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    कटक में साइबर ठगी गिरोह का पर्दाफाश, फर्जी अकाउंट खोलकर धोखाधड़ी करने वाले 3 गिरफ्तार

    Updated: Mon, 29 Sep 2025 01:51 PM (IST)

    कटक पुलिस ने साइबर ठगी में शामिल तीन लोगों को गिरफ्तार किया है जिनमें दो महाराष्ट्र के हैं। ये आरोपी फर्जी बैंक खाते खोलकर साइबर अपराधियों की मदद करते थे। पुलिस ने उनके पास से कई चीजें जब्त की हैं। पूछताछ में पता चला कि वे गरीब लोगों को फंसाकर उनके नाम पर खाते खुलवाते थे और एटीएम कार्ड अपने पास रख लेते थे।

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    साइबर ठगों के लिए फर्जी अकाउंट खोलने वाले तीन ठग गिरफ्तार। प्रतीकात्मक तस्वीर

    संवाद सहयोगी, कटक। साइबर ठगों को मदद करने के आरोप में पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इनमें से दो राज्य बाहर के ठग शामिल है।

    गिरफ्तार होने वाले आरोपी महाराष्ट्र के नवी मुंबई इलाके का उमंग जयशंकर द्विवेदी (22), लकी अली अब्दुल कलाम (22) एवं जगतपुर थाना भईरीपुर मस्जिद गली का शेख नईम उर्फ छोटू (29) है।

    यह सभी साइबर ठगों के लिए फर्जी बैंक अकाउंट खोल रहे थे। उनके पास से एक कार, 5 हजार रुपये, तीन मोबाइल फोन,10 चेक बुक,13 एटीएम कार्ड और एक पासबुक जब्त किया गया है।

    यह जानकारी चाउलियागंज थाना अधिकारी चिंतेश्वर मुंड ने गण माध्यम को दिया है। मिली जानकारी के अनुसार, पिछले 20 सितंबर को महाराष्ट्र से आरोपी उमंग और लकी अली आकर भुवनेश्वर में पहुंचे थे। उसके बाद वह कार के द्वारा कटक चाउलियागंज में मौजूद एक होटल में ठहरे थे।

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    कुछ समय बाद वहां पर जगतपुर इलाके का छोटू आकर पहुंचा था। छोटू आरोपी लकी का दूर का एक रिश्तेदार भाई है। होटल के उस रूम में रोज कई लोगों का आना-जाना रहता था।

    ऐसे में होटल के कर्मचारियों के मन में संदेह हुआ तो, इसके बारे में पुलिस को सूचना दी गई। सूचना के आधार पर पुलिस उन तीनों को गिरफ्तार कर पूछताछ करने के बाद साइबर ठगी के बारे में पता चला।

    आरोपी उमंग और लकी महाराष्ट्र में मौजूद साइबर ठग सनी कतरमाल के सहयोगी के तौर पर कार्य कर रहे थे। सनी के निर्देश के अनुसार यह दोनों कुछ महीनों से बार-बार ओडिशा आ रहे थे।

    कटक, भुवनेश्वर,संबलपुर और ब्रह्मपुर शहर में मौजूद विभिन्न होटल में भाड़े पर रहते थे। वहां पर यह दोनों स्थानीय इलाके के गरीब और मध्यम परिवार वर्ग के लोगों को जाल में फंसा कर उनके नाम पर नया बैंक अकाउंट खोलते थे।

    बैंक खाता खोलने के बाद यह दोनों अपना ई-मेल और फोन नंबर उसमें डाल देते थे। बैंक अकाउंट खुल जाने के बाद उन गरीब लोगों को हर एक बैंक अकाउंट के लिए 3 हजार रुपये के हिसाब से दिया जाता था।

    बैंक का एटीएम कार्ड और चेक बुक आने के बाद उसे ठग ले जाते थे और अपने पास रखते थे। एटीएम और उसका पिन भी आरोपी अपने साथ महाराष्ट्र ले जाते थे। साइबर ठग इन बैंक खाता को साइबर ठगी के कार्य में इस्तेमाल करते थे।

    बैंक खाता खोलने के लिए यह दोनों महाराष्ट्र के सोनी से 10 हजार रुपये लाते थे। लेकिन यह लोगों को महज 3 हजार रुपये देकर उनके नाम पर बैंक का खाता खोलते थे।

    कटक में इस तरह के बैंक की खाता खोलने के लिए यह दोनों ठग जगतपुर के शेख नईम का सहयोग लिया था। इन सभी आरोपियों के नाम पर मामला दर्ज करते हुए उन्हे कोर्ट चालान कर जेल भेज दिया गया है।