Puri Jagannath Temple Reopen: भक्तों के लिए खुले पुरी जगन्नाथ मंदिर के कपाट, सेवक परिवार संग कर रहे हैं महाप्रभु के दर्शन
कोरोना महामारी के कारण कई माह से बंद पुरी जगन्नाथ मंदिर के कपाट आज खोल दिए गए हैं। मंदिर के सेवक तथा उनके परिवार के सदस्यों को ही दर्शन की अनुमति दी गई है। 16 अगस्त से पुरी शहर के लोगों को महाप्रभु के दर्शनों की अनुमति दी गई है।
भुवनेश्वर, जागरण संवाददाता। कोरोना महामारी के कारण काफी लम्बे से भक्तों के लिए बंद रहने वाला पुरी जगन्नाथ मंदिर के कपाट आज से खोल दिये गए हैं। मंदिर के सेवक तथा उनके परिवार के सदस्य आज सुबह से मंदिर में जाकर कालिया ठाकुर का दर्शन कर रहे हैं। सुबह 7 से शाम 7 बजे तक दर्शन करने की व्यस्था की गई है। मंगल आरती से रात पहुंड़ होने तक सेवक परिवार के सदस्य को महाप्रभु का दर्शन करने की अनुमति दी गई है। ऐसे में आज मंदिर में प्रवेश करने से पहले सेवक एवं उनके परिवार के सदस्य स्वास्थ्य कार्ड तथा आधार कार्ड दिखा कर मंदिर में प्रवेश करते हुए महाप्रभु का दर्शन किए। सेवक को अपने साथ बाहर के किसी भी व्यक्ति को मंदिर में ले जाने की अनुमति नहीं है। शनिवार एवं रविवार को जगन्नाथ मंदिर बंद रहेगा।
जानकारी के मुताबिक दो दिन गुरुवार एवं शुक्रवार को सेवक परिवार के दर्शन के बाद शनिवार एवं रविवार को शट डाउन होने के चलते जगन्नाथ मंदिर भक्तों के लिए बंद रहेगा। इस दौरान मंदिर को सैनिटाइज किया जाएगा। इसके बाद आगामी 16 से 20 अगस्त तक पुरी शहर के लोगों को महाप्रभु के दर्शन करने की अनुमति श्रीमंदिर प्रशासन की तरफ से दी गई है। आगामी 23 अगस्त से सभी भक्त पुरी जगन्नाथ मंदिर में प्रवेश कर महाप्रभु का दर्शन करेंगे। हालांकि बाहर से आने वाले भक्तों के लिए कुछ प्रतिबंध लगाए गए हैं। भक्तों को कोरोना टीका के दोनों डोज का प्रमाणपत्र या फिर आरटीपीसीआर की निगेटिव रिपोर्ट अपने साथ लानी होगी। बाहर से आने वाले भक्तों को अपना फोटो परिचयपत्र भी दिखाना होगा। बाहर से आने वाले सभी भक्त सिंहद्वार से मंदिर में प्रवेश करेंगे एवं उत्तर द्वार से बाहर निकलेंगे। इसके साथ ही कोरोना नियंत्रण के लिए विभिन्न त्योहारों में पुरी जगन्नाथ मंदिर बंद रहेगा।
मिली जानकारी के मुताबिक सभी भक्तों के लिए मास्क अनिवार्य किया गया है। भक्त मंदिर में प्रवेश करने से पहले हाथ को सैनिटाइज करेंगे। भक्त किसी भी मूर्ति को हाथ नहीं लगा सकेंगे। श्रीमंदिर के अन्दर फूल या फल ले जाने की अनुमति नहीं दी गई है। मंदिर के अन्दर दीप जलाने की अनुमति नहीं है। तम्बाकू या पान थूकने पर पहले की तरह जुर्माना भरना होगा।
पोलीथीन बैग को लेकर कोई भी भक्त मंदिर में प्रवेश नहीं कर पाएगा। ऐसा करते हुए पकड़े जाने पर 100 रुपये जुर्माना वसूला जाएगा। मंदिर परिसर एवं आनंद बाजार में खाने पर प्रतिबंध किया गया है। भिन्नक्षम व्यक्तियों के लिए विशेष रूप से कतार की व्यवस्था की गई है। 65 साल से अधिक आयु के व्यक्ति, मररीज या फिर 10 साल से कम आयु के बच्चों को मंदिर नहीं आने की सलाह दी गई है।