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    बिहार के बाद देशभर में SIR की तैयारी में जुटा चुनाव आयोग, राज्यों को 30 सितंबर तक तैयारी के निर्देश

    Updated: Sun, 14 Sep 2025 08:30 PM (IST)

    चुनाव आयोग ने मतदाता सूची में गड़बड़ियों के आरोपों के बाद बिहार के साथ-साथ पूरे देश में एक साथ मतदाता सूची का विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) करने की योजना बनाई है। आयोग ने सभी राज्यों को 30 सितंबर तक एसआइआर से जुड़ी तैयारियाँ पूरी करने के निर्देश दिए हैं। राजनीतिक दलों को साथ लेकर मतदाता सूची को त्रुटिरहित बनाने पर जोर दिया जा रहा है।

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    बिहार के बाद देशभर में SIR की तैयारी में जुटा चुनाव आयोग (पीटीआई)

    अरविंद पांडेय, जागरण, नई दिल्ली। मतदाता सूची में गड़बडि़यों के लग रहे आरोपों के बाद चुनाव आयोग ने बिहार के बाद अब देशभर में एक साथ मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) की योजना बनाई है। इस कड़ी में आयोग ने बिहार को छोड़ बाकी सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को 30 सितंबर से पहले एसआइआर से जुड़ी सभी तैयारियों को पूरा करने के निर्देश दिए हैं। जिसमें बूथ लेवल आफिसर (बीएलओ) के प्रशिक्षण व राजनीतिक दलों के जुड़े बूथ लेवल एजेंटों (बीएलए) की नियुक्ति के आदि के काम पूरा किया जाना है।

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    इससे पहले आयोग ने इन सभी राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारियों के साथ इस मुद्दे पर एक बैठक भी की थी। आयोग ने एसआइआर से जुड़ी तैयारियों को लेकर यह समयसीमा ऐसे समय निर्धारित की है, जब बिहार में पहले से चल रहे एसआइआर का काम 30 सितंबर को पूरा हो रहा है। इसके तहत अंतिम मतदाता सूची का प्रकाशन भी 30 सितंबर को होने जा रहा है। माना जा रहा है कि इसके बाद ही चुनाव आयोग देश भर में एक साथ एसआइआर का ऐलान करेगा।

    अक्टूबर में हो सकती है देशभर में SIR की घोषणा

    ज्यादा संभव है कि इसकी घोषणा अक्टूबर के बाद सप्ताह में ही कर दी जाए। आयोग हालांकि पहले एसआइआर को चरणबद्ध तरीके से उन राज्यों में कराने की योजना में थी, जहां अगले साल विधानसभा के चुनाव होने है। लेकिन विपक्षी दलों की ओर से इस पर सवाल खड़े किए जाने और सिर्फ विपक्षी राज्यों को निशाना बनाए जाने के आरोपों के बाद इसे पूरे देश में एक साथ शुरू करने योजना बनाई है।

    राजनीतिक दलों को साथ लिए बगैर मतदाता सूची को त्रुटिरहित बनाना कठिन

    आयोग के वरिष्ठ अधिकारियों के मुताबिक देश भर में शुरू होने वाले इस एसआइआर को मई 2026 तक पूरा कर लिया जाएगा। वैसे भी सुप्रीम कोर्ट में बिहार एसआइआर का मुद्दा पहुंचने के बाद सारी चीजें स्पष्ट हो चुकी है। ऐसे में एसआइआर को लेकर बिहार जैसे माहौल बनने की संभावना कम है। आयोग ने इस बीच सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से राज्य, जिला स्तर पर राजनीतिक दलों के पदाधिकारियों के साथ बैठक करने व राजनीतिक दलों से जुड़े बूथ लेवल एजेटों ( बीएलए) के साथ चर्चा करने के निर्देश दिए है। हाल ही में राज्यों के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारियों के साथ बैठक में भी आयोग ने साफ कहा कि राजनीतिक दलों को साथ लिए बगैर मतदाता सूची को त्रुटिरहित बनाना कठिन है।

    राज्यों को एआइ-डीपफेक व फेंक नेरेटिव से निपटने का दिया प्रशिक्षण

    देश भर में एसआइआर शुरू करने से पहले चुनाव आयोग ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को बिहार जैसे फेक नैरेटिव व एआइ-डीपफेक आदि के इस्तेमाल को लेकर सतर्क किया है। साथ ही इन सभी राज्यों में आयोग के मीडिया विभाग से जुड़े अधिकारियों को प्रशिक्षण दिया है। जिसमें जिला स्तर पर इसके लिए टीम गठित करने और एसआइआर को लेकर फैलाए जाने वाले किसी भी तरह फेंक नेरेटिव पर तत्काल काउंटर करने जैसी तैयारी रखने के लिए कहा है। इन दौरान गूगल रिवर्स इमेज जैसे मुफ्त ऐप के इस्तेमाल का प्रशिक्षण दिया गया है। बिहार की ओर से इस दौरान एक प्रस्तुति दी गई, जिसमें तथ्यपरक जवाब देने का दावा किया गया।

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