिए हमारी संस्कृति की कला को दर्शाने का मौका था। यह पूरी तरह से औसत दर्जे का काम था और जर्जर लग रहा था। मैं आशा करती हूं कि खेल परिवार हमारे खिलाड़ियों की कोर्ट और ऑफ कोर्ट पर गुणवत्ता से समझौता करना बंद कर देगा।
After not much of thinking..
The garments which was made for the Indian contingent participating in Olympics this time has been a huge disappointment!! (Especially when the designer was announced I had huge expectations)
First not all girls know how to wear a saree…why didn’t… pic.twitter.com/b5UjzpvUJQ
— Gutta Jwala 💙 (@Guttajwala) July 28, 2024

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