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    सुप्रीम कोर्ट में कम होगा मुकदमों का बोझ, SC में पहली बार शुरू हुई पांच दिवसीय विशेष लोक अदालत

    By Agency Edited By: Sonu Gupta
    Updated: Mon, 29 Jul 2024 04:10 PM (IST)

    Supreme Court Special Lok Adalat विवादों के सौहार्दपूर्ण तरीके से समाधान के लिए सुप्रीम कोर्ट ने पहली बार विशेष लोक अदालत की शुरुआत की है। सुप्रीम कोर्ट अपनी 75वीं वर्षगांठ पर पहली बार पांच दिवसीय विशेष लोक अदालत का आयोजन कर रहा है। इसमें वैवाहिक विवाद संपत्ति विवाद मोटर दुर्घटना दावा जमीन अधिग्रहण मुआवजा सर्विस और लेबर आदि मामलों का निपटारा किया जाएगा।

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    सुप्रीम कोर्ट ने शुरू की पांच दिवसीय विशेष लोक अदालत। फाइल फोटो।

    पीटीआई, नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने पहली बार विवादों के सौहार्दपूर्ण तरीके से समाधान के लिए सोमवार को दोपहर दो बजे से विशेष लोक अदालत की शुरुआत की, जिसमें मीडिया कैमरों को भी अदालत कक्षों के अंदर जाने की अनुमति दी गई है। 29 जुलाई से लेकर 3 अगस्त तक चलने वाली इस विशेष लोक अदालत में हजारों मामले निपटने की उम्मीद है।

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    विवादों का होगा निपटारा

    मालूम हो कि सुप्रीम कोर्ट अपनी 75वीं वर्षगांठ पर पहली बार पांच दिवसीय विशेष लोक अदालत का आयोजन कर रहा है। प्रधान न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली अदालत सहित सुप्रीम कोर्ट की सात अदालतों में विशेष लोक अदालतें लगेंगी जो मध्यस्थता करते हुए पक्षकारों की रजामंदी से विवादों को निपटाएंगी।

    CJI ने क्या कहा?

    वहीं, मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय की पहली सात पीठें दोपहर दो बजे विशेष लोक अदालत में मामलों की सुनवाई करेंगी। उन्होंने कहा कि विशेष लोक अदालत का मुख्य उद्देश्य कोर्ट में लंबित मामले को कम करना है।

    आज से शुक्रवार तक हम सर्वोच्च न्यायालय की लोक अदालत लगाएंगे और इसके लिए पहले सात पीठ बैठेंगे। यदि वकीलों के पास ऐसे मामले हैं जो लोक अदालत में जा सकते हैं, तो कृपया उन्हें लेकर आएं।- डीवाई चंद्रचूड़, प्रधान न्यायाधीश

    प्रधान न्यायाधीश ने नागरिकों से की ये अपील

    शीर्ष न्यायाधीश ने इससे पहले लोगों से विशेष लोक अदालत में आने का अनुरोध किया था। उन्होंने कहा था कि लोक अदालत हमारे नागरिकों से संबंधित मामलों को पूरी तरह से स्वैच्छिक, सहमतिपूर्ण तरीके से उनकी संतुष्टि के अनुसार हल करने के लिए एक बहुत ही अनौपचारिक प्रौद्योगिकी-आधारित समाधान का प्रतिनिधित्व करती है। उन्होंने शीर्ष अदालत में लंबित मामलों को लेकर कहा कि लोग इसका लाभ उठाएं।

    विशेष लोक अदालत में इन मामलों का होगा निपटारा

    मालूम हो कि विशेष लोक अदालत में वैवाहिक विवाद, संपत्ति विवाद, मोटर दुर्घटना दावा, जमीन अधिग्रहण, मुआवजा, सर्विस और लेबर आदि मामलों का निपटारा किया जाएगा। लोक अदालतें मध्यस्थता के जरिए विवाद के हल का मंच उपलब्ध करा लंबित मामलों के सौहार्दपूर्ण समाधान की राह बनाती हैं।

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