अजमेर शरीफ पर PM मोदी की ओर से चादर चढ़ाने का मामला पहुंचा सुप्रीम कोर्ट
सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर कर पीएम मोदी द्वारा अजमेर शरीफ दरगाह पर चादर चढ़ाने की परंपरा पर रोक लगाने की मांग की गई है। याचिकाकर्ताओं ने इस प्रथ ...और पढ़ें

पीएम मोदी के चादर चढ़ाने पर रोक की मांग
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर कर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की ओर से अजमेर शरीफ दरगाह पर हर साल चादर चढ़ाने की परंपरा पर तत्काल रोक लगाने की मांग की गई है। यह मामला प्रधान न्यायाधीश (सीजेआइ) सूर्यकांत और जस्टिस जायमाल्या बागची की अवकाशकालीन पीठ के समक्ष आया। पीठ ने कहा कि मामला सोमवार को सूचीबद्ध नहीं है।
सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ताओं जितेंद्र सिंह और अन्य की ओर से पेश अधिवक्ता बरुन सिन्हा को रजिस्ट्री से संपर्क करने को कहा। याचिका में कहा गया है कि प्रधानमंत्री द्वारा मोइनुद्दीन चिश्ती की अजमेर स्थित दरगाह पर चादर चढ़ाने की प्रथा की शुरुआत जवाहरलाल नेहरू ने 1947 में की थी। यह तब से जारी है और इसका कोई कानूनी या संवैधानिक आधार नहीं है।
याचिका के अनुसार, ऐतिहासिक अभिलेखों से पता चलता है कि मोइनुद्दीन चिश्ती उन विदेशी आक्रमणों से जुड़े थे, जिन्होंने दिल्ली और अजमेर पर विजय प्राप्त की और स्थानीय आबादी का बड़े पैमाने पर दमन किया और धर्मांतरण किया, जो भारत की संप्रभुता, गरिमा और सभ्यतागत मूल्यों के बिल्कुल विपरीत थे।
(न्यूज एजेंसी पीटीआई के इनपुट के साथ)

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