Lockdown 3: जानें क्या हैं रेड, ऑरेंज और ग्रीन जोन, 17 मई तक क्या खुलेगा और क्या रहेगा बंद?
रेड जोन में कई तरह के प्रतिबंध होंगे। ग्रीन और ऑरेन्ज जोन में काफी छूट दी गई है। जानें किस जोन में है आपका जिला? और किस जोन में मिलेगी किस तरह की छूट?
नई दिल्ली, जेएनएन। कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए लॉकडाउन को 2 सप्ताह के लिए बढ़ाया गया है। हालांकि, इस बार ग्रीन और ऑरेन्ज जोन में पहले से अधिक छूट दी जाएगी। शारीरिक दूरी (फिजिकल डिस्टेंसिंग) के नियम पहले की तरह जारी रहेंगे। ट्रकों और मालवाहक वाहनों को किसी पास की जरूरत नहीं होगी! स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, देश में रेड जोन के तहत 130 जिले, ऑरेंज जोन के तहत 284 जिले और ग्रीन जोन के तहत 319 जिलों को रखा गया है। हर सप्ताह इसका आकलन किया जाएगा और संक्रमित मामलों के अनुसार जोन में बदलाव होगा।
गृहमंत्रालय की ओर से रेड, ग्रीन और ऑरेन्ज जोन के लिए अलग-अलग गाइडलाइंस तैयार की गई है। गृह मंत्रालय ने कहा है कि रेड जोन में कई तरह के प्रतिबंध होंगे। ग्रीन और ऑरेन्ज जोन में काफी छूट दी गई है। जानें किस जोन में है आपका जिला? और किस जोन में मिलेगी किस तरह की छूट?
रेड जोन में भी कई गतिविधियों को मिली अनुमति
जाहिर है कि देश का बड़े हिस्से में कारोबार शुरू हो जाएगा। हर सप्ताह इसकी समीक्षा होगी। वस्तुत: लाकडाउन खोलने का क्रम फेज तीन से शुरू हो जाएगा। नए दिशानिर्देश में रेड, आरेंज और ग्रीन जोन के लिए अलग-अलग राहत का ऐलान किया है। इनमें शहरी और ग्रामीण इलाके में अलग-अलग राहत दी गई है। अभी तक रेड जोन वाले जिले में किसी भी तरह की गतिविधि की इजाजत नहीं थी। लेकिन अब कंटेनमेंट एरिया और उसके चारो तरफ के बफर जोन को छोड़कर बाकी जिले में कई गतिविधियों की अनुमति दे गई है।
क्या है रेड जोन का मतलब और लॉकडाउन में क्या-क्या पाबंदी?
ये जोन सबसे खतरनाक है। रेड जोन का अर्थ है कि यहां पर संक्रमण की चपेट में कई लोग आ चुके हैं और इसके बढ़ने या यहां की वजह से कहीं दूसरी जगह संक्रमण के बढ़ने की आशंका काफी अधिक है। रेड जोन के रूप में जिलों का वर्गीकरण सक्रिय मामलों की कुल संख्या, पुष्टि किए गए मामलों की दर को दोगुना करने, जिलों से परीक्षण और निगरानी फीडबैक की सीमा को ध्यान में रखेगा।
ये पाबंदियां 17 मई तक सभी जगह लागू होंगी
- लॉकडाउन-3 के दौरान पूरे देश में शाम सात बजे से सुबह सात बजे तक जरूरी सेवाओं को छोड़कर लोगों को बाहर निकलने की इजाजत नहीं होगी। इस दौरान लोगों की आवाजाही रोकने के लिए स्थानीय प्रशासन धारा-144 लागू कर सकता है।
- इस दौरान रेल, हवाई, मेट्रो, अंतरराज्यीय बस सेवाएं नहीं चलेंगे।
- स्कूल, कॉलेज व अन्य शैक्षिक संस्थान, होटल, रेस्टोरेंट, बार, सिनेमा हॉल, मॉल आदि बंद रहेंगे।
- धार्मिक, राजनीतिक, सांस्कृतिक, सामाजिक और खेलकूद से जुड़े जमावड़े पहले की तरह प्रतिबंधित रहेंगे।
