Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    S. Jaishankar: 'भारत में सामाजिक-आर्थिक क्रांति के लिए पीएम मोदी का बड़ा योगदान', एस जयशंकर ने प्रधानमंत्री की तरीफ में पढ़े कसीदे

    By Jagran NewsEdited By: Jagran News Network
    Updated: Tue, 14 Nov 2023 06:11 AM (IST)

    विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि दुनिया बदल गई है हमारे रिश्ते बदल गए हैं यूके बदल गया है और भारत बदल गया है। इसलिए आप मुझसे पूछ सकते हैं कि भारत में क्या बदलाव आया है। आप जवाब जानते हैं जवाब है मोदी। साथ ही उन्होंने बेटी पढ़ाओ बेटी बचाओ जनधन योजना सहित कई परिवर्तनकारी नीतियों के बारे में विस्तार से बताया।

    Hero Image
    एस जयशंकर ने प्रधानमंत्री की तरीफ में पढ़े कसीदे

    एएनआई, लंदन। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने एक बार फिर प्रधानमंत्री मोदी के तारीफ में कसीदे पढ़े हैं। उन्होंने सोमवार को कहा कि पिछले दशक में भारत में जो सामाजिक-आर्थिक क्रांति आई है इसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का बड़ा योगदान है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    इन दिनों जयशंकर ब्रिटेन दौरे हैं, उस दौरान एक कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि दुनिया ने यूके और विकसित हो रहे भारत के बीच संबंधों को स्वीकार किया है और उन्होंने देश में विकास कार्यों को लेकर पीएम मोदी द्वारा निभाई गई महत्वपूर्ण भूमिका पर भी जोर दिया।

    यूके बदल गया है और भारत बदल गया है- एस जयशंकर

    लंदन में एक दिवाली रिसेप्शन को संबोधित करते हुए विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि मैंने यह कहकर शुरुआत की कि दुनिया बदल गई है, हमारे रिश्ते बदल गए हैं, यूके बदल गया है और भारत बदल गया है। इसलिए आप मुझसे पूछ सकते हैं कि भारत में क्या बदलाव आया है। आप जवाब जानते हैं, जवाब है मोदी।

    उन्होंने बेटी पढ़ाओ, बेटी बचाओ, जनधन योजना, आवास योजना, डिजिटल इंडिया, स्टार्टअप इंडिया और स्किल इंडिया अभियान सहित कई परिवर्तनकारी नीतियों के बारे में विस्तार से बताया।

    दस वर्ष वास्तव में भारत में एक सामाजिक-आर्थिक क्रांति के रहे

    उन्होंने कहा कि अगले वर्ष तक सरकार अपना दूसरा कार्यकाल पूरा कर लेगी लेकिन जब हम पिछले दस वर्षों को देखते हैं तो पता चलता है कि ये दस वर्ष वास्तव में भारत में एक सामाजिक-आर्थिक क्रांति के रहे हैं हमने वास्तव में लगभग इतने ही नए विश्वविद्यालय और कॉलेज बनाए हैं पिछले दस वर्षों में देश की स्थिति पिछले 65 वर्षों की तरह ही रही है।