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    India China Faceoff: भारत को मिला अमेरिका का साथ, कहा 'Fully support India's effort', जानें बड़े Updates

    India China Border Clash अरुणाचल में चीनी सैनिकों के साथ झड़प में भारत को अमेरिका का साथ मिला है। अमेरिकी रक्षा विभाग पेंटागन के प्रेस सचिव पैट राइडर ने कहा कि हम अपने साझेदार की सुरक्षा सुनिश्चित करने की अपनी प्रतिबद्धता पर अडिग हैं। जानें अब तक के बड़े अपडेट।

    By Jagran NewsEdited By: Piyush KumarUpdated: Wed, 14 Dec 2022 10:25 AM (IST)
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    तवांग सेक्टर में भारत और चीन के बीच झड़प

    नई दिल्ली, जागरण आनलाइन। India China Faceoff Big Updates: चालबाज चीन (China) को उसकी चालाकी का एक बार फिर माकूल जवाब मिला है। अरुणाचल प्रदेश (Arunachal Pradesh) के तवांग सेक्टर (Tawang Sector) में भारतीय सेना ने एक बार फिर चीन को पटखनी दी है। 9 दिसंबर को तवांग के यांग्त्से में करीब 300 चीनी सैनिकों ने एलएसी पर भारतीय पोस्ट हटाने की कोशिश की थी, जिसके बाद भारत और चीन के सैनिकों के बीच आमने-सामने का संघर्ष हुआ। इस दौरान हुए संघर्ष में दोनों पक्षों के करीब 30 सैनिक घायल हुए। घायलों में ज्यादा संख्या चीनी सैनिकों की बताई जा रही है। एलएसी पर हुई इस झड़प के तुरंत बाद भारत और चीन के तवांग सेक्टर के सैन्य कमांडरों के बीच सीमा पर शांति बहाली के लिए फ्लैग मीटिंग भी हुई। तो चलिए आपको बताते हैं कि इस घटनाक्रम में अब तक क्या-क्या हुआ है।

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    9 दिसंबर को चीनी सैनिकों ने की हिमाकत

    अरुणाचल प्रदेश के तवांग सेक्टर के यांगत्से में 9 दिसंबर को चीनी सेना के करीब 200 सैनिकों ने घुसपैठ की। भारतीय जवानों ने चीनी सेना के जवानों को रोका, जिसके बाद दोनों पक्षों में हाथापाई हो गई। चीनी सैनिकों ने तार लिपटे कंटीले बेसबॉल बैट से हमला किया, जिसका भारतीय जवानों ने जवाब दिया। दोनों तरफ से सैनिक घायल हुए हैं। भारतीय सेना ने 6 जवानों के घायल होने की जानकारी दी। चीनी सेना ने अपने सैनिकों के घायल होने की ऑफिशियल पुष्टि नहीं की।

    कमांडरों के बीच हुई बातचीत

    भारत और चीन के सैनिकों के बीच हुई हाथापाई के बाद तय मैकेनिज्म के तहत दोनों देशों के एरिया कमांडरों के बीच फ्लैग मीटिंग हुई। तवांग सेक्टर में दोनों पक्षों के बीच हुई हाथापाई बीते 24 महीनों में पहला गंभीर मामला है. यांग्त्से के करीब पिछले साल अक्टूबर में भी भारत और चीनी सैनिक आपस में भिड़ गए थे। वो मामूली भिड़ंत थी, जिसे दोनों पक्षों के स्थानीय कमांडरों ने बातचीत से सुलझा लिया था।

    चीन ने पहले भी चली थी चाल

    इसके बाद इस तरह की जानकारी भी सामने आई कि चीनी सेना ने तवांग सेक्टर में अपने ड्रोन विमानों के जरिए भारतीय सेना की टोह लेने की कोशिश की थी। ये घटना भी 9 दिसंबर को चीनी सेना की घुसपैठ से पहले हुई थी। हालांकि, भारतीय फाइटर विमानों ने जवाब देते हुए ड्रोन्स को खदेड़ दिया था।

