Move to Jagran APP

GST दरों में अगले वर्ष तक नहीं होगा बड़ा बदलाव, राजस्व सचिव ने कहा- छोटे बदलाव हमेशा होते रहेंगे

पांच वर्ष पुरानी जीएसटी प्रणाली की ज्यादा स्लैब के कारण कुछ लोग सरकार की आलोचना करते रहे हैं। इसको देखते हुए सरकार ने 2021 में दो स्लैब का विलय कर एक स्लैब बनाने और कुछ वस्तुओं पर शुल्क की दरों में कमी पर विचार विमर्श शुरू किया था।

By AgencyEdited By: Shashank MishraPublished: Mon, 06 Feb 2023 09:01 PM (IST)Updated: Mon, 06 Feb 2023 09:01 PM (IST)
GST दरों में अगले वर्ष तक नहीं होगा बड़ा बदलाव, राजस्व सचिव ने कहा- छोटे बदलाव हमेशा होते रहेंगे
2017 में पेश की गई जीएसटी व्यवस्था में अभी शून्य से 28 प्रतिशत तक पांच कर स्लैब हैं।

नई दिल्ली, रायटर। राजस्व सचिव संजय मल्होत्रा ने सोमवार को कहा कि जीएसटी दरों में अगले वित्त वर्ष में भी कोई बदलाव नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि कर ढांचे को आसान बनाने और उपभोक्ताओं पर बोझ कम करने के लिए बीते एक वर्ष से विचार चल रहा है। 2017 में पेश की गई जीएसटी व्यवस्था में अभी शून्य से 28 प्रतिशत तक पांच कर स्लैब हैं।

loksabha election banner

पांच वर्ष पुरानी जीएसटी प्रणाली की ज्यादा स्लैब के कारण कुछ लोग सरकार की आलोचना करते रहे हैं। इसको देखते हुए सरकार ने 2021 में दो स्लैब का विलय कर एक स्लैब बनाने और कुछ वस्तुओं पर शुल्क की दरों में कमी पर विचार विमर्श शुरू किया था।

मल्होत्रा ने कहा कि हम अभी कर की दरों में स्थिरता बनाए रखना चाहते हैं। छोटे बदलाव हमेशा रहेंगे, लेकिन कर स्लैब के विलय जैसे प्रमुख बदलावों को लेकर अगले एक वर्ष तक नहीं होगा। मल्होत्रा ने कहा कि सरकार कर की दरों को कम रखना चाहती हैं। हालांकि, उन्होंने दरों में बदलाव की कोई समयसीमा की जानकारी नहीं दी। उन्होंने कहा कि सरकार ने हाल में सीमा शुल्क दरों में कुछ कटौती की है।

पीएलआइ से 45 हजार करोड़ का निवेश मिला

नीति आयोग के सीईओ परमेश्वरन अय्यर ने सोमवार को कहा कि उत्पादन आधारित प्रोत्साहन (पीएलआइ) योजना से अब तक 45 हजार करोड़ रुपये का निवेश मिला है और तीन लाख से ज्यादा नौकरियों का सृजन हुआ है। सरकार अब तक 14 क्षेत्रों के लिए दो लाख करोड़ रुपये के बजटीय आवंटन वाली पीएलआइ योजनाओं को मंजूरी दे चुकी है।

इसी वर्ष मार्च तक कंपनियों को 3-4 हजार करोड़ रुपये का प्रोत्साहन दिया जाएगा। पीएलआइ योजना का मकसद वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी घरेलू मैन्यूफैक्चरिंग और निर्यात को बढ़ावा देना है। अय्यर ने कहा कि केंद्र का राष्ट्रीय मुद्रीकरण पाइपलाइन (एनएमपी) कार्यक्रम बेहतर कार्य कर रहा है और जल्द ही कई और राज्यों में शुरू किया जाएगा।

यह भी पढ़ें- Fact Check: पाकिस्तान में पेट्रोल पंप पर लगी आग का करीब 3 साल पुराना वीडियो हालिया आर्थिक संकट के नाम पर वायरल

यह भी पढ़ें- आईएआरसी का आकलन 2040 तक भारत समेत एशिया में 59% बढ़ेंगे कैंसर के नए मरीज, संतुलित भारतीय खाना कम करेगा खतरा


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.