Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Kaamya Karthikeyan: एवरेस्ट की चोटी फतह करने वाली सबसे कम उम्र की भारतीय बनीं काम्या, PM मोदी कर चुके हैं तारीफ

    Updated: Thu, 23 May 2024 11:45 PM (IST)

    काम्या कार्तिकेयन ने 16 वर्ष की उम्र में विश्व की सबसे ऊंची चोटी फतह कर रिकॉर्ड बना दिया है। वह इतनी कम उम्र में ऐसा करने वाली पहली भारतीय और विश्व की दूसरी सबसे युवा लड़की बन गई हैं। काम्या के पिता नौसेना में कार्य करते हैं। अपने पिता नौसेना के कमांडर एस कार्तिकेयन के साथ उन्होंने 20 मई को एवरेस्ट की चोटी पर सफलतापूर्वक चढ़ाई पूरी की थी।

    Hero Image
    काम्या ने 20 मई को चोटी पर सफलतापूर्वक चढ़ाई पूरी की थी। (फोटो, एएनआई)

    आईएएनएस, नई दिल्ली। 12वीं कक्षा की काम्या कार्तिकेयन ने 16 वर्ष की उम्र में विश्व की सबसे ऊंची चोटी फतह कर रिकॉर्ड बना दिया है। वह इतनी कम उम्र में ऐसा करने वाली पहली भारतीय और विश्व की दूसरी सबसे युवा लड़की बन गई हैं। काम्या के पिता नौसेना में कार्य करते हैं। अपने पिता नौसेना के कमांडर एस कार्तिकेयन के साथ उन्होंने 20 मई को एवरेस्ट की चोटी पर सफलतापूर्वक चढ़ाई पूरी की थी।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    इस सफलता को लेकर भारतीय नौसेना ने उन्हें बधाई दी है। वह मुंबई स्थित नेवी चिल्ड्रन स्कूल की छात्रा हैं। काम्या पर्वतारोहण में छह महत्वपूर्ण लक्ष्यों को प्राप्त करने में सफल रही हैं। सातों शिखर पर फतह हासिल करने वाली सबसे युवा लड़की का रिकॉर्ड बनाने के लिए वह दिसंबर में अंटार्कटिका में माउंट विंसन मैसिफ की चढ़ाई करेंगी।

    पीएम मोदी ने काम्या की तारीफ की थी

    प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने फरवरी 2020 में अपने मन की बात कार्यक्रम के दौरान कहा था कि काम्या कार्तिकेयन सभी के लिए प्रेरणास्त्रोत हैं। माउंट एवरेस्ट के बेस कैंप तक पहुंचे दिव्यांग टिंकेश कौशिकगोवा के रहने वाले टिंकेश कौशिक ने शारीरिक अक्षमता, ठंडे मौसम और खराब स्वास्थ्य जैसी कठिनाइयों को हराते हुए माउंट एवरेस्ट के बेस कैंप तक पहुंचने में कामयाबी हासिल की है। वह ट्रिपल एम्प्युटी (व्यक्ति जिसके दो पैर या हाथ न हो या फिर वह व्यक्ति जिसके दो हाथ और एक पैर न हो) हैं।

    कौशिक विश्व में पहले ट्रिपल एम्प्युटी

    डिसऐबिलिटी राइट एसोसिएशन ऑफ गोवा के अनुसार कौशिक विश्व में पहले ट्रिपल एम्प्युटी हैं, जो एवरेस्ट बेस कैंप तक पहुंचे हैं। उन्होंने 11 मई को यह सफलता हासिल की है। कौशिक ने कहा कि पहले मुझे ट्रेकिंग बेहद चुनौतीपूर्ण लगा। लेकिन मैंने अपने आप से कहा कि यह कर सकता हूं। मैं सिर्फ दृढ़ इच्छाशक्ति की वजह से यह करने में सफल रहा।

    ये भी पढ़ें: 'दलितों-पिछड़ों की विरोधी है कांग्रेस, राहुल ने स्वयं स्वीकारा', शिवराज सिंह ने कर TMC पर भी किया पलटवार

    comedy show banner
    comedy show banner