माता-पिता की वार्षिक आय 8 लाख या अधिक, तो बच्चा पिछड़ा वर्ग में शामिल नहीं; मुद्दे पर याचिका खारिज
केंद्र सरकार ने 13 सितंबर 2017 को एक अधिसूचना जारी की थी जिसमें यह स्पष्ट या था कि जिस माता-पिता की वार्षिक आय 8 लाख रुपया या इससे अधिक होगी उनके बेटा ...और पढ़ें

कटक, जागरण संवाददाता। माता-पिता की वार्षिक आय यदि 8 लाख रुपए या उससे अधिक है, तो बच्चा पिछड़ा वर्ग में शामिल नहीं होगा। पिछड़ा वर्ग (ओबीसी/एसईबीसी) प्रमाण पत्र जारी नहीं किया जाएगा। सरकार द्वारा लिया गए इस फैसले को हाईकोर्ट ने भी सही ठहराया है।
न्यायमूर्ति अरिंदम सिन्हा की पीठ ने 8 लाख रुपये से अधिक आय वाले माता-पिता के बेटे को ओबीसी/एसईबीसी प्रमाणपत्र जारी करने के मुद्दे पर याचिका खारिज कर दी।
वार्षिक आय 8 लाख रुपए से अधिक
मामले के विवरण से पता चला है कि याचिकाकर्ता ने पिछड़ा वर्ग प्रमाण पत्र के लिए आवेदन किया था लेकिन इसे तहसीलदार ने खारिज कर दिया। याचिकाकर्ता के अभिभावक माता एवं पिता दोनों शिक्षक हैं। दोनों सरकारी नौकरी कर रही हैं और इनकी वार्षिक आय 8 लाख रुपए से अधिक है।
ऐसे में उनके पिछड़े वर्ग प्रमाण पत्र आवेदन खारिज कर दिया गया। केंद्र सरकार ने 13 सितंबर 2017 को एक अधिसूचना जारी की थी, जिसमें यह स्पष्ट किया गया था कि जिस माता-पिता की वार्षिक आय 8 लाख रुपया या इससे अधिक होगी, उनके बेटा-बेटी ओबीसी के लिए रहने वाली सुविधा पाने के योग्य नहीं होंगे।
माता-पिता सरकारी कर्मचारी
केंद्र एवं राज्य सरकार की सूची में शामिल पिछड़े वर्ग के लिए यह लागू की गई थी। आवेदनकारी के माता-पिता सरकारी कर्मचारी होने के साथ ही उनकी वार्षिक आय 8 लाख रुपए से अधिक है। ऐसी स्थिति में याचिकाकर्ता पिछड़े वर्गों के लिए आरक्षित लाभों के लिए पात्र नहीं होने की बात ओडिशा सरकार की तरफ से हाईकोर्ट में उल्लेख किया गया है।
इसी पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट के न्यायाधीश अरिंदम सिन्हा की पीठ ने सरकार के तर्क को सही ठहराते हुए आवेदनकारी की याचिका को खारिज कर दिया है।
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