- पूरे देश में 65 से अधिक उम्र के बुजुर्गो और 10 साल के कम उम्र के बच्चों के साथ ही गर्भवती महिलाओं और गंभीर बीमारी से ग्रस्त मरीजों के घर से निकलने पर पाबंदी रहेगी। वे सिर्फ जरूरी काम से या फिर इलाज के लिए बाहर जा सकते हैं। लेकिन राहतों का पैकेज भी कम नहीं होगा।
- रेड जोन में सीमित सेवाएं हासिल होंगी। लेकिन ग्रीन और आरेंज जोन में केंटेनमेंट एरिया और उसके चारों ओर बफर जोन को छोड़कर बाकी क्षेत्रों में नाई की दुकान, शराब, सिगरेट, पान, गुटका और तंबाकू की दुकानों को खोलने की अनुमति मिलेगी। ग्रीन जोन में तो माल भी खुलेंगे।
राज्यों ने दी थी लॉकडाउन बढ़ाने की सलाह
प्रधानमंत्री मोदी के साथ सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने लॉकडाउन पर चर्चा की थी। अधिकतर की राय थी कि कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए लॉकडाउन जारी रहे। हालांकि, कुछ राज्यों ने लॉकडाउन के साथ आर्थिक गतिविधियों को शर्तों और सावधानियों के साथ चालू करने पर जोर दिया था।
क्या है ओरेंज जोन का मतलब और लॉकडाउन में क्या-क्या पाबंदी?
वे जिले, जिन्हें न तो लाल और न ही हरे रंग के रूप में परिभाषित किया गया है, को ऑरेंज ज़ोन के रूप में वर्गीकृत किया जाएगा। जब किसी रेड जोन क्षेत्र में 14 दिन तक कोई नया केस नहीं मिलता तो उसे रेड से बदलकर ऑरेंज जोन में शिफ्ट कर दिया जाता है। इस तरह के जोन में वो इलाके या जिले आते हैं जहां से संक्रमण के कुछ मामले निकलकर सामने आते हैं।
क्या है ग्रीन जोन का मतलब और लॉकडाउन में क्या-क्या पाबंदी?
ग्रीन जोन में वह जिले शामिल होंगे जहां अभी तक कोई मामला नहीं आया या पिछले 21 दिनों में कोई पुष्ट मामला नहीं। इस जोन का अर्थ संक्रमण मुक्त है। हालांकि इस दौरान कहीं भी भीड़ इकट्ठा होने या सोशल डिस्टेंसिंग की बात माननी जरूरी है। ग्रीन जोन के अंदर भी जिन लोगों को क्वारंटाइन में रखा जाएगा उन्हें किसी भी तरह के मेल जोल की इजाजत नहीं होती।
क्या है कंटेनमेंट एरिया
वैसे तो केंद्र ने कोरोना वायरस को रोकने के लिए कंटेनमेंट एरिया तय करने का अधिकार स्थानीय प्रशासन पर छोड़ दिया है। लेकिन वह शहरी इलाके में किसी बिल्ंिडग से छोटा और पूरे शहर से बड़ा नहीं हो सकता है। सुविधानुसार प्रशासन किसी मोहल्ले, थाना या निगम के एरिया को कंटेनमेंट एरिया घोषित कर सकता है। इसी तरह ग्रामीण इलाके में यह कम-से-कम पूरा गांव और अधिक-से-अधिक एक ब्लॉक तक हो सकता है। कंटेनमेंट एरिया में रहने वाले सभी लोगों के लिए आरोग्य सेतु एप का मोबाइल में डाउनलोड करना होगा, ताकि कोरोना के फैलने की आशंकाओं पर कड़ी नजर रखी जा सके।
रेलवे ने भी दी राहत
सरकार ने फंसे हुए छात्रों, प्रवासी श्रमिकों, पर्यटकों, तीर्थयात्रियों आदि को स्पेशल ट्रेन से आवाजाही की अनुमति दी है। इसके तहत आज छह स्पेशल ट्रेन चलाने की अनुमति दी गई है। आगे भी रेल मंत्रालय और राज्यों के अनुरोध पर एक स्थान से दूसरे स्थान के लिए ट्रेन चलाई जा सकती है लेकिन सामान्य तौर पर ट्रेनों की आवाजाही बंद रहेगी।