Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    India-Maldives Row: 'मैं इसकी कोई गारंटी नहीं दे सकता...', मालदीव विवाद पर विदेश मंत्री जयशंकर ने तोड़ी चुप्पी

    By Agency Edited By: Mahen Khanna
    Updated: Mon, 15 Jan 2024 10:46 AM (IST)

    India-Maldives Row विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मालदीव के साथ चल रहे विवाद पर अपनी चुप्पी तोड़ी है। मालदीव के तीन नेताओं द्वारा प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणियां पोस्ट करने और उनकी हालिया लक्षद्वीप यात्रा का मजाक बनाने पर ये बयान आया है। जयशंकर ने कहा कि मैं कोई गारंटी नहीं दे सकता कि सभी देश हमारा समर्थन करेंगे।

    Hero Image
    India-Maldives Row मालदीव विवाद पर बोले एस जयशंकर।

    एजेंसी, नागपुर। Jaishankar on Maldives dispute विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मालदीव के साथ चल रहे विवाद पर अपनी चुप्पी तोड़ी है। जयशंकर ने कहा कि इसकी गारंटी नहीं दी जा सकती कि हर देश हर समय भारत का समर्थन करेगा या उससे सहमत होगा।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    हर देश हमारा समर्थन करेगा, इसकी गारंटी नहीं

    नागपुर में टाउनहॉल बैठक में बोलते हुए जयशंकर ने मालदीव (India-Maldives Row) के साथ हालिया मतभेद के बारे में पूछे जाने पर कहा कि राजनीति में मैं गारंटी नहीं दे सकता कि हर देश हमारा समर्थन करेगा। विदेश मंत्री ने कहा कि हमने जो पिछले 10 वर्षों में लोगों से संबंध बनाए हैं, उसमें हमें बहुत सफलता मिली है और कई देशों से संबंध मजबूत हुए हैं। 

    जयशंकर ने राजनीतिक संबंधों में उतार-चढ़ाव के बावजूद लोगों के बीच सकारात्मक भावनाओं को बढ़ावा देने पर ध्यान केंद्रित करते हुए वैश्विक स्तर पर मजबूत संबंध बनाने के लिए पिछले एक दशक में भारत के प्रयासों पर प्रकाश डाला।

    चीन से अभी संबंध सामान्य नहीं होंगे

    विदेश मंत्री एस जयशंकर ने इसी के साथ चीन विवाद पर भी अपनी राय रखी। उन्होंने कहा कि सीमा पर गतिरोध के बीच चीन को संबंधों के सामान्य रूप से आगे बढ़ने की उम्मीद नहीं करनी चाहिए। उन्होंने यहां एक कार्यक्रम में 'भू-राजनीति में भारत का उदय' विषय पर कहा कि कूटनीति जारी रहती है और कभी-कभी कठिन परिस्थितियों का समाधान जल्दबाजी में नहीं निकलता है।

    कार्यक्रम के दौरान जयशंकर ने दर्शकों के सवालों के जवाब भी दिए। उन्होंने कहा कि भारत और चीन के बीच सीमाओं पर आपसी सहमति नहीं है। यह निर्णय लिया गया था कि दोनों पक्ष सैनिकों को इकट्ठा नहीं करेंगे और अपनी गतिविधियों के बारे में एक दूसरे को सूचित करेंगे, लेकिन पड़ोसी देश ने 2020 में इस समझौते का उल्लंघन किया। विदेश मंत्री ने कहा कि चीन बड़ी संख्या में अपने सैनिकों को वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर ले आया और गलवन की घटना हुई।

    comedy show banner