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    'डिपोर्टेशन पहली बार नहीं, ये नियम 2012 से ही लागू', विदेश मंत्री जयशंकर ने राज्यसभा में गिनवाई पूरी लिस्ट

    By Agency Edited By: Piyush Kumar
    Updated: Thu, 06 Feb 2025 02:50 PM (IST)

    अमेरिका से वापस स्वेदश लौटे प्रवासी भारतीयों को लेकर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने आज राज्यसभा में जवाब दिया। उन्होंने कहा कि अवैध प्रवासी वहां अमानवीय हालात में फंसे थे। अवैध प्रवासियों को वापस लेना ही था। उन्होंने कहा कि डिपोर्टेशन कोई नया नहीं है। एस जयशंकर ने 2009 से अब तक के आंकड़े भी गिनाए और कहा कि हर साल अवैध प्रवासियों को वापस भेजा जाता है।

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    अमेरिका से वापस भेजे गए 104 भारतीयों के मामले पर विदेश मंत्री ने राज्यसभा में जवाब दिया।(फोटो सोर्स: एएनआई)

    एएनआई, नई दिल्ली। S Jaishankar On Illegal Immigrants। अमेरिका से वापस भेजे गए 104 भारतीयों के मामले पर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने राज्यसभा में जवाब दिया। उन्होंने कहा कि अमेरिकी नियमों के मुताबिक कार्रवाई हुई है। हर साल अवैध प्राविसयों को अमेरिका भारत वापस भेजती है।

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    विदेश मंत्री ने आगे कहा कि अवैध प्रवासी वहां अमानवीय हालात में फंसे थे। अवैध प्रवासियों को वापस लेना ही था। उन्होंने कहा कि डिपोर्टेशन कोई नया नहीं है। एस जयशंकर ने 2009 से अब तक के आंकड़े भी गिनाए और कहा कि हर साल अवैध प्रवासियों को वापस भेजा जाता है। अमेरिकी नियम के मुताबिक कार्रवाई हुई। विदेश मंत्री ने कहा कि पहली बार लोगों को वापस नहीं भेजा गया है। 2012 से ही ये नियम लागू है।

    निर्वासन की प्रक्रिया कोई नई नहीं: विदेश मंत्री 

    विदेश मंत्री ने कहा कि लीगल माइग्रेशन को सपोर्ट करना और इलीगल माइग्रेशन को हतोत्साहित करना हमारे सामूहिक हित में है। यदि कोई नागरिक विदेश में अवैध रूप से रह रहा पाया जाता है तो उसे वापस बुलाना सभी देशों का दायित्व है। निर्वासन की प्रक्रिया कोई नई नहीं है।

    विदेश मंत्री एस जयशंकर ने आगे कहा कि हर देश में में राष्ट्रीयता की जांच होती है। 2012 से ही मिलिट्री प्लेन से भेजने का नियम लागू है। इसे लेकर कोई भेदभाव नहीं होता है। अवैध प्रवासी फंसे हुए थे, उन्हें वापस लेकर आना ही था। हम लगातार अमेरिकी सरकार से संपर्क में हैं ताकि भारतीयों के साथ किसी तरह का अमानवीय बर्ताव ना हो सके। 

    प्रियंका गांधी ने मोदी सरकार से पूछे सवाल

    बता दें कि आज दोनों सदनों में विपक्षी सासंदों ने इस मुद्दे पर हंगामा किया और विदेश मंत्री से जवाब मांगा था। इस घटना पर कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी ने आपत्ति जाहिर की।

    उन्होंने कहा, "बहुत सी बातें कही गईं कि राष्ट्रपति ट्रंप और पीएम मोदी बहुत अच्छे दोस्त हैं। पीएम मोदी ने ऐसा क्यों होने दिया? क्या हम उन्हें वापस लाने के लिए अपना विमान नहीं भेज सकते थे? क्या इंसानों के साथ ऐसा व्यवहार किया जाता है? कि उन्हें हथकड़ी और बेड़ियां पहनाकर वापस भेजा जाता है? विदेश मंत्री और प्रधानमंत्री को जवाब देना चाहिए।"

    यह भारत का अपमान है: शशि थरूर

    वहीं, कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने इस घटना पर कहा, कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कहा,"जिस तरह से यह किया गया, हम उसका विरोध कर रहे हैं। उनके पास उन लोगों को निर्वासित करने का पूरा कानूनी अधिकार है, लेकिन उन्हें इस तरह अचानक सैन्य विमान में हथकड़ी लगाकर भेजना भारत का अपमान है, यह भारतीयों की गरिमा का अपमान है।"

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