Cyclone Michaung LIVE: देश के कई राज्यों में मिचौंग दिखा रहा रौद्र रूप; झारखंड में भी दिखने लगा है इसका असर, जानें कैसा है हाल
Cyclone Michaung LIVE चक्रवाती तूफान मिचौंग का कहर देश के कई हिस्सों में दिखने लगा है। चेन्नई में तो हाहाकार मचा हुआ है। चारों ओर बस पानी ही पानी है जन-जीवन बेहाल है। ओडिशा में भी इसका असर दिखने लगा है। साथ ही इसके प्रभाव से झारखंड भी अछूता नहीं रहा है। यहां के कई जिलों में आज बारिश की संभावना जताई गई है।

जागरण संवाददाता, भुवनेश्वर। दक्षिण बंगाल की खाड़ी में बना गहरे दबाव का क्षेत्र चक्रवात में तब्दील हो गया है, जिसे मिचौंग नाम दिया गया है। यह तूफान तमिलनाडु तट तक पहुंच चुका है और मंगलवार सुबह आंध्र के तट पर यह भीषण चक्रवात के रूप में सतह से टकराएगा। ओडिशा के भी तटीय जिलों में इसे लेकर अलर्ट जारी किया गया है। साथ ही बचाव के उपाय भी किए गए हैं।
आज इन रास्तों से होकर गुजरेगा चक्रवाती तूफान मिचौंग
भारत मौसम विभाग (आइएमडी) ने 'एक्स' पर जारी अपने पोस्ट में कहा है कि दिन के ढाई बजे मिचौंग दक्षिण बंगाल की खाड़ी के ऊपर चेन्नई से करीब 100 किलोमीटर उत्तर-पूर्व और नेल्लोर से 120 किलोमीटर दक्षिण-पूर्व में केंद्रित था। यह धीरे-धीरे तेज होगा और उत्तर की ओर बढ़ेगा। पांच दिसंबर की दोपहर आंध्रपप्रदेश में बापटला के करीब नेल्लोर और मछलीपट्टनम के बीच यह गंभीर चक्रवाती तूफान के रूप में समुद्र तट को पार करेगा।
Severe Cyclonic Storm “MICHAUNG” (pronounced as MIGJAUM) over Westcentral Bay of Bengal off south Andhra Pradesh coast (Cyclone Warning for Andhra Pradesh Coast) - LATEST SATELLITE ANIMATION TILL 0600 HOURS IST OF TODAY, 5TH DECEMBER, 2023. pic.twitter.com/KfyBWHGMzV
— India Meteorological Department (@Indiametdept) December 5, 2023
मिचौंग के डरावने रूप को देखते हुए कई जगह अलर्ट जारी
ओडिशा में सभी तीन बंदरगाहों में दो नंबर खतरे का निशान लगा दिया गया है। आइएमडी के अनुसार, लैंडफाल के समय भारी वर्षा के साथ हवा की गति 90 से 100 किलोमीटर प्रति घंटा होगी।
ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर के साथ तटीय जिलों में सोमवार सुबह से ही चक्रवात का प्रभाव दिखाई देने लगा है। यहां आसमान में बादल छाए रहने के साथ ही बूंदाबांदी होने एवं कुछ जगहों पर हल्की वर्षा भी हुई है।
मौसम विभाग ने चक्रवात मिचौंग की भयावहता को देखते हुए ओडिशा में मंगलवार को पांच जिलों में भारी से बहुत भारी वर्षा की चेतावनी जारी की है।
इन पांच जिलों में मलकानगिरी, कोरापुट, रायगड़ा, गंजाम एवं गजपति जिला शामिल है, जहां पर आरेंज चेतावनी जारी की गई है। इसके अलावा नवरंगपुर, कालाहांडी, कंधमाल एवं पुरी जिले के लिए पीली चेतावनी जारी की गई है।
गजपति जिले में हो सकता है भूस्खलन
मिचौंग के विकराल रूप को देखते हुए प्रदेश के गजपति जिले में भूस्खलन की आशंका जताई गई है। इसे देखते हुए दो दिन पहले ही यहां पर ओड्राफ टीम पहुंच गई है। किसी भी परिस्थिति से निपटने के लिए उन्हें तैनात रहने के लिए निर्देश दिया गया है।
ओडिशा के इन जिलों में भारी बारिश की चेतावनी
ओडिशा में छह दिसंबर को दक्षिण ओडिशा के साथ पुरी, खुर्दा, कटक, जगतसिंहपुर एवं नयागढ़ जिले में भारी वर्षा की चेतावनी जारी की गई है। इन जिलों में वर्षा के साथ 40 से 50 किलोमीटर की रफ्तार से हवा चलेगी। छह दिसंबर तक मछुआरों को समुद्र में ना जाने की हिदायत दी गई है।
कब बदलेगा मौसम
चक्रवाती तूफान मिचौंग फिलहाल जमकर कहर बरपा रहा है। मछुआरों को 6 दिसम्बर तक समुद्र में ना जाने की हिदायत दी गई है। इस दिन दक्षिण ओडिशा के साथ तटीय ओडिशा के कटक, पुरी, खुर्दा, जगतसिंहपुर एवं नयागड़ जिला में भारी वर्षा को लेकर पीली चेतावनी जारी की गई है। 7 दिसम्बर को भी तटीय ओडिशा में वर्षा होने की सम्भावना है। राहत की बात यह है कि दिसम्बर से मौसम में बदलाव होने की संभावना जताई गई है।
ओडिशा के साथ-साथ झारखंड में भी दिख रहा असर
तूफान मिचौंग ने झारखंड में भी असर दिखाना शुरू कर दिया है। मौसम विभाग के मुताबिक, पांच दिसंबर को राज्य के दक्षिणी हिस्से सरायकेला-खरसावां, पूर्वी और पश्चिमी सिंहभूम, सिमडेगा में कुछ जगहों पर हल्की से मध्यम वर्षा होने की संभावना है। इसके अलावा, छह दिसंबर को भी कुछ इलाकों में हल्की वर्षा हो सकती है।सात दिसंबर को कहीं-कहीं गर्जन व वज्रपात होने की संभावना है। इसी के साथ पूरे राज्य में ठंड बढ़ सकती है।
कैसे पड़ा तूफान का नाम मिचौंग
तूफान को म्यांमार ने मिचौंग नाम दिया है। इसका अर्थ है दृढ़ता। इसे काफी शक्तिशाली तूफान माना जा रहा है और इसी के आधार पर यह नामकरण किया गया है। दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में अलग-अलग संगठनों द्वारा चक्रवातों का नाम रखा जाता है।
उत्तरी हिंद महासागर में आने वाले तूफानों को नाम देने के लिए भारत समेत 13 देशों का एक समूह है। भारत, बांग्लादेश, मालदीव, म्यांमार, ओमान, पाकिस्तान, थाइलैंड, श्रीलंका, ईरान, कतर, सऊदी अरब, यूएई और यमन बारी-बारी से तूफान का नाम निर्धारित करते हैं।
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