Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य पर आईआईटी की पैनी नजर, क्रेडिट स्कोर भी होंगे साझा

    आईआईटी अब छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य पर ध्यान केंद्रित करेगा। सभी आईआईटी छात्रों से व्हाट्सएप पर बात करेंगे और छात्रावासों में संवाद करेंगे। क्रेडिट स्कोर भी साझा किए जाएंगे। आईआईटी काउंसिल की बैठक में यह निर्णय लिया गया। केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने आईआईटी से आत्मनिर्भर भारत के विजन को साझा किया।

    By Jagran News Edited By: Prince Gourh Updated: Mon, 25 Aug 2025 11:30 PM (IST)
    Hero Image
    छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य पर आईआईटी की पैनी नजर (फाइल फोटो)

    जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। अपने यहां पढ़ने वाले छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य पर अब सभी आईआईटी न सिर्फ पैनी नजर रखेंगे, बल्कि वह समय-समय पर छात्रों से वाट्सएप पर बात करेंगे। छात्रावासों व कैंटीन में जाकर उनके साथ संवाद स्थापित करेंगे।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    इसके साथ ही सभी आईआईटी अब अपने क्रेडिट स्कोर को भी एक-दूसरे के साथ साझा करेंगे। आइआइटी काउंसिल की बैठक में इन दोनों अहम ¨बदुओं पर सोमवार को सहमति बनाने और अमल में लाने के निर्देश दिए गए।

    केंद्रीय शिक्षा मंत्री ने क्या कहा?

    दो साल बाद हो रही आईआईटी काउंसिल की बैठक को संबोधित करते हुए केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने सभी 23 आइआइटी के शीर्ष नेतृत्व के साथ पीएम के आत्मनिर्भर और समृद्धि भारत के विजन को साझा किया।

    कहा कि देश को अब धीमी वृद्धि नहीं चाहिए, बल्कि बड़ी छलांग की जरूरत है। आइआइटी ही इसकी अगुआई कर सकते हैं। उन्होंने इस मौके पर छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य को लेकर पैनी नजर रखने और सतर्क होकर काम करने की जरूरत बताई।

    आत्महत्या की घटनाओं पर गंभीरता दिखाई

    यह इसलिए जरूरी है, क्योंकि आइआइटी में पढ़ने के लिए छात्र देश के अलग-अलग हिस्सों और अलग-अलग परिवेश से आते हैं। सभी का मानसिक स्तर भी एक जैसा नहीं होता है। आइआइटी में हाल में सामने आई आत्महत्या की कई घटनाओं के बाद काउंसिल ने इस मुद्दे पर गंभीरता दिखाई है।

    आइआइटी काउंसिल की बैठक इससे पहले 2023 में हुई थी।बैठक में आइआइटी के बीच क्रेडिट स्कोर साझा करने पर भी सहमति बनी है। अब तक सभी आइआइटी आपस में क्रेडिट स्कोर साझा नहीं करते थे।

    समिति का किया गया गठन

    इस फैसले के बाद अब सभी क्रेडिट फ्रेमवर्क के दायरे में आएंगे। काउंसिल में प्रोफेसर आफ प्रैक्टिस की पहल को बढ़ाने पर भी जोर दिया गया। कहा गया कि इनमें विषय विशेषज्ञों को ज्यादा से ज्यादा जोड़ा जाए। प्रधान ने संविधान विशेषज्ञ हरीश साल्वे से मुखातिब होते हुए कहा कि आप साल्वे जी को भी इससे जोडि़ए। वह भी पढ़ाने आएंगे।

    इस पर साल्वे ने कहा कि जरूर आएंगे। बता दें कि साल्वे आइआइटी दिल्ली के बोर्ड के अध्यक्ष हैं। इस हैसियत से वह बैठक से आनलाइन जुड़े हुए थे। बैठक में जेईई मेन व एडवांस को आसान बनाने व कोचिंग से छात्रों की निर्भरता कम करने पर भी चर्चा हुई। शिक्षा मंत्रालय इसे लेकर पहले ही उच्च शिक्षा सचिव विनीत जोशी की अगुआई में एक समिति का गठन कर चुका है।