कम उम्र के लोगों में घातक साबित हो रही सडेन कार्डियक डेथ, ये हैं इसके कारण; एक्सपर्ट व्यू
एम्स दिल्ली के कार्डियोलाजी के प्रोफेसर डा. नीतीश नायक ने बताया कि कुछ लोगों को ब्लड प्रेशर डायबिटीज कोलेस्ट्राल व हृदय से संबंधित परेशानी होती है लेकिन लक्षण सामने नहीं आते। ऐसे में जिम में अधिक व्यायाम करने बहुत तेज दौड़ने से अचानक दिल का दौरा पड़ सकता है।

नई दिल्ली, जेएनएन : टेलीविजन अभिनेता सिद्धांत सूर्यवंशी की दिल का दौरा पड़ने से मृत्यु हो गई है। जिम में वर्कआउट करते समय दौरा पड़ने की बात सामने आ रही है। 46 वर्ष के सिद्धांत की असमय मृत्यु ने एक बार फिर सवाल खड़ा कर दिया है कि क्या 60 वर्ष से कम आयु के लोगों पर वर्कआउट से किसी प्रकार का दुष्प्रभाव पड़ रहा है। बीते कुछ वर्ष में वर्कआउट के दौरान दिल का दौरा पड़ने की यह सातवीं घटना है। आखिर इसकी वजह क्या है और इसे कैसे रोका जा सकता है:
ये सितारे हुए शिकार
- गायक कृष्ण कुमार कुम्मत (केके)-31 मई 2022-54 वर्ष
- टीवी अभिनेता दीपेश भान-23 जुलाई 2022-41 वर्ष
- कामेडियन राजू श्रीवास्तव-21 सितंबर 2022-58 वर्ष
- टीवी अभिनेता सिद्धार्थ शुक्ला-दो सितंबर 2021-43 वर्ष
- कन्नड़ अभिनेता पुनीत राजकुमार-29 अक्टूबर 2021-46 वर्ष
- बालीवुड अभिनेता इंदर कुमार-28 जुलाई 2017-44 वर्ष
- टीवी अभिनेता अबीर गोस्वामी-31 मई 2013-37 वर्ष
इसलिए अचानक मौत का खतरा
- आम भाषा में कहा जाता है कि दिल का दौरा पड़ने से व्यक्ति की मृत्यु हो गई। इसमें सडेन कार्डियक डेथ की स्थिति में तत्काल दिल काम करना बंद कर देता है। कुछ ही सेकेंड में व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है। सडेन कार्डियक अरेस्ट में भी अचानक दिल की गतिविधियां प्रभावित होती हैं, लेकिन इसमें तत्काल चिकित्सकीय सहायता मिलने से जान बचाने का अवसर होता है।
- कम उम्र के लोगों में खेल या वर्कआउट के दौरान सडेन कार्डियक डेथ की स्थिति हो सकती है। इसके पीछे दिल की ऐसी बीमारी भी हो सकती है जिसके लक्षण न पता न चले हों। वर्कआउट या खेलने के समय यह बीमारी उग्र हो सकती है।
ये हैं कारण
- मानव हृदय की गतिविधियों के दौरान इलेक्ट्रिकल सिग्नलिंग होती है। जब इस इलेक्ट्रिकल सिग्नलिंग में गड़बड़ी होती है तो सडेन कार्डियक डेथ की स्थिति उत्पन्न हो सकती है। गलत सिग्नलिंग से अचानक दिल की घड़कन बहुत तेज हो जाती है। धड़कन में यह अनियंत्रित बदलाव काफी खतरनाक हो सकता है।
- कम उम्र लोगों में सडेन कार्डियक डेथ का सबसे प्रमुख कारण दिल की मांसपेशियों की मोटाई बढ़ना है। इस कारण दिल को रक्त संचार में दिक्कत होने से धड़कन तेज हो जाती है।
- दिल पर सीधे लगी गंभीर चोट भी अचानक मृत्यु का कारण बन सकती है। सीने पर अचानक किसी वस्तु से तेज आघात लगने से इलेक्ट्रिकल सिग्नलिंग की प्रक्रिया बदल जाती है। इससे दिल की धड़कन अचानक तेज होने से मृत्यु तक हो सकती है।
कैसे पहचानें लक्षण
- कम उम्र लोगों में अचानक बेहोश होने को गंभीरता से लेना चाहिए और तत्काल चिकित्सक से सलाह लेनी चाहिए। यदि ऐसी बेहोशी शारीरिक श्रम, खेल या वर्कआउट के दौरान होती हो तो इसकी जांच आवश्यक है।
- सांस लेने में दिक्कत या सीने में दर्द भी एक लक्षण हो सकता है। यदि परिवार में पूर्व में सडेन कार्डियक डेथ हो चुकी हो तो चिकित्सक की सलाह लेनी चाहिए।
एम्स दिल्ली के कार्डियोलाजी के प्रोफेसर डा. नीतीश नायक ने बताया कि कुछ लोगों को ब्लड प्रेशर, डायबिटीज, कोलेस्ट्राल व हृदय से संबंधित परेशानी होती है, लेकिन लक्षण सामने नहीं आते। ऐसे में जिम में अधिक व्यायाम करने, बहुत तेज दौड़ने से अचानक दिल का दौरा पड़ सकता है।
मेट्रो अस्पताल के ह्रदय रोग विशेषज्ञ डा. पुरुषोत्तम लाल ने बताया कि जब जिम में वर्कआउट करते हैं तो हार्मोन उत्पन्न होते हैं। एड्रेनलाइन हार्मोन के कारण अचानक दिल की प्रक्रिया गड़बड़ हो सकती है। इससे धड़कन बढ़ जाती है और व्यक्ति बेहोश हो जाता है। जिम करने से पहले मधुमेह, रक्तचाप और हृदय रोग की जांच करानी चाहिए।
आकाश सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल के कार्डियोलाजी निदेशक डा. आशीष अग्रवाल ने बताया कि कोरोना के बाद जिम में व्यायाम करने के दौरान हार्ट अटैक की घटनाएं बढ़ी हैं। युवा इसके अधिक शिकार हुए हैं। सांस लेने में परेशानी, धड़कन बढ़ने जैसा लक्षण महसूस होने पर तुरंत व्यायाम रोक देना चाहिए।
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