RH 200 Sounding Rocket: इसरो के आरएच 200 साउंडिंग राकेट का लगातार 200वां सफल प्रक्षेपण
इसरो के बहुमुखी साउंडिंग राकेट आरएच-200 ने बुधवार को तिरुवनंतपुरम के थुंबा तट से लगातार 200वां सफल प्रक्षेपण दर्ज किया। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने इसे ऐतिहासिक क्षण करार दिया। इसके गवाह पूर्व राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद और इसरो के अध्यक्ष एस सोमनाथ सहित अन्य लोग बने।
बेंगलुरु, पीटीआइ। इसरो (ISRO) के बहुमुखी साउंडिंग राकेट आरएच-200 ने बुधवार को तिरुवनंतपुरम के थुंबा तट से लगातार 200वां सफल प्रक्षेपण दर्ज किया। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने इसे ऐतिहासिक क्षण करार दिया। इसरो के इस कारनामे का गवाह पूर्व राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद और इसरो के अध्यक्ष एस सोमनाथ सहित अन्य लोग हुए।
थुंबा इक्वेटोरियल राकेट लांचिंग स्टेशन से सफल उड़ान
बता दें कि आरएच 200 की सफल उड़ान ने थुंबा इक्वेटोरियल राकेट लांचिंग स्टेशन से पूरी हुई। इसरो के एक बयान में कहा गया है कि मौसम विज्ञान, खगोल विज्ञान और अंतरिक्ष भौतिकी की इसी तरह की शाखाओं पर प्रयोग करने के लिए वैज्ञानिक समुदाय के लिए भारतीय साउंडिंग राकेट का उपयोग विशेषाधिकार प्राप्त उपकरण के रूप में किया जाता है।
क्यों है इसरो का ये मिशन खास
मालूम हो कि पृथ्वी के वातावरण की वैज्ञानिक खोज के लिए इक्वेटोरियल इलेक्ट्रोजेट (ईईजे), लियोनिड उल्का बौछार (एलएमएस), भारतीय मध्य वायुमंडल कार्यक्रम (आइएमएपी), मानसून प्रयोग (मोनेक्स), मध्य वायुमंडल गतिशीलता (मिडास), और सूर्यग्रहण-2010 जैसे अभियानों का संचालन साउंडिंग राकेट प्लेटफार्म के उपयोग से पूरा किया जाता है। राष्ट्रीय अंतरिक्ष एजेंसी मुख्यालय ने कहा कि रोहिणी साउंडिंग राकेट श्रृंखला, इसरो के भारी और अधिक जटिल लांच वाहनों के लिए अग्रदूत रही है।
वैज्ञानिकों की प्रतिबद्धता का प्रमाण
बयान में कहा गया कि लगातार 200वीं सफल उड़ान पिछले वर्षों में प्रदर्शित बेजोड़ विश्वसनीयता के प्रति भारतीय राकेट वैज्ञानिकों की प्रतिबद्धता का प्रमाण है।
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