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    जानिए दत्तात्रेय होसबले से पहले अब तक कौन-कौन रहे हैं RSS में सरकार्यवाह, यहां देेखें नाम

    By Shashank PandeyEdited By:
    Updated: Sat, 20 Mar 2021 02:06 PM (IST)

    दत्तात्रेय होसबले(Dattatreya Hosabale) को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) का अगला सरकार्यवाह चुना गया है। वह मौजूदा संघ सरकार्यवाह भैय्याजी जोशी की ज ...और पढ़ें

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    नए संघ सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबले(Dattatreya Hosabale)। (फोटो: दैनिक जागरण/फाइल)

    नई दिल्ली, एजेंसियां। कर्नाटक में जन्मे दत्तात्रेय होसबले(Dattatreya Hosabale) को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के 'सरकार्यवाह' (महासचिव) के रूप में चुना गया था। इससे पहले तक वह संघ के सह-सरकार्यवाह (संयुक्त महासचिव) के पद पर थे। वह 2009 के बाद से ही संघ के सह-सरकार्यवाह रहे। होसबले को 73 वर्षीय सुरेश भैय्याजी जोशी की जगह चुना गया है। भैय्याजी जोशी पिछले चार बार से सरकार्यवाह चुने जा रहे थे। संघ में सरकार्यवाह का पद सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है। दुनिया के सबसे बड़े संगठन के नंबर दो के लिए होने वाला चुनाव बेहद सादगी से संपन्न होता है। आइए जानते हैं संघ के इतिहास में अब तक कुल कितने सरकार्यवाह रह चुके हैं।

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    संघ के अभी तक के सरकार्यवाह

    सरकार्यवाह पद को सरसंघचालक (आरएसएस प्रमुख) के बाद संघ में नंबर 2 के रूप में माना जाता है, वर्तमान में मोहन भागवत संघ प्रमुख हैं। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) में अब तक कुल नौ सरकार्यवाह रह चुके हैं। आरएसएस में अभी तक सरकार्यवाह की जिम्मेदारी निभाने वालों में प्रमुख नाम माधव राव सदाशिवराव गोलवलकर उर्फ गुरुजी का है, जो बाद में संघ प्रमुख भी बने। इसके अलावा भैयाजी दानी, एकनाथ राणाडे, माधव राव मूले और बाला साहेब देवरस उपाख्य दत्तात्रेय देवरस भी सरकार्यवाह के पद पर रह चुके हैं। बाला साहेब देवरस उपाख्य दत्तात्रेय देवरस बाद में तीसरे सरसंघचालक भी बने। इसके अलावा रज्जू भैया उपाख्य डॉक्टर राजेंद्र सिंह भी सरकार्यवाह बन चुके हैं जो बाद में चौथे सरसंघचालक बने। इसके अलावा हो वे शेषाद्री भी सरकार्यवाह रहे हैं।

    वर्तमान सरसंघचालक डा. मोहन भागवत भी वर्तमान सरकार्यवाह की भूमिका पहले निभा चुके हैं। निवर्तमान सरकार्यवाहक भैय्याजी जोशी हैं। भैय्याजी जोशी पिछले दो दशक से ज्यादा समय से इस जिम्मेदारी को निभा रहे हैं। इस बार उनका होता तो वह पांचवीं बार इस पद पर विराजमान होते।

    तीन साल पर सरकार्यवाह का चुनाव

    सरकार्यवाह का कार्यकाल 3 सालों का होता है। आरएसएस में हर तीन साल पर सरकार्यवाह पद का चुनाव होता है। यह संगठन में कार्यकारी पद होता है। यह संघ में नंबर दो की कुर्सी होती है। इससे ऊपर संरसंघसंचालक होता है। संरसंघसंचालक का पद मार्गदर्शक का होता है। संघ के नियमित कार्यों के संचालन की जिम्मेदारी सरकार्यवाह की होती है।

    दत्तात्रेय होसबले से जुड़ी जानकारी

    कर्नाटक के शिवमोगा जिले के सोरब में जन्मे, 65 वर्षीय अंग्रेजी साहित्य में स्नातकोत्तर दत्तात्रेय होसबले(Dattatreya Hosabale) संघ में रहने हुए बड़े हुए हैं।  उन्होंने 1968 में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) को ज्वाइन किया था। वे शुरू में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के छात्र संगठन, अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) से जुड़े थे और बाद में RSS में एक आयोजक बन गया।

    यहां जानिए- क्या होती है संघ में सरकार्यवाह की भूमिका, कैसे होता है चुनाव- जानें सबकुछ

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