SC ने उमर खालिद की जमानत याचिका पर दिल्ली पुलिस से किया जवाब तलब, 6 हफ्तों में मांगा जवाब
Supreme Court on Umar Khalid Verdict उच्चतम न्यायालय ने राष्ट्रीय राजधानी में फरवरी 2020 में हुए दंगों की कथित साजिश रचने से जुड़े एक मामले में जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के पूर्व छात्र उमर खालिद की जमानत याचिका पर दिल्ली पुलिस से बृहस्पतिवार को जवाब तलब किया।

नई दिल्ली, एजेंसी। उच्चतम न्यायालय ने राष्ट्रीय राजधानी में फरवरी 2020 में हुए दंगों की कथित साजिश रचने से जुड़े एक मामले में जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के पूर्व छात्र उमर खालिद की जमानत याचिका पर दिल्ली पुलिस से बृहस्पतिवार को जवाब तलब किया।
न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना तथा न्यायमूर्ति हिमा कोहली की पीठ ने दिल्ली सरकार को एक नोटिस जारी किया और उससे छह सप्ताह में जवाब देने को कहा। खालिद की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने कुछ तारीखों का जिक्र किया और कहा कि घटना वाले दिन वह वहां नहीं था।
पीठ ने कहा कि वह नोटिस जारी कर रही है। साथ ही उसने मामले को अवकाश कालीन पीठ के समक्ष सूचीबद्ध करने का अनुरोध करने की भी छूट दी। सिब्बल ने कहा कि मामले को अवकाश के बाद सूचीबद्ध किया जाए।
ग्रीष्मकालीन अवकाश के बाद होगी सुनवाई
इस पर पीठ ने मामले की अगली सुनवाई उच्चतम न्यायालय के ग्रीष्मकालीन अवकाश के बाद के लिए सूचीबद्ध की। उच्चतम न्यायालय में ग्रीष्मकालीन अवकाश 22 मई से शुरू हो रहा है जो दो जुलाई को समाप्त होगा।
गौरतलब है कि पिछले वर्ष 18 अक्टूबर को उच्च न्यायालय ने यह कहते हुए खालिद की जमानत याचिका खारिज कर दी थी कि वह अन्य सह-आरोपियों के लगातार संपर्क में था और उसके ऊपर लगे आरोप प्रथम दृष्टया सही नजर आते हैं।
उच्च न्यायालय ने यह भी कहा था कि आतंकवाद निरोधी कानून यूएपीए के तहत आरोपी के कृत्य प्रथम दृष्टया ‘आतंकवादी कृत्य’ के रूप में माने जाने के योग्य हैं।
फरवरी 2020 में दिल्ली में हुए दंगों में आरोपी था खालिद
उमर खालिद और शरजील इमाम सहित कई अन्य लोगों के खिलाफ फरवरी 2020 में दिल्ली में हुए दंगों का कथित ‘मास्टरमाइंड’ होने के आरोप में यूएपीए और भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की विभिन्न धाराओं के तहत मामले दर्ज किए गए थे।
ये दंगे संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के खिलाफ हुए विरोध-प्रदर्शनों के दौरान भड़के थे। इनमें 53 लोगों की मौत हो गई थी, जबकि 700 से अधिक घायल हुए थे।
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