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    एमएमएफ ने पर्यावरण को बचाने के लिए उठाया बड़ा कदम, गुरुग्राम के खिलाड़ियों के साथ मिलकर शुरू किया अनोखा मिशन

    By Jagran News NetworkEdited By: Jagran News Network
    Updated: Sun, 20 Apr 2025 07:34 PM (IST)

    आज के समय में पर्यावरण एक अहम मुद्दा बन चुका है और इससे निपटने गुरुग्राम को स्वच्छ हवा प्रदान करने के मकसद से मिलियन मियावाकी फाउंडेशन ने गुरूग्राम के खिलाड़ियों के साथ हाथ मिलाया है और एक अलग पहले शुरू की है। इसमें आयरनवुमन रानी महेश्वरी भी अपना योगदान दे रही हैं।

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    एमएमएफ ने गुरुग्राम के खिलाड़ियों के साथ मिलकर किया नया मिशन लाॉन्च

    स्पोर्ट्स डेस्क, नई दिल्ली। गुरुग्राम एथलेटिक्स समुदाय ने अपने शहर में वायु प्रदूषण की समस्या से निपटने के लिए मिलियन मियावाकी फाउंडेशन से साथ मिलाया है। इसके तहत द गुड सोल क्लब ने एमएमएफ के साथ मिलकर गुरुग्राम के सेक्टर 56 में सूरज स्कूल में एक छोटा जंगल बनाना का साझेदारी की है। इस क्लब का नेतृत्व आयरनवमुन ट्रायथलीट रानी महेश्वरी कर रही हैं। उनका ये समूह धावकों, साइकिल चालकों और ट्रायथलीट्स का समूह है।

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    महेश्वरी को एमएमफ के लोगों को स्वच्छ हवा के लिए लोगों को एकजुट करने के मिशन से प्ररेणा मिली। राइज फाउंडेशन के समर्थन से एमएमएफ द्वारा संचालित मिलियन मियावाकी प्रोजेक्ट ने दिल्ली-एनसीआर पहले से ही 34 शहरी जंगलों को खड़ा किया है।

    मियावाकी तकनीक के जरिए 2000 वर्ग फुट एरिया में खड़े किए ये जंगल दो वर्षों में 600 देशी पेड़ों को जंगलों में तेजी से विकसित करते हैं जिनमें प्रत्येक में 20-25 अलग-अलग प्रजातियां पाई जाती हैं। इस मिशन की एक अहम बात ये है कि इसमें स्कूली बच्चों को जोड़ा जाता है और वह इसमें सक्रिय भागीदारी करते हैं। इससे बच्चे पर्यावरण को बचाने के लिए काम करते हैं। वह सीखते हैं कि एक मिनी-जंगल 2,400 से अधिक लोगों के लिए पर्याप्त ऑक्सीजन उत्पन्न कर सकता है, धूल को कम कर सकता है, और स्थानीय तापमान को कम कर सकता है, जिससे शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ हवा मिल सकती है।

    एमएमएफ कई अलग-अलग समुदायों को इससे जोड़ता है जिसमें टीजीएससी, स्कूलों, कॉलेजों, निगमों और रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन (आरडब्ल्यूए) जैसे अलग-अलग समुदाय हिस्सा लेते हैं ताकि सामूहिक कार्रवाई के माध्यम से शहरी पुनर्जनन को आगे बढ़ाया जा सके और पर्यावरण को बेहतर बनाने के लिए सकारात्मक बदलाव लाया जा सके।