    सामने आया CM का रिएक्शन

    तवांग सेक्टर में चीनी सैनिकों की घुसपैठ के बाद अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री पेमा खांडू ने कहा, ये 1962 का भारत नहीं है। अगर किसी ने सीमा में घुसने की कोशिश की तो करारा जवाब मिलेगा। हमारी वीर भारतीय सेना ईंट का जवाब पत्थर नहीं लोहे से दे रही है।

    रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सदन में दी जानकारी

    संसद में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने पूरे मामले की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि चीनी सेना ने तवांग सेक्टर में घुसपैठ के जरिए यथास्थिति बदलने की कोशिश की, इसका भारतीय जवानों ने करारा जवाब देते हुए उन्हें वापस खदेड़ दिया। उन्होंने कहा कि इस झड़प में दोनों तरफ के सैनिक घायल हुए हैं, लेकिन किसी भी भारतीय जवान को कोई गंभीर चोट नहीं लगी और ना ही किसी की शहादत हुई है।

    चीनी विदेश मंत्रालय का बयान

    चीनी सैनिकों की घुसपैठ को लेकर भारत के बयान पर चीन ने भी प्रतिक्रिया दी। चीन के विदेश मंत्रालय की तरफ से कहा गया कि, 'भारत से लगी सरहद पर हालात स्थिर हैं।' अरुणाचल प्रदेश में LAC पर हालात कंट्रोल में हैं। बयान में चीन की ओर से अपने सैनिकों के घायल होने की कोई जानकारी नहीं दी गई। मंत्रालय के प्रवक्ता वांग वेनबिन ने कहा कि इस मुद्दे पर भारत के साथ सैन्य और डिप्लोमैटिक लेवल पर वार्ता चल रही है।

    कांग्रेस ने सरकार को घेरा

    तवांग में चीनी घुसपैठ को लेकर कांग्रेस ने केंद्र सरकार पर निशाना साध। कांग्रेस की तरफ से कहा गया, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने चीनी-भारत बॉर्डर पर तवांग में हुई भिड़ंत को लेकर संसद में जो बयान दिया है, वो अधूरा है। कांग्रेस ने सरकार पर देश से सच्चाई छिपाने का आरोप लगाया। जयराम रमेश ने कहा, 'कांग्रेस सीमा पर चीनी हरकतों को लेकर सरकार को जगाने की कोशिश करती रही है, लेकिन मोदी सरकार अपनी राजनीतिक छवि को बचाने के लिए इस पर चुप्पी साधे हुए हैं।'

    कांग्रेस अध्यक्ष ने बुलाई विपक्षी दलों की बैठक

    कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने इस मामले को लेकर विपक्षी दलों की साझा बैठक की। खरगे ने इससे पहले ट्वीट में भारतीय जवानों की चीन को सबक सिखाने के लिए प्रशंसा की। साथ ही कहा है कि मोदी सरकार को इस मुद्दे पर ज्यादा 'ईमानदार' होना चाहिए।

    भारत की है पूरी नजर

    भारतीय एयरफोर्स चीन की गतिविधियों पर लगातार नजर बनाए हुए है। असम में तेजपुर और छबुआ समेत कई स्थानों पर Su-30 लड़ाकू जेट विमानों के स्क्वाड्रन मौजूद हैं। इसके अलावा पश्चिम बंगाल के हाशिमारा में राफेल जेट की स्क्वाड्रन है। इतना ही नहीं, भारतीय सेना ने डिफेंस को मजबूती देने के लिए रूसी S-400 एंटी मिसाइल सिस्टम की भी तैनाती कर रखी है।

    भारत को मिला अमेरिका का साथ

    अरुणाचल में चीनी सैनिकों के साथ झड़प में भारत को अमेरिका का साथ मिला है। अमेरिकी रक्षा विभाग पेंटागन के प्रेस सचिव पैट राइडर ने कहा कि हम अपने साझेदार की सुरक्षा सुनिश्चित करने की अपनी प्रतिबद्धता पर अडिग हैं। हम स्थिति को नियंत्रित करने के भारत के प्रयासों का पूरा समर्थन करते हैं। इससे पहले अमेरिका ने बयान जारी कर कहा कि इस बात पर खुशी है कि दोनों ही देशों की सेनाओं ने डिसइंगेजमेंट किया और स्थिति को नियंत्रण में रखा। हम स्थिति पर पैनी नजर बनाए हुए हैं।

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